RE: Hindi Porn Kahani पडोसन की मोहब्बत
इधर होटल में आकर दिव्या भी बाथरूम में घुस गयी थी. जब वो वापस निकली तो उसने एक मोतियों की माला और पेंटी पहनी हुई थी. कमरे में आकर उसने पेंटी भी उतार दी.
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मैंने भी अपने कपडे उतारे और आगे बढ़ कर उसके बूब्स को सहलाने लगा. उसके बूब्स बहुत सॉफ्ट थे. वो आँखे बंद कर के मजे ले रही थी. अब मैंने उसकी दोनों चूचियाँ कसकर पकड़ ली और उनपर अपने होठ रख कर चूसने लगा.
दिव्या भी मेरा पूरा साथ दे रही थी. मैं उसे किस कर रहा था और वो मेरे लंड से खेल रही थी. मैं दिव्या को गले पर किस करने लगा तो वो मदहोश हो जोर से सिसकारियाँ लेने लगी.
मैंने दिव्या से पुछा "कल हम चारो के बीच जो हुआ उससे रेणुका तो मुझसे काफी नाराज़ थी. आप राजेश ने नहीं लड़ी."
दिव्या बोली "जब राजेश ने मुझसे कह दिया की उन्हें मुझे तुम्हारे या किसी और के साथ सोने से कोई दिक्कत नहीं है तो मुझे क्या प्रॉब्लम. और वैसे भी ये २-४ साल और है मस्ती के उसके बाद मुझ बुढ़िया को कौन पूछेगा."
मै दिव्या की चूंची चूसते हुए बोला "अरे आज हमारी शादी की सुहागरात है और आज तुमसे वादा करता हूँ की ५० की हो जाओगी तब भी तुमको ऐसे ही चोदुंगा मेरी जान और तुमसे एक बच्चा भी पैदा करूंगा समझी."
अब मैंने अपने कपडे भी उतार दिए और दिव्या को बेड पर लिटा दिया और खुद उसके ऊपर लेट गया. मैंने उसको उल्टा किया और कमर पर किस करने लगा.
ऐसा करते वक्त मेरा लण्ड उसकी गांड के बीच में रगड़ रहा था. उसको भी बड़ा मजा आ रहा था. थोड़ी देर ऐसे ही रहने के बाद वो बहुत कामुक हो गयी और सिसकारियाँ लेकर बेडशीट नोचने लगी. फिर मैंने उसे सीधा किया और उनके बूब्स को मुंह में ले लिया और जोर से चूसने लगा. वो तड़पने लगी और अहहहह अहहहहह आहहहहहह करने लगी.
उसकी दोनों चूचियाँ चूसने के बाद मैंने उसको सिर से लेकर पाँव तक चूमा. मेरे हर किस पर वो मचल रही थी. फिर मैं उनकी जांघों पर किस करने लगा और धीरे धीरे उसकी बिना बालों वाली चूत की तरफ बढ़ा. ये वही चूत थी जिसकी तमन्ना बहुत दिनों से मेरे दिल में थी और कल ये मुझे पहली बार नसीब हुई थी. पर कल तो हम दोनों नशे में थे आज सारा काम होश में होना है. मैं पागलो की तरह दिव्या की चिकनी चूत चूसने लगा.
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