01-31-2019, 11:41 AM,
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sexstories
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RE: Desi Sex Kahani अनदेखे जीवन का सफ़र
वीर तभी अपने पर्स से कार्ड निकालता है ऑर कार्ड से पेमेंट *कर देता है...
वीर..ये लो दी ये कार्ड अपने पास रखो *कभी भी कुछ चाहिए तो *इससे शॉपिंग कर लेना..
कुछ भी ज़रूरत होगी इसे यूज़ करना ओके..
संजू..मैं इसका क्या करूगी..इसे आप अपने पास रखो
वीर...तो क्या आप मुझे अपना नही समझती..
संजू..ना वीर ये मत बोलना तू तो मेरी जान है *मेरे दिल से पूच क्या है तू मेरे लिए..न्ड प्लज़्ज़्ज़ आगे से मुझे दीदी नही बुलाएगा. सिरफ़ संजू बुलाएगा..ऑर तुझे मेरी कसम..
वीर..ठीक तो चले संजू..
फिर दोनो वहाँ से आइस क्रीम पार्लर जाते है.ऑर वहाँ से घर..
वीर ..की हुई शॉपिंग सब को दे देता है..
वीर के मोम डॅड बहुत खुश होते है..
वीर डॅड को भी एक कार्ड देता है जैसा **संजू को दिया.था..
मोम...वीर बेटा चलो डिन्नर रेडी है...
फिर सभी बैठ डिन्नर करने लगते है आज सभी वीर को अपने हाथ से खिलाते है ***...
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उधर.. एक काले अंधेरे मे बड़े से महल मे बहुत से आदमी खड़े थे..
आदमी...बॉस जिन्नो का बादशाह आ गया है..ऑर उसे अपनी शक्तियो के बारे मे *भी पता लग चुका है..
बॉस....जब तक मुझे मेरी सारी शक्ति नही मिल जाती तब तक तुम सब उसका जीना हराम कर दो....
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