RE: Desi Porn Stories अलफांसे की शादी
"अरे.....तुम तो जरूरत से ज्यादा हैरान हो, हमारे ख्याल से तुम्हें हैरान होना तो चाहिए था, मगर इतना ज्यादा नहीं—कम-से-कम विनीता की मौत के बाद तो यह अहसास हो ही जाना चाहिए था कि हम दुनिया में कहीं हो सकते हैं।"
विमल को लगा कि जानकीनाथ अभी तक इस रहस्य से वाकिफ नहीं है सुरेश, सुरेश नहीं बल्कि मिक्की है।
जानकीनाथ अपनी ही धुन में कहते चले गए—"आज तुम लोगों का खेल खत्म हो जाएगा विमल मेहता, कुछ देर बाद मेरे कमरे में तुम नहीं बल्कि तुम्हारी लाश पड़ी होगी और नसीम.....गन्दी नाली की उस दुमई को अपने हाथों से मारना भी हम पाप समझते हैं, उससे पुलिस ही निपटेगी।"
"प.....पुलिस?" विमल के मुंह से पहला शब्द निकला।
"हां पुलिस......जो कुछ तुम्हें अभी-अभी बताया, वह सब एक लिफाफे में बंद करके हम हम थाने में, इंस्पेक्टर गोविन्द म्हात्रे के एक सिपाही को यह कहकर दे आए हैं कि म्हात्रे के आते ही लिफाफा उसे दे—तुम्हारी हकीकत बताने के साथ वह लिफाफा—हमने वहां इसलिए भी दिया है ताकि म्हात्रे को पता लग जाए कि हमारा बेटा निर्दोष है, वह धाकड़ इन्वेस्टिगेटर भी आज तक यही समझ रहा है कि हमारी हत्या हमारे बेटे सुरेश ने की है।"
विमल का जी चाहा कि वह चीखे।
चीख-चीखकर जानकीनाथ को बताए कि वह तेरा बेटा सुरेश नहीं, बल्कि मिक्की है। तेरे बेटे का हत्यारा। मगर यह बात जानकीनाथ को बताने में उसे दूर-दूर तक अपना कोई फायदा नजर नहीं आया।
जानकीनाथ की मौजूदगी ने सारे समीकरण ही बदल दिए थे।
यह बात भी विमल की समझ में आ रही थी कि जो लिफाफा जानकीनाथ थाने में म्हात्रे के लिए छोड़कर आया है, वह उनकी समूची साजिश और थाने में चल रहे ड्रामें को एक ही झटके में धराशायी कर देगा।
अब की तरकीब उसे या नसीम को नहीं बचा सकती।
नसीम पूरी तरह फंस चुकी है।
मगर मैं.....।
मेरे पास अभी मौका है।
इस विचार ने बड़ी तेजी से उसके दिमाग में सरगोशी की—'फिलहाल मेरे रास्ते में एकमात्र अड़चन वह रिवॉल्वर है, अगर किसी तरह मैं उसे धोखा दे दूं तो साफ बचकर निकल सकता हूं—भाड़ में जाए नसीम बानो और मिक्की—साथ ही बूढ़ा भी, जो यह समझे कि सुरेश, उसका बेटा सुरेश ही है।'
इस वक्त विमल को सिर्फ खुद को बचाने की पड़ी थी।
बोला— "अगर आप मुझे बख्श दें सेठजी तो मैं एक ऐसा राज बता सकता हूं, जो आपको तबाह होने से बचा लेगा।"
"अच्छा!" कुटिल मुस्कराहट के साथ जानकीनाथ ने व्यंग्य-भरे स्वर में कहा— "अब भी कोई ऐसा राज है जो हमें तबाह कर सके?"
"हां सेठजी।" विमल ने बाएं जूते के पंजे से दांए पैर की ऐड़ी जूते से बाहर निकलते हुए कहा— "मुझे इस बात पर हैरत है कि वह राज अभी तक आपको पता क्यों नहीं लगा—क्या आपने कल वे बातें नहीं सुनीं जो आपकी सुईं का शिकार होने के बाद नसीम के कोठे पर आकर विनीता ने हमें बताई थीं?"
"हमें बार-बार छुपकर बातें सुनने की आदत नहीं।"
बिना फीते के दाएं जूते को अपने पैर के पंजे में झुलाते हुए विमल ने पूछा—"इसका मतलब आपने कभी सुरेश और रहटू की बातें भी नहीं सुनीं?"
"र.....रहटू?" जानकीनाथ चौंके।
"हां रहटू।" ये शब्द कहने के साथ ही अच्छी तरह निशाना तानकर विमल ने दाएं पैर से अपना जूता जानकीनाथ के हाथ में दबे रिवॉल्वर पर मारा।
जानकीनाथ हड़बड़ा गए।
जूता चूंकि सही निशाने पर लगा था, अतः रिवॉल्वर उनके हाथ से निकल गया, जानकीनाथ को कोई मौका नहीं देने की गर्ज से जूते के पीछे ही पीछे विमल ने स्वयं भी जम्प लगा दी।
परन्तु—
तब तक रिवॉल्विंग चेयर पर बैठे जानकीनाथ घूम चुके थे।
झोंक में विमल कुर्सी की पुश्तगाह से टकराकर एक चीख के साथ पीछे उलट गया, जबकि जानकीनाथ सीधे फर्श पर पड़े रिवॉल्वर पर झपटे।
रिवॉल्वर हाथ में आया ही था कि विमल ने उन्हें दबोच लिया—विमल का एक हाथ जानकीनाथ की उस कलाई को जकड़े हुए था जिसमें रिवॉल्वर था।
उनमें संघर्ष होने लगा।
पांच मिनट की जद्दो-जहद के बाद जानकीनाथ अपने हाथ में दबे रिवॉल्वर की नाल का रुख कमरे की छत की ओर करने में कामयाब हो गए—उन्होंने यह महसूस किया कि विमल उन पर भारी पड़ रहा है—इस उम्मीद के साथ ट्रिगर दबा दिया कि फायर की आवाज से कोई उनकी मदद के लिए आ सकता है।
परन्तु।
गोली चलने के साथ ही कमरे में विमल के हलक से निकलने वाली चीख गूंज गई। गाढ़े खून के छींटों ने उछलकर उनके चेहरे को रंग दिया।
उनके ऊपर पड़े विमल का जिस्म निर्जीव हो चुका था।
जानकीनाथ बौखलाकर फर्श से उठे। उनके साथ ही विमल का जिस्म भी एक कलाबाजी-सी खाता वापस 'पट्ट' से फर्श पर गिरा।
वह लाश में तब्दील हो चुका था।
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