Antarvasna kahani रिसेशन की मार
07-10-2018, 12:38 PM,
#12
RE: Antarvasna kahani रिसेशन की मार
रिसेशन की मार पार्ट--12

गतान्क से आगे..........

हम दोनो बाथरूम मे घुस गये और साथ मे ही शवर लिया. राज का लंड अभी तक नरम नही हुआ था तो मैं ने हैरत से पूछा के क्या यह हमेशा ऐसे ही खड़ा रहता है सॉफ्ट नही होता तो मेरी चूत की तराफ़ इशारा करके हंसते हुए बोला के ऐसी मस्त चूत देख के किसी का लंड भी नरम नही हो सकता. मैं ने राज को और राज ने मेरे बदन पे सोप लगाया और उसके लंड को अछी तरह से सोप से रगड़ रगड़ के धोया और फिर अपनी चूत को भी सॉफ किया. मेरा हाथ लगने से राज के लंड मे और तनाव पैदा हो गया था और अब वो मस्ती मे हिलने लगा था तो मैं अपने दोनो हाथो से उसके लंड को पकड़ के घुटनो के बल बैठ गयी और चूसने लगी तो राज के हाथ फॉरन मेरे हेड पे आ गये और उसने मेरे मूह को चोदना शुरू कर दिया. उसका लंड किसी लोहे के रोड की तरह सख़्त और गरम हो गया था. मैं भी गरम हो गयी थी और अपनी उंगली से अपनी चूत के दाने का मसाज करने लगी और फिर अपनी उंगली से ही अपनी चूत को चोदने लगी. थोड़ी ही देर मे वो मेरे हलक तक अपने लंड को घुसा के चोदने लगा और फिर उसकी स्पीड बढ़ गयी और मुझे लगा के अब वो झड़ने वाला है. मेरा हाथ भी अब तेज़ी से चलने लगा था और उधर राज भी मेरे मूह को ज़ोर ज़ोर से चोद रहा था. राज ने अपने लंड को मेरे हलक तक उतार दिया और अपने क्रीम की पिचकारियाँ मारने लगा जो डाइरेक्ट मेरे हलक मे गिरने लगी और साथ ही मेरा ऑर्गॅज़म भी शुरू हो गया और मैं भी झड़ने लगी.

हम दोनो नेएक बार फिर से शवर लिया और बाहर आ गये. एक दूसरे को ड्राइ किया और कपड़े पहेन लिए. राज ने बोला के चलो बाहर चलते है डिन्नर बाहर ही खाएगे. मैं और राज नीचे आ गये. मुन्ना भाई वही अपनी सीट पे बैठे थे उन्हो ने राज को विश किया तो राज ने बोला के मैं मेडम को डिन्नर के लिए बाहर ले जा रहा हू तो उसने बोला के कोई बात नही सर और हम दोनो बाहर निकल गये. बाहर राज की चमकती हुई ब्लॅक कलर की क़ुआलिस खड़ी थी. राज ने एलेक्ट्रॉनिक डिवाइस से डोर्स को खोला तो मैं अंदर बैठ गयी. राज ने कार स्टार्ट कर दी और एरकॉनडिशन खोल दिया. इतनी फर्स्ट क्लास और कंफर्टबल कार मे मैं फर्स्ट टाइम बैठी थी. कार के अंदर पर्फ्यूम की स्मेल थी. राज सिगरेट नही पीता था इसी लिए कार मे अछी स्मेल थी अदरवाइज़ मोस्ट ऑफ दा पर्सन्स हू स्मोक हॅव फाउल स्मेल इन देयर कार्स. राज मुझे एक बढ़िया होटेल मे ले गया और हम दोनो ने मस्त डिन्नर किया. राज ने पूछा के स्नेहा तुम ड्रिंक्स करती हो क्या तो मैने बोला के नही मैं नही करती अगर तुम करना चाहो तो कर सकते हो तो उसने बोला के नही मैं भी नही करता. फिर हम ने कॉफी पी उसके बाद राज मुझे मुंबई की सैर कराने लगा. राज के मोबाइल की बेल हुई तो उसने उठा लिया, दूसरी तरफ उसकी वाइफ थी शाएद जो पूछ रही थी के कहा हो तो राज ने बोला के वो एक क्लाइंट के साथ डिन्नर पे है और अभी वापस आने मे शाएद 2 घंटे

और लगेगा, तुम खाना खा लो तो फिर पता नही उसकी वाइफ ने क्या कहा उसके बाद उसने अपनी वाइफ को बाइ बोला और फोन काट कर दिया. मैं ने पूछा वाइफ थी तो उसने बोला के हा वो टूर से वापस आ गयी है तो मैं ने शरारत से मुस्कुराते हुए बोला के तुम अपने क्लाइंट के साथ डिन्नर कर रहे थे तो उसने मेरे गालो को चूमते हुए बोला के यही तो मेरी सीक्रेट लाइफ है मेरी जान. फिर काफ़ी देर तक राज मुझे इधर उधर घूमाता रहा और मुंबई के बारे मैं बताता रहा पर मेरी समझ मे कुछ भी नही आया बस दीवानो की तरह से इधर उधर देख रही थी के क्या जगह है यह मुंबई भी, यहा का दिन बिज़ी होता है और रातें रंगीन. मौसम बोहोत ही अछा था पर राज ने एरकॉनडिशन खोल रखा था. उसकी कार के ग्लासस भी डार्क कलर के थे. मैं राज के लंड को उसके पॅंट से बाहर निकाल के पकड़े रही और राज भी एक हाथ से स्टियरिंग संभाल रहा था और दूसरे हाथ से मेरी चूत मे उंगली कर रहा था. कभी कभी झुक के उसके लंड को अपने मूह मे ले के चूसने लगती तो राज मेरे सर को पकड़ के अपने लंड पे दबा देता था और फिर उसने बोला के पता है स्नेहा मेरी वाइफ ने आज तक मेरे लंड को अपने मूह मे नही लिया और ना ही अपनी चूत मे पूरा लंड डालने दिया तो मैं ने बोला के राज मेरी जान क्यों फिकर करते हो तुम्हारी वाइफ को तुम्हारे शानदार लंड की कदर नही है तो क्या हुआ मैं हू ना मुझे यह मूसल बोहोत पसंद है इसको मैं हमेशा अपने पास रखना चाहती हू तो उसने प्यार से मेरे गालो को चूम लिया और बोला के यू आर दा बेस्ट डार्लिंग.

हम इसी तरह से मस्तियाँ करते करते घूमते रहे और फिर तकरीबन रात के तकरीबन 12 बजे के करीब हम वापस होटेल आ गये. राज मुझे छोड़ने ऊपेर आया तो मैं उस से लिपट गयी और किस करने लगी और बोला के राज प्लीज़ आज की रात मेरे पास ही रहो ना तुम्है छोड़ने को दिल नही चाह रहा, प्लीज़ रूको ना तो उसने बोला के नही मेरी जानू मैं सारी रात तो नही रुक सकता पर कुछ देर के लिए ज़रूर रुक सकता हू पर तुमको मेरी एक बात माननी होगी तो मैं खुश हो गयी के चलो इसी बहाने राज थोड़ी देर और मेरे पास रहेगा तो मैं ने बोला के अरे स्नेहा की जान भी माँगो गे तो वो भी मिलेगी, मैं किसी दयावान की तारह से बोली माँगो क्या माँगते हो तो उसने बोला के मैं तुम्हारी गंद मारना चाहता हू तो मेरा दिल धक्क से रह गया और सोचा के एक टाइम तो आक्सिडेंटली उसका लंड मेरी गंद मे घुस गया था तो मेरी जान ही निकल गयी थी पर अब तो मुझे मालूम है के वो मेरी गंद मारेगा तो मेरी गंद उसके मारने से पहले ही फटने लगी. अब मैं ने उसको प्रॉमिस तो कर ही दिया था और अब मुझे गंद तो मरवाना ही था तो उसको बोल दिया के ठीक है मेरी जान मेरी गांद भी मारलो बट प्लीज़ आराम से करना, मेरी गंद फॅट जाएगी मैं इतना बड़ा और मोटा लंड अपनी गंद मे नही ले पाउन्गी तो उसने बोला के तुम फिकर ना करो मैं धीरे धीरे आराम से ही करूँगा.

राज अपना कोट और टाइ कार मे ही रख चुका था अब सिर्फ़ पॅंट और शर्ट मे था और बड़ा ही हॅंडसम लग रहा था. उसने मुझे अपनी बाँहो मे ले लिया और हम किसी नये लवर्स की तरह से दीवानो की तरह एक दूसरे को किस करने लगे. उसका लंड तो कभी सॉफ्ट होता ही नही था और हमेशा ही एरेक्ट मोड मे रहता था. मैने उसके पॅंट की ज़िप को खोल दिया और अंडरवेर से उसके मूसल को आज़ाद कर दिया. उसने मेरी सारी खोल दी और पेटिकोट का नाडा भी और फिर हम दोनो देखते ही देखते नंगे हो गये. उसका लंड मस्ती मे हिल रहा था शाएद मेरी गंद को सल्यूट कर रहा था पर मेरी गंद तो ऐसे ही फॅट रही थी. मैं बेड पे बैठ के उसके लंड को चूसने लगी. राज का लंड मेरे थूक से गीला हो चुका था तो उसने मुझे बघल से पकड़ हे बेड से उठाया और फ्लोर पे खड़े खड़े मुझे सामने की ओर झुका दिया. अब मैं अपने दोनो हाथ बेड के किनारे पे रखे डॉगी स्टाइल मे खड़ी थी और राज मेरे पीछे खड़ा था. राज ने पीछे से अपना लंड मेरी चूत मे डाल दिया जो पहले ही गीली हो चुकी थी तो मैं खुश हो गयी के शाएद यह मेरी गंद नही मारेगा सिर्फ़ चूत की ही चुदाई करेगा. हाउ रॉंग आइ वाज़. वो तो अपने लंड को मेरी चूत से निकलते जूस से गीला कर रहा था. पूरा लंड जड़ तक पेल दिया और 2 – 4 मिनिट तक चोदा तो मे तो झाड़ गयी और मेरे झड़ने से उसका लंड पूरा गीला हो गया तो उसने अपने लंड को मेरी चूत से बाहर खेच लिया और गंद के सुराख पे रगड़ने लगा. डर के मारे मेरा बुरा हाल था इसी लिए मैं ने अपनी गंद के मसल्स को टाइट बंद कर लिया था. राज कोशिश करता रहा पर बड़ी मुश्किल से उसके लंड का हेल्मेट ही मेरी गंद मे घुस सका. ऐसी पोज़िशन मे शाएद सही ग्रिप नही मिल रही थी तो उसने मुझे बेड पे हाफ लिटा दिया. मेरी गंद बेड के किनार पे थी और पैर फ्लोर पे. होटेल का बेड मीडियम हाइट का था उसपे उल्टा लेटने से हाफ डॉग्गी स्टाइल के लिए पर्फेक्ट पोज़िशन बनती थी, मेरे दोनो हाथ फोल्ड करके उसपे अपना सर रखा हुआ था. ऐसी पोज़िशन मे लेटने से मेरे पैर पीछे तक चले गये थे और मैं हाफ डॉगी स्टाइल मे बेड पे उल्टा लेटी थी. ऐसी ही पोज़िशन मे उसने फिर अपना लंड मेरी टाइट गंद मे डालने की कोशिश की. मैं ने गंद को टाइट बंद किया हुआ था तो उसने बोला गंद के मसल्स को रिलॅक्स करो नही तो बोहोत दरद होगा तो मैं ने बोला के मुझे से नही हो रहा क्या करू तो उसने हाथ करीब पड़े अपने पॅंट की जेब मे डाला और उसमे से ब्लॅक कलर का एक ट्यूब निकाला जो किसी लार्ज साइज़ टूथ पेस्ट से भी थोड़ा बड़ा था, जिसपे जेल्ली जैसा कुछ लिखा हुआ था. शाएद राज ने पहले ही मेरी गंद मारने की तय्यरी कर रखी थी और जेल्ली को अपने पॅंट मे रखे घूम रहा था. उसने वो ट्यूब खोला और दबा के जेल्ली को पहले तो अपने लंड पे खूब अछी तरह से लगाया और फिर मेरे नीचे हाथ डाल के मेरी गंद को थोड़ा ऊपेर उठाया और गंद मे ट्यूब का हेड डाल के जेल्ली के ट्यूब को ज़ोर से दबाया जिस से

ऑलमोस्ट हाफ जेल्ली मेरी गंद मे चली गयी. जेल्ली मेरी गंद मे ठंडी लग रही थी. उसने ट्यूब को दबा के मेरी गंद के सुराख के ऊपेर भी खूब बोहोत जेल्ली लगाई और लंड के हेड से जेल्ली को सुराख पे रगड़ने लगा. मेरी हालत और बुरी हो गयी थी मुझे पता था के अब यह मूसल मेरी गंद मे डेफनेट्ली घुसेगा और मेरी गंद फॅट जाएगी. राज मेरे ऊपेर झुक गया और मेरे कान के लटकते हुए हिस्से को किस करने लगा और मेरे गालो को चूमने लगा. इधर वो अपने लंड को मेरी गंद के सुराख पे प्रेशर दे रहा था. इतना स्लिपरी होने की वजह से उसके लंड का सूपड़ा तो बोहोत ईज़िली अंदर घुस गया पर मुझे इतना दरद हुआ के फॉरन ही मैं ने गंद को फिर से टाइट कर लिया. उसने लंड के सूपदे को ही आगे पीछे कर के प्रेशर डालने शुरू किया तो थोड़ा थोड़ा उसका लंड मेरी गंद मे घुसाने लगा. राज रुक गया और उतना लंड ही मेरी गंद के अंदर रखे रखे एक बार फिर ट्यूब से जेल्ली अपने लंड के हेड पे डाली और थोड़ा दबाया तो लंड थोड़ा और अंदर चला गया और मेरी गंद ऑटोमॅटिकली खुलने लगी. जेल्ली बोहोत ही चिकनी और स्लिपरी थी मेरी गंद मे जलन होने लगी और तकलीफ़ से मेरी आँखो मे आँसू आ गये. राज को भी शाएद पता था के ऐसे धीरे धीरे डालने से बोहोत टाइम भी लगेगा और दरद भी ज़ियादा होगा इसी लिए वो मेरे ऊपेर झुका हुआ था और मुझे चूमते चूमते धीरे से मेरी गंद से अपना लंड थोड़ा बाहर निकाला, सिर्फ़ सूपड़ा गंद के अंदर रहने दिया और बिना धक्का लगाए मेरे ऊपेर लेट के मुझे किस करने लगा और मेरे बूब्स को दबा ने लगा और फिर नीचे हाथ डाल के मेरी चूत से खेलने लगा और चूत मे उंगली डालने लगा तो मैं मूड मे आने लगी और मेरा बदन खुद ही रिलॅक्स होने लगा और शाएद राज भी किसी ऐसे ही मोके की तलाश मे था मेरी चूत से खेलते खेलते उसने कब मेरे शोल्डर को टाइट पकड़ लिया पता ही नही चला और फिर एक धक्का इतनी ज़ोर से मारा के मेरी जान ही निकल गयी, उसका मूसल मेरी गंद मे जड़ तक धँस चुका था और मैं बोहोत ज़ोर से चिल्लाई सस्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्सस्स आआआआअहह उउउउउउउउउउउफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ एम्म्मम्म्मायायायेयीयायार्र्र्र्र्र्र्र ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्गाआआईईईईईई र्र्र्र्र्र्र्र्र्रररीईईईई हहाआआआआआआआआअ और उसका इतना लंबा मोटा लंड मेरी छोटी सी गांद को फाड़ता हुआ जड़ तक अंदर तक घुस चुका था, मैं उसकी ग्रिप से निकलने को मचल रही थी पर उसने मुझे बहुत ही टाइट पकड़ा हुआ था, मेरा सारा बदन अकड़ गया था, तकलीफ़ से मेरी आँखे भी को निकल गयी थी और चेहरा लाल हो गया था, आँखो से आँसू बहने लगे, राज ने मुझे टाइट पकड़ा हुआ था, मैं उसकी पवरफुल ग्रिप से एक इंच भी नही निकल सकी. राज अपना लंड मेरी गंद मे घुसाए, मुझे अपने ग्रिप मे टाइट पकड़े मुझे अपने नीचे दबा के ऐसे ही मेरे ऊपेर लेटा रहा. उसका लंड मेरी गंद मे पूरा घुस चुका था. .

मेरी गंद मे बोहोत दरद हो रहा था मुझे लग रहा था जैसे किसी ने कोई लोहे का मूसल मिर गंद मे घुसा दिया हो. मैं राज की पवरफुल ग्रिप से नही निकल पाई और ऐसे ही उसके नीचे दबी पड़ी रही. मेरी साँसें तेज़ी से चल रही थी. थोड़ी देर ऐसे ही पोज़िशन मे लेटे लेटे अब मुझे दरद कम महसूस होने लगा तो मैने एक गहरी साँस ली जिस से राज समझ गया के अब उसका लंड मेरी गंद से अड्जस्ट हो गया है. लंड को गंद से बिना बाहर निकाले वो थोड़ा सा पीछे हटा और अपने लंड को देखने लगा जो मेरी गंद मे जड़ तक घुसा हुआ था. अब उसने फिर से जेल्ली का ट्यूब उठाया और अपने लंड को ऑलमोस्ट हाफ मेरी गंद से बाहर निकाला और अपने लंड पे ढेर सारी जेल्ली डाली और लंड को गंद के अंदर कर दिया इसी तरह से 3 – 4 टाइम लंड को बाहर निकाल निकाल के उसपे जेल्ली डालता रहा तब कही जा के उसका लंड आसानी से मेरी गंद के अंदर बाहर होने लगा. मेरी गंद पूरी तरह से खुल चुकी थी. अब राज ने मेरी गंद मारना शुरू किया. मेरे शोल्डर्स को पकड़ा हुआ मेरे कान को चूस रहा था और मेरी गंद मार रहा था. थोड़ी ही देर मे मुझे मज़ा आने लगा तो मैं भी अब पीछे धक्के लगाने लगी और मज़े से गंद मरवाने लगी. राज को यह देख के और जोश आ गया और वो अब पूरी ताक़त से मार रहा था और मेरी गंद को फाड़ रहा था. कभी पूरा लंड गंद से बाहर निकाल के कभी आधा लंड बाहर निकालके तकरीबन आधे घंटे तक वो मेरी गंद को मारता रहा फिर उसके धक्के तेज़ होने लगे तो मैं ने उसका एक हाथ अपने शोल्डर से हटाया और अपनी चूत की तरफ कर दिया तो वो एक बार फिर से मेरी चूत से खेलने लग और अब मुझे गंद मरवाने मे बोहोत ही मज़ा आने लगा. राज के धक्के तेज़ होने लगे थे और फिर जैसे ही राज की पिचकारी मेरी गंद के अंदर छूटती उसकी उंगली मेरी चूत के अंदर तक घुस्स गयी, उसकी उंगली भी अछी ख़ासी मोटी किसी मीडियम साइज़ के लंड की तरह ही थी. वो झटके से मेरी चूत मे घुसी और मेरी चूत से जूस निकलने लगा और उसके लंड से क्रीम की धारियाँ निकल ने लगी और मेरी गंद को भरने लगी. वो जोश मे मेरी गंद मारता ही जा रहा था और उसके लंड से धारियाँ निकलती ही जा रही थी. थोड़ी देर मे वो शांत हो गया और मेरे बदन पे ही ढेर हो गया, वो बोहोत ही गहरी गहरी साँस ले रहा था और हम दोनो का बदन पसीने से भरा हुआ था. लंड मेरी गंद मे डाले ही डाले थोड़ी देर तक राज मेरे बदन पे ऐसेही लेटा रहा. उसका लंड अभी तक मेरी गंद के अंदर फूल पिचक रहा था. मेरी गंद के सुराख के मसल्स उसके लंड के बेस को दबा दबा के निचोड़ रहे थे. जब उसके लंड से मलाई की एक एक बूँद निकल गयी तो उसने अपना लंड बाहर खेच लिया. प्लॉप की आवाज़ के साथ उसका लंड मेरी गंद से बाहर निकल गया, मेरी गंद पूरी तरह से खुल चुकी थी, उसका लंड मेरी गंद से बाहर निकलते ही मुझे एक दम से मेरी गंद खाली खाली सी महसूस हुई और उसकी मलाई गंद के खुले हुए सुराख से बह ने लगी और मेरी खुली हुई चूत के बीच मे से बहती हुई

नीचे बेड पे गिरने लगी. उसका लंड गंद से बाहर निकल ते ही मेरी गंद एक दम से रिलॅक्स हो गयी.

क्रमशः......................
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RE: Antarvasna kahani रिसेशन की मार - by sexstories - 07-10-2018, 12:38 PM

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