RE: bahan sex kahani दो भाई दो बहन
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गतान्क से आगे.............
'ओह राज हाआआं ओह" दर्द और खुशी के मिश्रित आँसू उसकी
आँखों से बह उसकी गालों तक आ गये. राज ने अपने लोहे जैसे लंड को
और ज़ोर लगाया तो उसका लंड और अंदर तक चीरते हुआ सीधे रोमा
की चूत की गहराई तक पहुँच गया. रोमा की चूत की दीवारों ने
राज के लंड को जगह देते हुए अपनी पकड़ मे जाकड़ लिया.
राज भी उत्तेजना की लौ मे बह चला था. रोमा की चूत किसी भट्टी
से कम नही थी. उसकी चूत की गर्मी और चूत की पकड़ उसके लंड को
तनती जा रही थी.
राज अपनी प्यारी बेहन रोमा को प्यार कर रहा था ना कि रिया की तरह
उसे चोद रहा था. आज दो जवान दिल दो जिस्म एक जान हो रहे थे.
दिलों के साथ साथ जिस्मों का भी संगम हो रहा था. दोनो एक दूसरे
को जिस्म और जान से प्यार कर रहे थे. राज के हर धक्के पर रोमा
प्यार मे सिसक उठती और उसकी चूत राज के लंड को और अंदर तक ले
लेती.
दोनो के इस प्यार भरे लम्हो को शब्दों मे नही लिखा जा सकता
सिर्फ़ एहसास किया जा सकता था. जब राज का लंड उसकी चूत के
गहराइयों को छूता तो उसकी आखें और खुशी से उबल पड़ती. आज
जिंदगी मे पहली बार किसी मर्द के लंड को उसने अपनी चूत मे लिया
था वो भी अपने प्यार का. आज वो दिन था जिसका उसने बरसों से
इंतेज़ार किया था. अपनी आँखों से बहे नमकीन आँसुओं को अपनी जीभ
से चाटते हुए वो राज के धक्कों का साथ देने लगाई. अपनी कमर को
उसके हर धक्के के साथ मिलाने लगी.
राज के लंड की नसे तनने लगी थी और गोलियों मे उबाल उठ रहा था.
उसे अब अपने आपको रोकना मुश्किल हो रहा था. उसने अपनी जान अपनी
बेहन की आँखों मे झाँका.
"बस करीब हूँ राज." वो धीरे से फुसफुसाया
राज और जोरों से धक्के मारने लगा. हर धक्का पहले धक्के से ज़्यादा
प्यार भरा होता. रोमा का शरीर आकड़ा और उसकी चूत जैसे किसी लावे
की तरह फट पड़ी. पानी दर पानी छोड़ने लगी. उसकी सिसकारियाँ अब
हल्की सूबकी मे बदल गयी. खुशी और उत्तेजना मे उसके शरीर को
जाकड़ लिया. प्रेम का रस चूत से बहता हुआ खिड़की के नीचे
ज़मीन पर टपक रहा था.
राज का भी छूटने वाला था. रोमा की कमर को पकड़ वो और जोरों से
धक्के लगा रहा था. वो अपने लंड को बाहर खींचता और जब सिर्फ़
सूपड़ा अंदर रह जाता तो ज़ोर से उसे फिर चूत की गहराइयों तक पेल
देता.
"हाआँ राज ऐसे ही अंदर तक पेलूऊओ.....ओह राज छोड़ दो अपना पानी
मेरी चूत मे ..... में तुम्हारे वीर्य की धार को महसूस करना
चाहती हूँ..... आज नहला दो मेरी चूत को भर दो इसे अपने पानी
से."
राज ने एक और धक्का मारा और उसका वीर्य उसकी गोलैईयों से होता हुआ
उसकी नसों को और तनाता हुआ निकल पड़ा. लंड से ऐसी पिचकारी
छूटी की राज ने खुशी के मारे रोमा को और कस कर पकड़ लिया. अपने
लंड को तब तक अंदर घुसाए रखा जब तक उसकी गोलैईयों मे एक भी
बूँद बाकी नही बची थी.
राज प्यार से अपनी बेहन की आँखों मे देख रहा था, "आइ लव यू
रोमा.' उसने उसे चूमते हुए खा.
"आइ लव यू टू राज." रोमा धीरे से सूबक पड़ी. खुशी से उसकी आँखे
नम थी.
* * * * * * * *
अपने बड़े भाई के साथ बीताए पलों ने रोमा की आँखो से उसकी नींद
उड़ा दी थी. राज के साथ हुई चुदाई ने उसके सपने को पूरा कर दिया
था.
अब जबकि वो प्रेमी बन चुके थे वो राज को बहोत मिस कर रही थी.
वो उसके पास रहना चाहती थी उससे प्यार करना चाहती थी. आज की
रात वो उसकी बाहों मे सोना चाहती थी, उसके शरीर से उठती गर्मी
का एहसास करना चाहती थी.
घर काफ़ी घंटो से शांत था. उसके मा कब की सो चुकी थी और
शायद राज भी. वो धीरे से अपने बिस्तर से उठी और बिना आवाज़ किए
अपने कमरे के दरवाज़े तक आई.
धड़कते दिल से उसने दरवाज़ा खोला और बाहर का जयजा लिया. फिर
धीमी चाल से वो राज के कमरे के दरवाज़े के पास आई. नॉब पर
हाथ रख उसने उसे घूमाया तो पाया कि दरवाज़ा खुला हुआ था अगर
बंद होता तो शायद उसका दिल टूट जाता. धीरे से अंदर आकर उसने
दरवाज़ा अंदर से बंद कर लिया.
एक बार राज के कमरे मे आने के बाद उसने अपना नाइट गाउन उत्तर दिया.
वो नही चाहती थी कि उसके और राज के बीच कोई भी चीज़ आए. रोमा
को राज के कमरे की स्थिति पता थी इसलिए उसे लाइट की ज़रूरत
नही पड़ी. धीमे से वो राज के पलंग के पास आई और धीरे से
चादर उठा बिस्तर मे घुस गयी.
राज उसकी बाई तरफ मुँह किए लेटा था. वो उसकी तरफ पीठ कर के
लेट गयी और अपनी पीठ को उसके शरीर से रगड़ने लगी. उसने राज के
हाथ को उठा अपनी चुचियों पर रख लिया. राज की गर्म सांसो
की भाँप उसके कंधो को छू रही थी और उसकी बैठती छाती उसकी
पीठ से टकरा रही थी. राज से चिपक कर सोने मे उसे अच्छा लग
रहा था और ना जाने कब उसे नींद आ गयी.
अपनी गर्दन पर गरम होठों का स्पर्श पा रोमा की आँख खुल गयी.
रात अभी भी बाकी थी. राज उसकी गर्दन पर अपने होंठ रखे उसे
चूम रहा था. राज ने अपनी ज़ुबान उसकी गर्दन पर घुमाई तो वो
कसमसा उठी.
"लगता है कि मैं अकेला ही नही जाग रहा." राज ने उसकी गर्दन पर
अपनी साँसों की गरम भाँप छोड़ते हुए कहा.
"मेने सोचा था कि तुम्हारे बिस्तर मे तुम्हारे पास घुस कर तुम्हे
चौंका दूँगी." रोमा ने कहा.
राज ने अपना हाथ नीचे किया और रोमा की एक टांग उठा कर अपनी टांग
पर रख ली फिर अपना हाथ उसकी जांघों के अन्द्रुनि हिस्सों पर
फिराने लगा.
"लगता है गीली हो रही हो." राज अपनी बेहन को चिढ़ाते हुए
बोला.
"हां और किसी का बड़ा और मोटा होता जा रहा है." रोमा ने
राज के लंड को अपने चूतदों पर महसूस किया तो बोली, "क्या तुम्हे
रिया मुझसे ज़्यादा पसंद है?"
"रिया मुझे पसंद है." राज ने कहा, "लेकिन में प्यार तुमसे करता
हूँ."
"सच......." रोमा ने प्रश्न किया. राज का कहना उसे बहोत अच्छा
लगा लेकिन फिर भी वो बोली, "तुम इतने दिनो से मुझे नज़र अंदाज़
करते आ रहे थे और आज ये कह रहे हो तो मुझे विश्वास नही हो
रहा."
राज ने आगे से उसकी चूत पर हाथ फिराया और अपनी बीच वाली उंगली
से चूत के अन्द्रुनि हिस्सों को कुरेदने लगा. रोमा का बदन काँप रहा
था, उसने उसकी गर्दन पर अपनी नाक रगड़ते हुए अपनी उंगली उसकी
गीली हुई चूत मे घूसा दी.
वो रोमा की हालत समझ सकता था. "में तुमसे प्यार करता हूँ
रोमा" उसने उसे दिलासा देते हुए कहा, "रिया से कहीं ज़्यादा पर एक
बात तो है वो है बड़ी गरम."
"बड़े हरामी हो तुम." रोमा उसकी छाती पर अपनी कोहनी मार अपना गुस्सा
जताया, "बेहतर है कि तुम उसे ही अपने बिस्तर मे बुला लो."
राज ने अपनी बेहन को ज़ोर से बाहों मे भर लिया, "ऐसा हो नही सकता,
माना वो बिस्तर मे अच्छी है पर तुमसे अच्छी नही. और फिर तुम
शैतानी के मूड मे भी तो हो."
"किस तरह की शैतानी के लिए?" रोमा ने पूछा.
"पहले ये बताओ तुम गुस्सा तो नही हो ना?" राज ने कहा.
"हां बिल्कुल गुस्सा नही हूँ." रोमा ने कहा. वो सोचने लगी पता नही
कि राज के दिल मे क्या है और वो किस शैतानी के बात कर रहा है.
राज ने रोमा को अपनी और खिसकाया और उसे कंधो से पकड़ नीचे
खिसका दिया. जब उसने राज के लंड का स्पर्श अपने चेहरे पर पाया तो
वो समझ गयी कि राज क्या चाहता है.
राज ने रोमा के गरम मुँह को अपने लंड पर महसूस किया. रोमा पहले
तो हिचकिचाई पर शायद उसके जज्बातों ने उसकी हिम्मत बढ़ा दी.
पहले तो उसने उसके लंड के सूपदे को चूमा और फिर धीरे धीरे
लंड को और अपने मुँह मे ले चूसने लगी.
राज ने अपने हाथ रोमा के सिर के पीछे रख दिए. वो सोचने लगा कि
किस तरह आज उसने रिया के मुँह को चोदा था. उसे अपने आप पर
अचंभा हुआ कि जब वो रिया को चोद रहा था तो रोमा उसके ख़यालों
मे थी और अब जब वो रोमा को चोद रहा है तो रिया उसके ख़यालों मे
आ रही है. राज को लगा कि रिया और रोमा दोनो उसके दिल के हिस्से
है पर रोमा का हक़ ज़्यादा है.
क्रमशः.............
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