Hindi Sex काले जादू की दुनिया
06-24-2017, 11:12 AM,
#61
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
त्रिकाल तम तमा गया और किसी घायल शेर की तरह आस पास रखी चीज़ो को तोड़ने और उठाके फेंकने लगा. वही त्रिकाल के शिष्यो मे खलबली मच गयी कि आख़िर उनके मालिक को इतना गुस्सा क्यू आया.

“क्या हुआ मालिक...हम से कोई भूल हो गयी क्या..?” एक आदमी ने त्रिकाल से कहा.

“तुमसे नही लेकिन उस आचार्य से ज़रूर भूल हो गयी है....उसने हमे मारने का इक लौता तरीका उन दोनो कुत्तो को बता दिया है....इस भूल की सज़ा आचार्य को भुगतनी पड़ेगी...” दहाड़ता हुआ त्रिकाल तन्त्र साधना करने दोबारा बैठ गया.
इधर आचार्य के आश्रम के लोग आने वाले तूफान से अंजान थे. रात ढल चुकी थी और बाहर बारिश ज़ोरो की बरस रही थी.

“चलिए जी सोने का समय हो गया है...रात्रि बहुत हो गयी है...” आचार्य सत्य प्रकाश की पत्नी सुनीता देवी बोली.

“आप चलिए...हम थोडा यही विश्राम करेंगे...” आचार्य ने विनम्रता से कहा.
सुनीता उनकी बात मान कर अपनी जवान लड़की पायल के साथ कमरे मे चली गयी जब अचानक एक भूकंप सा आने लगा. पूरा आश्रम थर्रा गया. सब लोग डर के मारे इधर उधर भागने लगे. आचार्य को भी अबतक किसी अनहोनी का आभास हो गया था.

“तुम और पायल जल्दी से यहाँ से निकालो....मैं पीछे से आता हू...” हड़बड़ाये हुए आचार्य अपने कमरे मे पहुचे जहाँ उनकी पत्नी और बेटी सो रहे थे.

भूकंप से वो लोग भी डरे हुए थे, बाहर बहुत ज़ोरो से आँधी चल रही थी और पूरी ज़मीन काँप रही थी. वो तीनो उठे और आश्रम के गलियारो से होते हुए पास मे बने एक मंदिर मे जाने की कोशिश करने लगे.

“जल्दी आओ...इस मंदिर मे छुप जाओ...” आचार्य चिल्लाते पायल का हाथ पकड़ते हुए आगे आगे भाग रहे थे. वो और पायल जल्दी से मंदिर मे जाकर शरण ले लिए. तभी सुनीता देवी जो पीछे पीछे भाग रही थी भूकंप से काँप रही धरती पर लड़खड़ा के गिर गयी.

“माँ....” मंदिर के अंदर पहुच चुकी पायल चिल्लाई.

तभी एक काले से धुन्ध ने ज़मीन पर गिरी हुई सुनीता देवी को अपने आगोश मे ले लिया. जैसे जैसे वो धुन्ध छाँटा वैसे वैसे वो हँसने की भयंकर आवाज़ सुनाई देने लगी.

अब वो धुन्ध किसी आदमी का रूप लेने लगी. आचार्य की आँखो मे भय सॉफ देखा जा सकता था. उनको अपनी नही बल्कि अपनी पत्नी की जान की परवाह थी.

उस धुन्ध ने अब तक त्रिकाल का रूप ले लिया था. पायल उसके भयंकर चेहरे को देख कर डर गयी. सुनीता देवी अब त्रिकाल की गिरफ़्त मे थी जो मंदिर तक पहुच पाने से पहले ही गिर पड़ी थी. 

“अगर इस औरत की भलाई चाहते हो तो इस कच्ची कली को मंदिर से बाहर भेजो....” त्रिकाल ने पायल की तरफ इशारा करते हुए कहा.

पायल यह देख कर बहुत बुरी तरह से डर गयी. आचार्य, त्रिकाल के काले जादू की ताक़त को जानता था और वो अब तक समझ चुका था कि अब उसकी प्यारी पत्नी नही बचेगी. आचार्य की आँखे नम हो गयी.

“लगता है तुझे अपनी माँ से ज़रा भी प्यार नही है कुतिया....” त्रिकाल ने पायल के तरफ घूर कर कहा. पायल को लगा कि वो त्रिकाल को देख कर ही वही ख़ौफ्फ से मर जाएगी.

“तो फिर ठीक है....अंजाम भुगतने को तय्यार रहना...” दहाड़ते हुए त्रिकाल ने सुनीता देवी के साड़ी का आँचल खीच कर फाड़ दिया और उसके लटके हुए मोटे मोटे स्तनो को मसलने लगा. इसे देख कर सुनीता देवी तड़प उठी और त्रिकाल से रहम की भीख माँगने लगी. 
Reply
06-24-2017, 11:12 AM,
#62
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
यह दृश्य आचार्य और पायल दोनो की आँखो मे चुभ रहा था. तभी त्रिकाल ने फिर दहाडा, “अगर चाहते हो कि यह औरत जिंदा बच जाए तो इस लड़की को मंदिर से बाहर आने को कहो...”

इसे सुनकर पायल बहुत डर गयी, पर अपनी आँखो के सामने अपनी माँ की ऐसी दयनीए हालत उसे देखा ना गया और उसने अपने कदम मंदिर की चार दीवारी के बाहर पड़ने के लिए उठ गये.

“रूको बेटी...मंदिर के बाहर मत जाओ...यह दुष्ट पापी इस मंदिर के अंदर कभी नही आ सकता है.” आचार्य ने अपनी बेटी को रोकते हुए कहा.

त्रिकाल यह देख कर गुस्सा और भड़क गया. उसने मन्त्र पढ़ा और सुनीता देवी के सारे कपड़े गायब हो गये और वो सबके सामने नंगी हो गयी. आचार्य और पायल ने ऐसी घिनोनी हरकत देख कर अपनी आँखे बंद कर ली.

“वाह क्या माल है तेरी बीवी सत्य प्रकाश....इसे भोगने मे तो बड़ा ही आनंद आएगा...हा हा हा.” त्रिकाल ठहाके लगाते हुए बोला.

फिर त्रिकाल ने अपना बड़ा सा काला लबादा आगे से थोड़ा हटाया तो उसका विकराल लिंग बाहर आ गया. पायल समझ गयी कि उसकी माँ के साथ क्या होने वाला है इसलिए उसने अपने पिता का हाथ छुड़ा कर मंदिर की चार दीवारो से भाग कर त्रिकाल के सामने आ गयी. आचार्य यह सब ख़ौफ्फ भरी निगाहो से देखते रहे.

“ले दुष्ट मैं आ गयी हू...अब मेरी माँ को छोड़ दे...” भोली भाली पायल त्रिकाल की बातो मे आ गयी थी.

“हा..हा..हा..अरे ओ सत्य प्रकाश...क्या तूने अपनी इस चिकनी जवान लड़की को यही शिक्षा दी है कि मुझ जैसे कमीने शैतान पर इतनी जल्दी भरोसा कर ले...” त्रिकाल अपने लिंग को हाथो से सहलाता हुआ बोला.

आचार्य की तो मानो दुनिया ही बर्बाद हो गयी थी. उन्होने चिल्ला कर कहा, “त्रिकाल मैने तेरा क्या बिगाड़ा है जो तू मेरे परिवार के साथ ऐसा कर रहा है...”

“तूने उन दोनो लौन्डो को मेरी मौत का राज़ बता कर अपनी ज़िंदगी की सबसे बड़ी भूल कर दी है....अब यह त्रिकाल तेरी इन आँखो के सामने तेरी बीवी और बेटी को भोगेगा...हा..हा.हा.”

आचार्य को मानो दिन मे तारे दिखाई देने लगे. उन्होने भगवान से पूछा कि उनके पुण्य की सज़ा उन्हे और उनके परिवार को क्यू मिल रही है.

इधर पायल को एहसास हुआ कि अब वो कितनी बड़ी मुसीबत मे फस चुकी है. उसने सोचा कि भाग कर वापस मंदिर मे चली जाए लेकिन तभी त्रिकाल ने काला जादू कर के उसे वही रस्सी से बाँध दिया. आश्रम के बाकी सेवको का भी यही हाल था.

त्रिकाल अगले पल सुनीता देवी की चूत को अपने उंगलियो से सहलाने लगा. आचार्य अब टूट चुके थे. वह वही बैठ गये और किसी पुतले की तरह अपनी पत्नी की लूट ती हुई इज़्ज़त को देखने लगे.

त्रिकाल ने ज़बरदस्ती सुनीता देवी को वही लिटा दिया और उन्हे ज़बरदस्ती चौपाया बना कर उनकी चूत पर अपना हाथी जैसा काला लॉडा टिका दिया और एक करारा झटका मार कर सुनीता देवी की चूत के परखच्चे उड़ा दिया. लॉडा चूत फाड़ता हुआ सीधे बच्चेदानि से टकराया.

“नाआहहिईीईईईईई........” एक लंबी चीख मार कर सुनीता देवी वही ढेर हो गयी.

“अरे यह तो मर गयी.....मेरे लौडे का एक भी वार कुतिया झेल ना सकी...हा हा हा”
पायल यह सब दहशत भरी निगाहो से देख रही थी. इतने मोटे लौडे को सुनीता देवी झेल ना पाई और दर्द की वजह से मर गयी. उधर आचार्य को मानो लकवा मार गया हो वो बस पुतले की तरह अपनी पत्नी को मरता हुआ देख रहे थे. उनका जिस्म जवाब दे चुका था बस उनकी आँखो से आँसू लगतार बह रहे थे.
Reply
06-24-2017, 11:12 AM,
#63
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
अब त्रिकाल पायल की तरफ मुड़ा. इसे देख कर पायल के रोंगटे खड़े हो गये और वो रस्सी से बँधी छटपटाने लगी और इधर उधर हाथ पाँव मारने लगी. त्रिकाल ने चुटकी बजाई और पायल के जिस्म पर बँधी रस्सी गायब हो गयी पर इससे पहले वो भाग पाती त्रिकाल के विशाल हाथो ने उसे कमर से उठा लिया.

“हा...हा...हा...क्या चिकना माल है पटक कर चोदने लायक है...इसे तो मैं अभी के अभी भोगुंगा...”

त्रिकाल का हाथी जैसे लंड पर सुनीता देवी का खून लगा हुआ था. उसने फिर से तन्त्र किया और इस बार पायल के जिस्म से उसके कपड़े गायब हो गये.

उसने ज़बरदस्ती पायल को भी अपनी माँ की तरह कुतिया जैसे चौपाया बनाया और अपने हल्लाबी लंड को उसकी चूत पर रगड़ने लगा. पायल को लग रहा था कि उसकी माँ की तह वो भी मर जाएगी.

तभी त्रिकाल ने एक जर्दस्त झटका मारा और उसका लॉडा पायल की कुवारि बुर की चीथड़े उड़ाता हुआ अंदर घुस गया. 

“आअहह...........” यह पायल की आख़िरी चीख थी क्यूकी उसके बाद वो कभी नही उठी. खून की नादिया तो ऐसे बह रही थी जैसे वहाँ कोई मौत का नंगा नाच हुआ हो.

“दोनो कुतिया माँ बेटी एक झटके मे ही मर गयी....हा..हा..हा.” त्रिकाल हंसता हुआ पायल की लाश से अपना खून से सना लंड निकाला और आचार्य की तरफ एक बार देखा और चिल्लाया, “देख लिया त्रिकाल से दुश्मनी का नतीजा....हा.हा.हा.”

पर आचार्य के शरीर मे कोई हरकत नही हुई. अपनी बेटी की लाश देख कर उनको भी दिल का दौरा पड़ गया और उनकी भी वही मृत्यु हो गयी. इसे देख त्रिकाल विजय की हुंकार भरने लगा और चिल्लाया, “सत्य प्रकाश...तू भी मर गया....खैर अगर तू जिंदा होता तो मैं आज तेरी गान्ड मार के तुझे मृत्यु लोक भेजता...हा.हा.हा.." कहते हुए त्रिकाल का शरीर धुन्ध बन गया और हवा मे समा गया.

उसके जाते ही काले जादू का असर ख़तम हुआ तो आश्रम के सेवक आज़ाद हो गये. वो दौड़ते भागते आए तो देखा की सुनीता देवी की लाश नंगी पड़ी है और उनकी चूत से खून की नादिया बह रही है. पास ही में पायल की लाश भी नंगी पड़ी थी जिसकी चूत बुरी तरह से फटी हुई थी जिससे भी बहुत खून बह रह था. वो सब भाग कर आचार्य के पास गये तो उनकी भी मृत्यु हो चुकी थी. पूरे आश्रम मे मातम फैला हुआ था.

इधर दूर मुंबई जयपुर हाइवे पर अर्जुन की गाड़ी सरपट दौड़ रही थी. दोनो आचार्य सत्या प्रकाश और उनके परिवार के साथ हुए अनहोनी से अंजान थे. करण ने निशा को फोन कर के बोल दिया था कि उसका काम कुछ और दिनो तक चलेगा जिससे निशा और उदास हो गयी.

पूरा दिन गाड़ी चलाने के बाद वो दोनो जयपुर पहुचे. आधी रात का समय हो चुका था इसलिए वो दोनो वही एक होटेल मे रुक गये. पूरी रात वही होटेल मे बिताने के बाद वो दोनो सुबह देर तक सोते रहे क्यूकी वो ना जाने कितनी देर से लगातार गाड़ी चला रहे थे.

मुंबई के उलट यहाँ का मौसम उतना खराब नही था. बदल तो घने छाए थे लेकिन बारिश बस हल्की हल्की ही हो रही थी. वो दोनो किसी तरह इधर उधर से रामपुरा का पता पूछ रहे थे, लेकिन इतने पुराने गाँव के बारे मे किसी को कुछ नही पता था. शायद अब रामपुरा मे लोग भी नही रहते थे.

वहाँ से दूर त्रिकाल के गुफा मे जश्न का महॉल था. काजल और रत्ना के नंगे जिस्मो की नुमाइश हो रही थी. त्रिकाल काजल के सामने ही रत्ना पर चढ़ा हुआ था और उसकी चूत मे हल्लाबी लंड को जड़ तक पेल रहा था. बारह साल से त्रिकाल से हर रोज़ चुदने के बाद रत्ना की चूत पूरी तरह से खुल चुकी थी.
Reply
06-24-2017, 11:12 AM,
#64
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
त्रिकाल के भूके आदमी किसी जोंक की तरह काजल के नंगे जिस्म से चिपके हुए थे. त्रिकाल को काजल कुवारि चाहिए थी अगली अमावस्या तक, पर अभी अपने आदमियो की काम वासना शांत करने के लिए त्रिकाल ने उन्हे काजल की गदराई मोटी फूली हुई गान्ड मारने की अनुमति दे दी थी.

इधर रत्ना त्रिकाल का बिस्तर गरम कर रही थी वही उसकी बेटी पर चार पाँच आदमी चढ़ कर उसकी गान्ड मार रहे थे. काजल ज़ोरो से चिल्ला रही थी और रत्ना उसकी गान्ड फट ते हुए देख रही थी लेकिन उनकी मदद करने वाला कोई ना था.

ना जाने त्रिकाल के आदमी क्या खाते थे कि सुबह से अनगिनत बार वो काजल की गान्ड मार चुके थे लेकिन अभी भी उनके तगड़े लंड खड़े थे. काजल की गान्ड इतने लंड लेने से बुरी तरह फट चुकी थी. उसके गान्ड का छेद इतना चौड़ा हो गया था कि गान्ड से टट्टी अपने आप बाहर निकलने लगती थी. अपने कॉलेज मे एक बहुत ही खूबसूरत लड़की मानी जाने वाली काजल आज इन घटिया जानवरो से गान्ड मरवा रही थी. उसे अपने पर ही तरस आ रहा था. उसके भाइयो के आने मे देरी से उसकी हिम्मत भी टूटी जा रही थी. अब उसे उसकी मौत तय दिख रही थी.

तभी त्रिकाल ज़ोर से हुंकार भरा और उसके लंड से एक कटोरे भर वीर्य रत्ना की चूत मे गिरने लगा. रत्ना के भोस्डे का छेद इतना बड़ा हो गया था कि पूरे कटोरे भर वीर्य को भी अपने अंदर समा ले.

त्रिकाल ने रत्ना की भोस्डे से लंड खीचा और उसे वापस काल कोठरी मे बंद करवाने का आदेश दे दिया. तभी अचानक बाहर से त्रिकाल का एक दूत आया जो उसके लिए बाहरी दुनिया की खबर लाता था.

“मलिक वो दोनो लड़के....रामपुरा तक पहुचने की कोशिश कर रहे है...और अगर हम ने उनको नही रोका तो वो त्रिशूल पाने मे कामयाब हो सकते है..”

इसे सुनकर त्रिकाल बौखला गया, “नेह्हियियी....ऐसा नही हो सकता....त्रिकाल को कोई नही मार सकता....बहुत जल्दी त्रिकाल अमर हो जाएगा...फिर यह त्रिशूल भी मुझे नही मार पाएगा....हा..हा.हा.” 

काजल के ऐसा सुनते ही उसके दिल मे एक उम्मीद जाग गयी कि आख़िर उसके भाइयो ने हार नही मानी है और वो त्रिकाल को मारने आ रहे है.

“मेरे लिए क्या आदेश है मालिक....” उस आदमी ने कहा.

“जाओ जाकर उन दोनो लड़को पर नज़र रखो....मैं कुछ ऐसा करूँगा कि वो दोनो अपना लक्ष्य भूल जाएँगे और तब तक मुझे समय मिल जाएगा अगली अमावस्या तक का....” एक रहस्यमयी मुस्कान हंसते हुए त्रिकाल ने उस आदमी को वहाँ से भेज दिया.

वो वापस तन्त्र साधना पर बैठ गया और घंटो तक तन्त्र मंतरा करता रहा. करीब 6-7 घंटो की तन्त्र साधना के बाद उसने मन्त्र फूक कर अग्नि कुंड मे डाला जिससे एक छोटा सा विस्फोट हुआ और पूरी गुफा मे गहरा धुन्ध फैल गया.

ढुन्ध छांट ते ही सामने एक कुरूप बुढ़िया नज़र आई . इतनी देर से काजल वही पर बँधी पड़ी थी. उसने जब उस बुढ़िया को देखा तो वो समझ गयी कि वो एक चुड़ैल है.

“मुझे कैसे याद किया मालिक...” उस चुड़ैल ने कहा.

“मोहिनी एक ज़रूरी काम करना है...” त्रिकाल गंभीर होते हुए बोला.

“आप एक क्या सौ कहो...मैं करने को तय्यार हू...”

“ठीक है....अपना रूप किसी अप्सरा का धर और मेरे बताए हुए दो लड़को को अपनी काम वासना मे फसा ले....ध्यान रखना वो कभी रामपुरा तक ना पहुच पाए और उन्हे अपने हुस्न मे तब तक फसा के रख जब तक अगली अमावस्या नही आ जाती ताकि मैं इस लड़की की बलि देकर अमर हो जाउ...हा.हा.हा.”

“आपका हुकुम सर आँखो पर मालिक...पर मुझे इसके बदले क्या मिलेगा...” चुड़ैल हंसते हुए बोली.

“बोल तुझे क्या चाहिए....” त्रिकाल गुर्राया.

“मालिक आपको वो पुराने दिन याद है जब आप मेरे साथ संभोग किया करते थे....” चुड़ैल ने याद दिलाया.

“हाँ मुझे याद है...मैने सबसे पहले तेरे साथ संभोग किया था...”

“तो आज इस कार्य के लिए मैं आपसे वो संभोग वापस माँग रही हू...आपके हलब्बी लंड से मेरी चूत चोद दो एक बार...और अपना प्रसाद मेरी चूत मे डाल दो..” बुढ़िया चुड़ैल हंसते हुए बोली.

त्रिकाल मुस्कुराया और चुड़ैल को ज़मीन पर लिटा के अपना भीमकाय लंड उसके फटे भोसड़े मे पेल दिया. काजल को यह सब देख कर उल्टी आ रही थी. करीब घंटे भर चली चुदाई के बाद त्रिकाल ने अपना लंड चुड़ैल की चूत मे खाली कर दिया.

“अब जा और अपना काम कर...” त्रिकाल ने लंड को चुड़ैल की चूत से निकालते हुए बोला.

त्रिकाल का सारा वीर्य अपनी चूत मे समेटे हुए चुड़ैल खड़ी हुई और त्रिकाल का शुक्रिया अदा कर के वहाँ से चली गयी.

वहाँ से दूर राजस्थान मे करण और अर्जुन दोनो रामपुरा गाँव को तलाश करने मे जुटे थे. कुछ लोगो से उन्हे पता चला कि जब से वहाँ गाँव मे अकाल पड़ा है तब से वो उस गाँव को श्रापित मान लिए जिसके बाद सबने वो गाँव खाली कर दिया, और आज यह हालत हो गयी है की सिर्फ़ बड़े बुज़ुर्गो को ही वो गाँव का पता मालूम है.

तभी काले जादू से वो चुड़ैल राजस्थान पहुच गयी और रात मे पैदल चल रहे करण अर्जुन के पास पहुच गयी. उसने काले जादू से अपना रूप बदल कर एक सुंदर सी कामुक अबला नारी बन गयी.

“साहब आपको कही ले चलूं ...” एक घोड़ागाड़ी (तांगा) चलाते हुई सफेद साड़ी मे वो चुड़ैल बड़ी कामुक लग रही थी.

करण और अर्जुन ने उसे पलट कर देखा और करण बोला, “जी हमे रामपुरा चलना है...”

यह सुनते ही चुड़ैल एक रहस्यमयी तरीके से मुस्कुराने लगी. और बोली, “आप बैठिए साहब...मैं आपको रामपुरा तक पहुचा दूँगी..” चुड़ैल की बात सुनकर दोनो चौंक गये. पूरे शहर मे उन्हे रामपुरा का पता कोई नही बता पाया और अब ढलती रात मे एक तान्गे वाली उन्हे रामपुरा पहुचाने की बात कर रही है.

खैर वो दोनो अपना समान टांगा पर रख कर चुड़ैल के आजू बाजू बैठ गये. अर्जुन को चुड़ैल की जिस्म से आती पसीने की गंध पागल बना रही थी, यही हाल करण का भी था.
Reply
06-24-2017, 11:12 AM,
#65
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
“तुम रामपुरा के बारे मे कैसे जानती हो....” अर्जुन ने पूछा.

“साहब मेरा ससुराल वही है....” चुड़ैल ने रहस्यमयी तरीके जवाब दिया.
“पर अभी तो वहाँ कोई नही रहता ना....” अर्जुन ने फिर पूछा.

“हाँ साहब जब से वहाँ अकाल पड़ा था, वाहा कोई नही रहता...सब कहते है वह गाँव श्रापित है....पर हम कभी कबार वहाँ जाते रहते है....इसीलिए मुझे वहाँ का रास्ता याद है..”

“तो क्या तुम्हे उस श्राप का डर नही है...” 

“क्या साहब आप इतने पढ़े लिखे होकर इन अंधविश्वास पर यकीन करते हो...यह श्राप व्राप कुछ नही है बस मन्घडन्त बातें है...” चुड़ैल तांगा हाकते हुए बोली. उसे बाजू उठाने से उसके बगलो के पसीने का गंध करण और अर्जुन के नथुनो मे भर गया और उन दोनो के लंड उनके पॅंट के अंदर ही सलामी देने लगे.

चुड़ैल यह समझ गयी और रहस्यमयी ढंग से मुस्कुराने लगी. उसे पता था था कि जो काम उसे दिया गया है वो उसे बहतारीन ढंग से कर रही है.

“तुमने अपना नाम नही बताया....” अर्जुन चुड़ैल के सम्मोहन मे फस चुका था और वो चुड़ैल से ज़्यादा ही चिपकने लगा ताकि उसकी जिस्म से आती पसीने की मादक गंध को सूंघ सके.

“जी मेरा नाम मोहिनी है साहब...” चुड़ैल ने जवाब दिया.

“तुम करती क्या हो...और तुम्हारे परिवार मे कॉन कॉन है...” अर्जुन धीरे से मोहिनी के कंधो पर हाथ रखता हुआ बोला. करण को यह सब बड़ा अजीब लग रह था. वो निशा से बहुत प्यार करता था इसीलिए अभी तक मोहिनी के सम्मोहन से आज़ाद था.

“साहब मैं तो बेचारी विधवा हू...मेरा मर्द यह तांगा चलाता था पर दो साल पहले उसको साँप काटने से मौत हो गयी तब मेरे सास ससुर ने मुझे उसका तांगा दे दिया चलाने को...” मोहिनी बड़ी अदा से बोल रही थी और तांगा हाकते जा रही थी.

अब तक काफ़ी रात हो चुकी थी. तांगा ना जाने कॉन से अंजान रास्ते पर चल रहा था. रास्ता इतना उबड़ खाबड़ था कि तांगा बुरी तरह हिचकोले खा रहा था. झींगुरो की आवाज़ आस पास की झाड़ियो से आ रही थी. घुप्प अंधेरे मे तांगे पर लगा लालटेन ही रोशनी का एक मात्र स्रोत था.

तभी तांगे ने एक ज़ोर का झटका खाया और उसका एक पहिया निकल कर दूर लुढ़क गया. करण और अर्जुन दोनो घबरा गये पर मोहिनी फिर अपनी रहस्यमयी मुस्कान हंसते हुए बोली, “साहब लगता है तांगा खराब हो गया है...मेरे घोड़े भी थक गये है...लगता है हमे आज रात यही पर बिताना पड़ेगा.”

चुड़ैल मोहिनी के सम्मोहन पाश मे जकड़ा अर्जुन खुश हो गया. करण को कुच्छ दाल मे काला नज़र आ रहा था. उसने बोला, “मोहिनी तुम एक काम करो हमे वापस जाने का रास्ता बता दो...हम दिन मे रामपुरा जाने का रास्ता अपने आप ढूँढ लेंगे..”

इसपर मोहिनी दाँत पीसती हुई बोली, “अरे साहब आप एक मर्द होकर घबरा रहे है जबकि मैं तो एक औरत हू....मेरी मानिए तो आप इस गुप्प अंधेरी रात मे वापस भी नही जा पाएँगे...”

“अरे भाई यह बोल रही है ना कि यह हमे कल सुबह रामपुरा पहुचा देगी तो इसमे टेन्षन की क्या बात है...” अर्जुन पूरी तरह से मोहिनी के काबू मे आ चुका था.

अब करण करता भी तो क्या करता. तीनो वही ज़मीन पर चादर बिच्छा कर लेट गये. मोहिनी के जिस्म से उठती मादक गंध को करण भी नज़रअंदाज नही कर पा रहा था. उसका लंड उसके पॅंट मे ही विकराल रूप लेने लगा. एक पल के लिए उसके मन मे निशा का चेहरा आया तो उसे मानो एक झटका सा लगा. उसे अपने आप पर शरम आई कि अपनी नयी नयी बीवी को घर छोड़ के आने के बाद वो एक पराई औरत के जिस्म की गंध सूंघ कर उत्तेजित हो रहा है.

पर अर्जुन के साथ मामला कुछ और ही था. उसके दिलो दिमाग़ पर मोहिनी ने जादू कर दिया था. किसी भावरे की तरह वो मोहिनी के आस पास मंडराने लगा था. करण को लगा कि अर्जुन शायद दिल से मोहिनी को पसंद करने लगा है.
Reply
06-24-2017, 11:13 AM,
#66
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
आधी रात से ज़्यादा हो चली थी जब करण के कानो मे मोहिनी सी सिसकिया गूँज उठी. उसकी आँखें तुरंत खुल गयी लेकिन गुप्प अंधेरा होने की वजह से उसे कुछ दिखाई नही दिया.

“आअह साहब....धीरे धीरे मस्लो मेरी चुचियो को...” मोहिनी सीसीया रही थी.

करण के एकदम से होश उड़ गये. उसने अंधेरे मे ही इधर उधर टटोलकर देखा कि अर्जुन का चादर खाली है. तभी उसे अर्जुन की आवाज़ आई, “मोहिनी...तेरी इन चुचियो का सारा दूध मैं आज पी जाउन्गा..” इसे सुन कर करण हक्का बक्का रह गया. चुदाई उसके ठीक बगल मे ही हो रही थी.

उसकी समझ मे ही नही आ रहा था कि वो क्या करे. कुछ देर सोचने के बाद उसने सोचा कि अर्जुन और मोहिनी को डिस्टर्ब ना करे. उधर अर्जुन और मोहिनी चरम पर थे.

अंधेरे मे अर्जुन का तगड़ा लंड मोहिनी की कसी हुई चूत मे घुस चुका था. मोहिनी ज़ोरो से सिसकिया ले रही थी, “चोदो साहब....और ज़ोर से चोदो...अपना पूरा मूसल मेरी चूत मे पेल दो....दूसरे वाले साहब को भी बोलो की वो अपने लंड से मेरी गान्ड ठोके..” करण मोहिनी के मूह से अपने लिए ऐसे शब्द सुन कर सन्न रह गया.

उसका लॉडा भी अब पॅंट मे तनने लगा था. एकदम गुप्प अंधेरे मे ना जाने कहाँ से एक हाथ आया और करण के लंड को पॅंट के उपर से ही सहलाने लगा. 

करण ने तुरंत वो हाथ झिटक दिया. करण को उसका खड़ा लंड पॅंट के अंदर चुभ रहा था इसलिए उसने अपनी पॅंट की ज़िप खोली और लंड को अड्जस्ट करके वापस ज़िप बंद करने लगा जब उस हाथ ने करण को ऐसा करने से रोक दिया.

एकदम अंधेरे मे करण को कुछ दिख ही नही रहा था. बगल मे अर्जुन कस कस के मोहिनी की ठुकाई कर रहा था. अब उस हाथ ने करण की ज़िप को खोलकर उसके मोटे लंड को बाहर निकाल लिया. अपने लंड पर वो कोमल हाथो को महसूस करके करण को यकीन हो गया कि यह काम बगल मे चुद रही मोहिनी का है.

अब करण पर भी मोहिनी का सम्मोहन सर चढ़ कर बोलने लगा. वो उठा और बगल मे टांगे फैलाई चुद रही मोहिनी के दूध को मसल्ने लगा.

“आअहह....आप भी आ जाइए साहब...आप अभी तक मोहिनी के तान्गे की सवारी कर चुके है....अब खुद मोहिनी की सवारी भी कर लीजिए...” मोहिनी अर्जुन से चुदती हुई करण को बोली.

“आ जाओ भाई...बड़ा ही कड़क माल है...देखो कितनी कसी हुई चूत है इसकी..” बोलते हुए अर्जुन अपना तगड़ा लॉडा अंदर बाहर कर रहा था.

करण का दिलो दिमाग़ एक दूसरे से बग़ावत कर रहा था. दिमाग़ बिल्कुल सुन्न पड़ा था जिसे पास मे पड़ी एक नंगी औरत दिख रही थी, वही दिल उसको बार बार निशा के प्रति बेवफ़ाई से सचेत कर रह था. दिमाग़ उसे बार बार कह रहा था कि एक बार इसे चोद दे क्यूकी इस वीराने मे चुदाई के बारे मे निशा को कभी पता नही चलेगा.

“आ भी जाइए साहब...आज मोहिनी आप दोनो के लिए एक मुफ़्त की रंडी है...जितना पेलना है पेलो..” मोहिनी चुदाई मे झूम रही थी. दिल दिमाग़ की कशमकश मे दिल बाज़ी मार गया और दिमाग़ हार गया. करण उठा और मोहिनी को अपने उपर खिसका लिया. अर्जुन भी खिसकता हुआ वापस मोहिनी पर आ गया और दोबारा अपने लंड से उसकी चूत पेलने लगा.
Reply
06-24-2017, 11:13 AM,
#67
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
मोहिनी दोनो भाइयो के बीच सॅंडविच बनी हुई थी. मोहिनी अपनी चूत चुदवाते हुए अपने हाथो को नीचे ले गयी और करण का मोटा लंड पकड़ कर अपनी गान्ड से सटा दिया.


करण ने भी नीचे से एक तगड़ा झटका मारा और उसका आधा लॉडा मोहिनी की गान्ड मे समा गया. अगले झटके मे करण ने पूरे लौडे को मोहिनी की गान्ड मे जड़ तक उतार दिया. करण और अर्जुन के लौडो की लंबाई बराबर थी यानी 8 इंच पर करण का लॉडा थोड़ा ज़्यादा मोटा था और अर्जुन का थोड़ा पतला.

मोहिनी की चाल कामयाब हो चुकी थी. आख़िर उसने अपने काले जादू से दोनो भाइयो को अपने लक्ष्य से भटका दिया था जो आज रात मिलकर उसकी गान्ड और चूत चोद रहे थे.

चुदाई करते समय मोहिनी ने जादू किया और उससे करण के दिमाग़ को पढ़ने का मौका मिल गया. अब उसे करण की नयी शादी और उसकी पत्नी के बारे मे पता चल चुका था. उसे ये भी पता चल गया था कि करण और निशा एक दूसरे से लड़ कर आए है. 

दोनो करण और अर्जुन चुदाई मे इतने व्यस्त थे कि उन्हे कुछ भी होश नही था. मोहिनी ने चुद्ते हुए अपने हाथो को करण की पॅंट की जेब मे डालकर उसका मोबाइल निकाल लिया और निशा का नंबर डाइयल करने लगी.

उधर दूर मुंबई मे बैठी निशा अपने अकेलेपन से लड़ रही थी. करण के ऐसे अचानक बिना कुछ बताए छोड़ कर चले जाने से उसे उसपर शक हो रहा था कि कही उसका किसी लड़की के साथ चक्कर तो नही. तभी उसके मोबाइल पर करण का कॉल आया. इतनी रात को कॉल आने से वो चौंक गयी. उसने फोन उठाया तो पीछे सिसकिया और चुदाई की आवाज़ें चल रही थी. निशा का दिमाग़ एकदम से सन्ना गया.

“आह....करण बाबू चोदिये...और ज़ोर से चोदिये अपने लौडे को मेरी गान्ड मे....” मोहिनी जान बूझ कर चिल्ला कर बोल रही थी ताकि फोन पर निशा सुन सके. 

“आअहह...मोहिनी...क्या मस्त माल है तू....तेरी गान्ड कितनी कसी हुई है...” इस सब से बेख़बर काले जादू के असर से करण बडबडाये जा रहा था. यह सब सुनकर मानो निशा पर पहाड़ टूट पड़ा हो.

“क्या मेरी गान्ड आपकी बीवी निशा से भी ज़्यादा टाइट है...” मोहिनी फिर चिल्ला के बोली ताकि निशा यह सब सुन सके.

“हाँ मेरी जान...तेरी गान्ड मे जो बात है वो मेरी बीवी मे भी नही...इनफॅक्ट मुझे उसकी गान्ड बिल्कुल पसंद नही है....मजबूरी मे उसकी चूत चोदता हू..वरना वो भी नही चोदु..” करण यह सब कहना नही चाहता था पर मोहिनी का सम्मोहन उसे ऐसा कहने पर मजबूर कर रहा था.

निशा को लगा कि उसके कान फट जाएँगे अगर उसने आगे एक भी सेकेंड सुना तो. गुस्से और नफ़रत से उसका चेहरा लाल हो गया था.

फिर भी उसके मन मे कही ना कही यह ख़याल ज़रूर था कि उसका पति करण उसके साथ धोका नही कर सकता. इसलिए निशा ने सच पता लगाने का फ़ैसला किया.

उसने करण का लॅपटॉप खोला और उसके क्रेडिट कार्ड के बिल को देखने लगी. उसे वहाँ दिखाई दिया कि करण और अर्जुन ने जयपुर के मान सिंग पॅलेस नाम के होटेल मे क्रेडिट कार्ड से पेमेंट किया है. निशा गुस्से मे तिल मिलाते उठी और तुरंत सुबह वाला मुंबई तो जयपुर फ्लाइट बुक करवा लिया.
Reply
06-24-2017, 11:13 AM,
#68
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
इधर कस कर दस पंद्रह मिनिट की चुदाई के बाद दोनो करण और अर्जुन ने अपने वीर्य को मोहिनी की गान्ड और चूत मे भर दिया और उसके जिस्म से उतर गये. मोहिनी अपनी चाल मे कामयाब हो चुकी थी. साथ ही साथ वो करण और निशा के रिश्तो मे भी दरार डालने का काम कर चुकी थी.

“वाह साहब...आप दोनो ने तो मुझे आगे पीछे से बहुत तगड़ा बजा दिया है....अब आपलोग मोहिनी की चुचियो का दूध पीकर वापस अपनी ताक़त इकट्ठा कर लो ताकि हम फिर से चुदाई कर सके...” कहते हुए मोहिनी ने आजू बाजू लेटे करण और अर्जुन के मूह मे अपनी दोनो चुचि घुसा दी जिसे वो दोनो किसी बच्चे की तरह चूसने लगे.

चुचि से निकलते ताज़ा दूध उन दोनो के मूह मे भरता जा रहा था. जिसे पीकर वो अपने होश गँवाते जा रहे थे.

अगली सुबह जब करण की नींद खुली तो उसके सर मे तेज़ दर्द था. इतना तेज़ कि मानो उसका सर दर्द से फट जाएगा. सब कुछ धुँधला धुन्द्ला दिख रहा था. उसे महसूस हुआ कि वो बिस्तर पर नंगा पड़ा है और कोई उसके खड़े लंड को मूह मे लेकर चूस रहा है.

उसने सर घुमा के देखा तो अर्जुन उसके बगल मे नंगा सो रहा था. उसके शरीर मे जैसे जान ही नही बची थी. धीरे धीरे उसको सब दिखाई देने लगा. वो वापस अपने होटेल मान सिंग पॅलेस के अपने कमरे मे लेटा हुआ था और मोहिनी बिना कपड़ो के पूरी नंगी उसके लौडे को चूस रही थी. 

अब धीरे धीरे करण को होश आ रहा था. पर जैसे ही उसका रात का नशा उतरा उसने देखा कि जो भी हो रहा है वो ग़लत है. वो ऐसे अपनी बीवी को धोका नही दे सकता. उसने मोहिनी को अपने लौडे से हटाने की कोशिश की पर उसके शरीर मे ताक़त ही नही बची थी.

मोहिनी करण को जगा देख कर अपनी वही रहस्यमयी मुस्कान से मुस्कुराने लगी. जब तक करण उसे रोकता वो चढ़ कर उसके उपर बैठ गयी थी और उसके लौडे को अपने हाथ मे लेकर अपनी चूत से भिड़ा कर उसपे बैठ गयी.

लॉडा सरसराता हुआ चूत की जड़ तक घुस गया और मोहिनी लौडे पर कूदने लगी. करण ने अपनी पूरी ताक़त बटोरकर मोहिनी को अपने से हटाना चाहा पर तब तक होटेल के रूम का दरवाज़ा खुला और सामने करण को ब्लॅक जीन्स और ग्रीन टॉप पहने निशा खड़ी दिखी.

करण की तो दुनिया ही पलट गयी. मोहिनी अभी भी उसके लौडे पर बेफ़िक्र होकर कूद रही थी और उसे अपनी रसीली चूत मे ले रही थी. निशा वहाँ अब एक पल भी ना रह सकी और गुस्से से रूम का दरवाज़ा भड़ाक से बंद करके चली गयी.

करण ने मोहिनी को वहाँ से धक्का दे के हटाया और अपनी पॅंट शर्ट पहनकर नीचे दौड़ा जहाँ उसे निशा रिसेप्षन से होकर जाती हुई दिखाई दी.

“प्लीज़ निशा मेरी बात तो सुनो...” उसने निशा का हाथ पकड़ते हुए कहा.

निशा पलटी और सबके सामने करण के गालो पर खीच कर एक तगड़ा झापड़ लगा दिया. पूरा होटेल सन्न रह गया, सब के सब करण और निशा की तरफ देख रहे थे. झापड़ इतनी ज़ोर का था कि करण के गोरे गालो पर निशा की पाँचो उंगलिया छप गयी. 

“मैं वो सब नही करना चाहता था....” उसने सर झुकाते हुए कहा.

“मैने तुम जैसे घटिया आदमी से प्यार करके सबसे बड़ी भूल की है...और उसे भी बड़ी भूल तुम पर विश्वास करके शादी करने कर के की है...” निशा वही पर रोते हुए बोली.

“प्लीज़ निशा...मैं अपने सेन्स मे नही था....यह सब क्या हो रहा है मुझे खुद कुच्छ भी समझ मे नही आ रहा है....मुझे कुछ याद भी नही आ रहा है...”

“कितने गिरे हुए इंसान हो तुम करण...इतना सब कुछ करने के बाद भी बोल रहे हो तुम्हे कुछ समझ मे नही आ रहा....उस औरत के साथ नाजायज़ संबंध बना कर तुम कह रहे हो तुम्हे कुछ भी याद नही...तुमने मुझे धोका दिया है करण...बेवफ़ाई की है तुमने..”

“मैने तुम्हे धोका नही दिया है निशा....यह सब कैसे और क्यू हो रहा है मुझे कुछ नही पता....प्लीज़ मेरी बात का यकीन करो..”

“यकीन करने को तो कुछ रह ही नही गया डॉक्टर. करण ऱठोड...आज मुझे घिंन आ रही है अपने आप पर जो मैं तुम्हारे साथ उस रात सोई...” और निशा ने फर्श पर थूकते हुए कहा.
Reply
06-24-2017, 11:13 AM,
#69
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
करण के पास कुछ भी कहने को नही था. उसे खुद सब कुछ गोल मोल लग रहा था. उसे समझ मे नही आ रहा था कि रात उसके साथ क्या हुआ, आज वो सुबह अपने आप होटेल के रूम तक कैसे पहुच गया और निशा यहाँ जयपुर तक कैसे आ गयी.

निशा अपने आँसू पोछते हुए करण के शर्ट का कॉलर पकड़ते हुए बोली,” एक बात बताओ करण , कि मेरे प्यार मे क्या कमी रह गयी थी जो तुमने मुझे आज इतना बड़ा धोका दिया....उस रंडी के जिस्म मे ऐसी क्या बात थी जो तुम्हे अपनी बीवी के जिस्म को छोड़ कर उसके पास चले गये...”

करण कुछ बोल ना सका. उसने अपनी गर्दन नीचे झुका ली. करण की खामोशी को निशा की नज़रो मे उसे और ज़्यादा गिरा दिया.

“मैं सब कुछ सह सकती थी....पर अपने पति को किसी और औरत के साथ नही देख सकती....क्या नही किया मैने तुम्हारे लिए....तुम्हारे लिए अपना जिस्म सौंप दिया तुम्हे....अपना करियर अपने माँ बाप सब कुछ छोड़ कर तुम्हारे पास आ गयी...और बदले मे मुझे मिला क्या...यह धोका...तुमने सिर्फ़ मेरे जिस्म को अपनी वासना शांत करने मे इस्तामाल किया है.”

करण का सर शर्म से झुका रहा.

निशा की आँखे फिर भर आई, वो करण को कॉलर से पकड़ कर झंझोरते हुए बोली, “क्यू....आख़िर क्यू किया ऐसा तुमने करण....बोलो तुम्हे कैसा लगेगा जब मैं किसी गैर मर्द के साथ उसका बिस्तर गरम करू..”

करण निशा के मूह से ऐसी बातें सुनकर अंदर से टूट गया. उसकी आँखे रो पड़ी और वो वही निशा के कदमो मे गिर गया, "निशा मुझे माफ़ कर दो.."

निशा एक पत्थर की मूरत बन खड़ी थी. “करण....मुझे तुमसे तलाक़ चाहिए....” निशा अपने आँसू पोछते हुए बोली.

तलाक़ शब्द करण के कानो मे गूँज उठा. उसका घर बनने से पहले ही बिखर चुका था. जिसे उसने अपनी जान से भी ज़्यादा चाहा आज वो खुद उसे अलग होने की बात कर रही थी. करण को लगा मानो उसका आधा अंश उसे टूट कर अलग हो गया हो. 

उसने निशा से कुछ ना कहा और अपने कमरे की तरफ लौट चला. निशा ने भी उसे पलट कर एक बार भी नही देखा और वहाँ से चली गयी.

करण एक लूटे हुए इंसान की तरह वापस कमरे मे आया तो मोहिनी इस बार अर्जुन के लौडे पर कूद कूद कर उसका लॉडा अपनी चूत मे ले रही थी. करण को बहुत गुस्सा आया उसने मोहिनी का हाथ पकड़ कर खीचते हुए कहा, “साली तुझे रंडीबाजी करने के लिए हम ही मिले थे क्या....देख तूने मेरा घर उजाड़ दिया...मेरी नयी नयी शादी हुई थी...तूने सब बर्बाद कर दिया...”

“मैने क्या किया साहब...मैं तो एक ग़रीब विधवा हू....कल रात आप दोनो भाइयो ने ही ज़बरदस्ती मेरा बलात्कार किया था....क्या आप भूल गये...” मोहिनी मासूम बनते हुए बोली.

“क्या बलात्कार...???” करण ने अपने मन मे सोचा. मोहिनी की चुचियो से निकाले दूध पीने के बाद दोनो की यादश्त कमज़ोर हो गयी थी.

“आप कहो तो मैं चुप चाप पोलीस मे जाकर आप दोनो के खिलाफ रपट लिखवा देती हू....” 

“नही ऐसा मत करना....हम पता नही यहा क्यू आए थे हमे कुछ याद नही आ रहा....तुम्हे जो चाहिए वो बोलो मैं तुम्हे दूँगा पर पोलीस मे कंप्लेंट मत लिखवाना...” दूध के असर से दोनो रामपुरा जाना ही भूल गये थे.

“ठीक है अगर मुझे यह देदो तो मैं रपट नही लिख्वाउन्गि...” मोहिनी करण के लौडे को ज़िप से बाहर निकालते हुए बोली.

करण ने एक ज़ोरदार थप्पड़ मोहिनी के गालो पर रसीद दिया. “जा चली जा यहाँ से....और दोबारा कभी इधर मत आना...”

मोहिनी को इससे कोई फ़र्क नही पड़ा. उसका काम तो हो गया था. उसकी चुचियो का दूध पीकर करण और अर्जुन दोनो अपनी बहन काजल के बारे मे भूल गये थे.

“जाती हू साहब...मारते क्यू हो...अगर मेरी चूत से मान भर गया हो बोल दो दूसरी की इंतज़ाम करवा दूँगी...” और आँख मारते हुए वो कमरे से निकल गयी.
Reply
06-24-2017, 11:13 AM,
#70
RE: Hindi Sex काले जादू की दुनिया
करण ने अपने भाई को संभाला और उसे उसके कपड़े पहनाए. दोनो को पिच्छली रात का कुछ नही याद था. फिर करण अर्जुन को अपने और निशा के बीच ग़लतफहमियो के बारे मे बताने लगा जिसे सुन कर अर्जुन भी सन्न रह गया.

इधर निशा का रो रो कर बुरा हाल था. वो अपने किस्मत को कोस रही थी कि उसने आख़िर क्यू करण जैसे धोके बाज से प्यार किया, जो अपनी बीवी को छोड़कर एक बाजारू रंडी के साथ हमबिस्तर हो रहा था. उसे लगा कि उसे अपने माँ बाप का कहा मान कर अमेरिका के लड़के से शादी कर लेनी चाहिए थी. 

निशा गम मे इतना डूब गयी थी कि उसने सोचा कि वो स्यूयिसाइड कर लेगी क्यूकी अब उसके पास कहने को पति भी नही था और माँ बाप ने उसे पहले ही ठुकरा दिया था. वो जिस होटेल मे ठहरी थी उसी की छत से कूद कर जान दे देना चाहती थी.

लेकिन स्यूयिसाइड करने से पहले वो करण को ताक़त दे देना चाहती थी. वो अब करण से इतना नफ़रत करने लगी थी कि अपने साथ उसका नाम भी जोड़ना नही चाहती थी.
उसने अपने आँसू पोछे और जयपुर मे ही उसके एक वकील दोस्त को फोन लगाकर तलाक़ के कागज तय्यार करवा लिए. वो तुरंत लौट कर वापस करण के होटेल मे पहुचि जहाँ उसे रात के अंधेरे मे चुपके से मोहिनी घूँघट करते भागती दिखी.

“इस औरत ने मेरी खुशिया छीन ली....मेरे पति को मुझसे छीन लिया....मैं मरते मरते कम से कम इसे तो जान से मार ही डालूंगी...” कहते हुए निशा गुस्से मे तिल मिलाई मोहिनी का पीछा करने लगी.

जब काफ़ी देर पीछा करने के बाद निशा को मोहिनी एक पास के खंडहर मे जाती दिखी तो वो उसके पीछे लग गयी.

“मालिक आपने जैसा कहा था मैने वो कर दिया....मैने करण और अर्जुन को अपने काले जादू से अपने वश मे कर लिया और उनसे संभोग किया....फिर अपनी चुचि का ज़हरीला दूध उन्हे पिलाया जिससे वो अपनी बहन काजल के बारे मे पूरी तरह से भूल चुके है....यहाँ तक कि मैने करण और उसकी पत्नी के बीच ग़लतफहमिया डाल कर उनके रिश्तो मे दरार पैदा कर दी है..” मोहिनी अपने असली चुदैल वाली रूप मे आती हुई तन्त्र साधना से त्रिकाल के साथ मानसिक संपर्क बनाए हुए थी. 

दीवार के पीछे छुपि निशा अपनी आँखो से एक अप्सरा जैसी मोहिनी को एक बुढ़िया चुड़ैल मे बदलते देखती रही और उसकी त्रिकाल से कही हर बात सुनने लगी. उसे तो अपनी आँखो पर यकीन ही नही हो रहा था.

“जी मालिक मैं अभी आस पास ही रहूंगी और यह सुनिश्चित करूँगी कि अगली अमावस्या से पहले वो रामपुरा तक पहुच कर वो त्रिशूल ना ले पाए....” चुड़ैल मोहिनी त्रिकाल से मानसिक तरंगो से बात करते हुए बोली.

निशा वहाँ से चुपके से खिसक ली. वो दौड़ कर वापस करण के होटेल पर आई और करण का कमरा खोलकर भागकर उसके गले लग गयी और उसके पूरे चेहरे को चूमती हुई बोलने लगी, “आइ लव यू करण....मैं तुम्हारे बगैर एक पल भी जी नही सकती...”

करण को यह देख बहुत हैरानी हुई की अभी निशा गुस्से मे तलाक़ तक देने को तय्यार है और अभी उसपर अपना पूरा प्यार लूटा रही है.

निशा ने करण को तलाक़ के कागज दिखाए और उसके सामने कागज को फाड़ कर उसके बाँहो मे समा गयी. “मैं कुछ समझा नही निशा...मुझे तो लगा था कि अब मैं तुमसे कभी नही मिल पाउन्गा....मैने तो स्यूयिसाइड तक करने का मन बना लिया था.”

निशा ने करण के होंटो पर उंगलिया रखते हुए बोली, “ष्ह्ह्ह्ह.....स्यूयिसाइड जैसे शब्द को कभी भूल कर भी अपने होंठो पर मत लाना....वरना मैं भी नही जी पाउन्गि....”

करण को अपनी किस्मत पर यकीन नही हो रहा था. उसने झुक कर निशा के होंटो को चूम लिया. आज का चुंबन मे दोनो कुछ ज़्यादा ही उत्तेजित लग रहे थे.
“वो मोहिनी कोई औरत नही बल्कि एक चुड़ैल है....” निशा ने करण को समझाते हुए कहा.

“पर वो तो हमे तांगा चलाते हुए मिली थी....ना जाने हम कहाँ जा रहे थे....और आज सुबह हमारे सर मे तेज़ दर्द था और वो हम से ज़बरदस्ती चिपकती जा रही थी...” करण बोला.

फिर जो भी निशा ने खंडहर मे देखा वो करण और अर्जुन को बता दिया. निशा के बताते ही दूध का असर ख़त्म हो गया और उन्हे सब कुछ याद आ गया. करण और अर्जुन ने भी अपनी माँ, अपनी बहन से लेकर त्रिकाल तक की पूरी बात निशा को बता दी. करण और अर्जुन को आचार्य के बारे मे भी उनके सेवको से पता चला.

“करण भाई तुम जा कर नीचे गाड़ी निकलवाओ मैं भी जल्दी से तय्यार हो कर आता हू...हमे आज किसी हाल मे रामपुरा पहुचना है...” अर्जुन बोला और अपना सब समान समेटने लगा.
Reply


Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,465,226 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 540,392 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,217,607 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 920,760 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,632,560 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,063,900 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 2,922,203 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana
Star Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम sexstories 932 13,961,618 10-14-2023, 04:20 PM
Last Post: Gandkadeewana
Lightbulb Vasna Sex Kahani घरेलू चुते और मोटे लंड desiaks 112 3,994,950 10-14-2023, 04:03 PM
Last Post: Gandkadeewana
  पड़ोस वाले अंकल ने मेरे सामने मेरी कुवारी desiaks 7 281,458 10-14-2023, 03:59 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 2 Guest(s)