RE: Ashleel Kahani रंडी खाना
पूर्वी के साथ बैठा हुआ मैं अपने में मगन होकर फॉर्महाउस की तरफ चल दिए थे ,गाड़ी अपनी रफ्तार से चल रही थी..
“पूर्वी वो तेरे भाभी की पेंटी खोलकर नई पेंटी पहनाने वाला है ...मुझे क्या करना चाहिए …”
मेरे सवाल से नही पूर्वी मेरे बात करने के तरीके से चौकी होगी,इतना खुलकर मैंने उससे कभी बात नही की थी
“मार दो उसे जो भाभी पर हाथ डाले”
पूर्वी ने दृढ़ता से कहा
“अच्छा मैं भी तो यही चाहता हु लेकिन….लेकिन तेरी भाभी अपने मर्जी से वँहा गई है उसका क्या करू “
वो भी सोच में पड़ गई थी
“दोनो को ही मार डालो ..”
उसने एक सपाट सा उत्तर दिया..मेरी बहन ..
मैं उसे किस करने के लिए उसके पास गया और उसके गालो में किस कर लिया
“भइया सीधे बैठो ना क्या कर रहे हो “
वो भी हड़बड़ाई
“लेकिन मुझे भी मजा आ रहा था जब वो तेरी भाभी के साथ ये कर रहा था तब क्या करू “
वो सोच में पड़ गई बहुत देर तक वो कुछ भी नही बोल सकी
“बोल ना क्या करू “
मैं अभी भी नशे में था और हिल रहा था
“जो आपकी मर्जी वो करो मुझे मत पूछो “
वो गुस्से में बोली और मैं हँस पड़ा
क्या जिंदगी हो गई है जिन्हें मुझे सम्हालना था वो मुझे सम्हाल रहे थे
फॉर्महाउस आते ही मैं एक लोहे का रॉड अपने कार से निकाल कर रख लिया और बाहर मुझे हरिया मिल गया ..
“ठाकुर आया क्या “
“सर आप बहुत नशे में है प्लीज् अंदर मत जाओ कुछ गलत हो गया तो “
“बे तू चिंता क्यो कर रहा है मैं सब सम्हाल लूंगा कुछ नही होगा ,ठाकुर आया की नही “
“अभी आया है “
“तो हट सामने से “मैं लड़खड़ाता हुआ गार्डन में पहुचा मेरे साथ ही साथ पूर्वी भी चल रही थी मैं रॉड को जमीन में घसीट रहा था जैसे मैं कोई साउथ का हीरो हु...लेकिन मैं क्या करने वाला था ये तो मुझे भी नही पता था ..
मेरी बहन ने कह रखा था की दोनो को मार दो लेकिन मैं अभी भी सीरियस नही था क्योकि मुझे खुद भी होशं नही था की मैंने क्या सुना था और मैं क्या करने जा रहा था …
मैं वँहा पहुचा जंहा मैंने जगह बना रखी थी अंदर देखने के लिए
,पूर्वी मेरे बाजू में खड़ी थी ..असल में मैं खड़ा भी नही हो पा रहा था मैं अब भी लड़खड़ा रहा था
मैं अंदर झांका और खिलखिला उठा
“देख तेरी भाभी क्या कर रही है “
पूर्वी अंदर झांकने लगी
अंदर काजल बिस्तर में लेटी हुई थी और ठाकुर उसके साड़ी से खेल रहा था
“भइया मार दो इन दोनो को “
पूर्वी कांप रही थी ,मैं उसे देखकर उसे फिर से उसके गालो में किस किया
“रुक ना अभी तो शो शुरू हुआ है देखने तो दे की आगे क्या क्या होता है “
पूर्वी शांत हो गई मैं फिर से देखने लगा
वो काजल के कपड़े खोल रहा था मुझे याद आया की मेरे पास हेडफोन है मैंने उसे अंदर लगे है डिवाइस से कनेक्ट किया और एक पूर्वी के कानो में भी डाल दिया ..
डर क्या होता है जैसे मुझे पता ही नही हो मैं बिल्कुल ही निडर हो गया था ये शायद मेरे द्वारा पी गई स्कोच की बोतल का कमाल था …
“आह जल्दी करो ना “
काजल मचल रही थी
“ये साला तेरी साड़ी खुल क्यो नही रही है “
ठाकुर बहुत ही जल्द बाजी में था आज ही उसने थोड़ी देरी की थी और काजल का पूरा मूड ही बदल गया था अब वो देरी नही करना चाहता था
जैसे तैसे वो साड़ी को खोल ही गया
काजल अभी मेरे सामने आधी नंगी लेटी हुई थी उसके बदन में साड़ी नही थी वो ब्लाउज और पेटीकोट में अंदर लेटी हुई थी और ठाकुर पूरा नंगा खड़ा हुआ था उसका बड़ा सा लिंग जो सच में बहुत बड़ा लग रहा था वो पूरे लंबाई में खड़ा हुआ था ..
अचानक ही वो उसके पेटीकोट से खेलने लगा और उसके नाड़े को निकालने की जद्दोजहत करने लगा..
काजल ने अपना सर घुमाया और हमारी ओर देखा जैसे हमे देख रही हो ,मैंने यही सोच कर ये खिड़की चूस की थी क्योकि इसमें जो कांच लगा था उससे दिन में अंदर आराम से देखा जा सकता था लेकिन अंदर से बाहर नही देखा जा सकता था क्योकि अंदर प्रकाश ज्यादा और बाहर प्रकाश कम होता था ,लेकिन काजल हमारी ओर ऐसे देख रही थी जैसे उसे पता था की मैं उसे इस खिड़की से देख रहा हु,वो मुस्कुराई …
ठाकुर अभी भी काजल के पेटीकोट के नाड़े में बिजी था लेकिन काजल ने अपना मोबाइल अपने हाथो में ले लिया और कुछ टाइप करने लगी जो मेरे पास मेसेज बनकर आया
“देखने का मजा ही कुछ और है अब देखो और इन्जॉय करो “
ये मेसेज पूर्वी ने मुझे पड़कर सुनाया था क्योकि मुझे साफ दिख ही नही रहा था
काजल हमारी ओर देखकर फिर से मुस्कुराई
“भइया ये हो क्या रहा है ??भाभी को पता है की आप उन्हें देख रहे है …”
वो बेचारी मेरी छोटी सी गुड़िया बुरी तरह से कन्फ्यूज़ थी
“हा वो मुझसे गुस्सा है और यंहा चली आयी “
“आप पागल हो या वो पागल है ये हो क्या रहा है ….”
“तू देख ना और फिर बताना क्या करू तू जो बोलेगी वही मैं करूँगा दोनो को मार दूंगा या खुद मर जाऊंगा”
मैं उसे सामने कर दिया और खुद उसके पूछे सट ले नजारा देखने लगा
अंदर कामाग्नि में जलाते हुए दो बदन आपस में गुथे जा रहे थे,ठाकुर उसका नाडा खोलने में कामयाब हो गया था और अब देर ना करते हुए काजल के ऊपर खुद गया था ,जैसे मैं भी उस सीन का ही एक हिस्सा बन गया था मैं आंखे गड़ाए हुए उसे देख रहा है जैसे की मैं कोई मूवी देख रहा हु ,मेरे सामने मेरी बहन थी मेरी छोटी बहन जो अब तक शायद कन्फ्यूज़ ही थी की ये हो क्या रहा है ,वो शायद अपने को ही कोश रही होगी की वो क्यो उस समय वँहा गई …
मैं पीछे से उससे चिपका हुआ था और मेरा हाथ खिड़की से लगा हुआ था ,मेरे दोनो हाथो के बीच पूर्वी समाई हुई थी ,उसने एक बार मुझे बुरा सा मुह बनाकर देखा ,मैं मुस्कुराते हुए उसके गालो में किस कर गया ,वो फिर मुह बनाते हुए आगे देखने लगी ,उसे मुझपर बहुत गुस्सा आ रहा होगा लेकिन वो मेरे प्यार के कारण ही मुझसे कुछ कह नही पा रही थी …
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