RE: Rishton Mai Chudai गन्ने की मिठास
मैं मम्मी की गुदा मे अपनी उंगली फसा कर लगभग आधी उंगली उसकी गंद मे फसाए हुए उसकी चूत चूस रहा था,
रति की चूत फूल कर लाल हो चुकी थी और वह पूरी नंगी बहुत ही मस्त नज़र आ रही थी वाकई मे अगर भारी
भरकम बदन और वह भी साँचे मे ढला बिल्कुल कटीला हो तो औरत को सिर्फ़ नंगी देख कर ही मस्ती आ जाती है
बस वही हाल रति को देख कर हम सभी का हो रहा था, मम्मी मेरे मूह से अपनी चूत रगड़ते हुए शायद फिर
से झाड़ चुकी थी इसीलिए अब उससे सीधे खड़ा नही रहा जा रहा था और हरिया भी इस बात को समझ चुका था और
फिर हमे वहाँ काफ़ी वक़्त भी चुका था इसलिए हरिया ने अब मुझे चोदने का इशारा किया और मैं खड़ा हो गया
और मम्मी को अपनी बाँहो मे भर कर उसके रसीले होंठ जिन्हे देख देख कर मेरा रोज पीने का मन होता था,
आज वही रसीले होंठ पीते हुए मैं रति के मोटे मोटे दूध को दुहना शुरू कर दिया और मम्मी मुझसे बुरी
तरह चिपक गई, अब मैं मम्मी के बदन के हर हिस्से को सहलाते हुए उसके मूह मे अपनी जीभ डालने की
कोशिश करने लगा तभी मम्मी ने अपनी जीभ बाहर निकाल ली और मैं उनकी जीभ को अपने मूह मे भर कर
उनका रस चूसने लगा,
मेरी इस हरकत से तो मानो मम्मी पागल हो गई और मेरे लंड को अपने हाथो मे पकड़ कर खुद ही उसे अपनी
चूत की फांको के बीच रगड़ने लगी मेरे लंड का सूपड़ा जब मम्मी के भज्नाशे से रगड़ाती तो हम दोनो को
खूब मज़ा आता और हम दोनो पागलो की तरह एक दूसरे के होंठो और जीभ को चूस्ते हुए एक दूसरे के अंगो को
खूब सहला और दबोच रहे थे, मम्मी तो अपनी चूत मेरे लंड से ऐसे रगड़ रही थी जैसे रंडी खड़ी खड़ी ही
मेरे लंड पर चढ़ जाना चाहती हो, मेरे लंड की मोटाई और लंबाई देख देख कर रति की चूत भी खूब फूल रही
थी,
तभी मैने अपने हाथ को मम्मी की कमर के पिछे लेजाकार उसकी चूत को अपने लंड की ओर दबाया तो एक पल
के लिए सचमुच मेरे लंड का सूपड़ा मम्मी की चूत को खोल कर अंदर घुसने लगा और मम्मी ने भी अपनी
गंद का झटका मेरे लंड की ओर मारा और मेरा लंड मम्मी की चूत मे खड़े खड़े ही थोड़ा सा घुस गया,
रति- धीरे से मेरे कान मई, बेटे अब मुझसे नही रहा जाता है प्लीज़ अपना लंड मेरी चूत मे डाल दे,
राज- मम्मी लेकिन मैं आपका बेटा हू अपना लंड आपकी चूत मे कैसे डाल सकता हू,
रति- आह सीईईईई मैं कुच्छ नही जानती, बस मुझे अब तेरे इस मोटे लंड से अपनी चूत खूब कस कस कर मरानी है और
फिर मम्मी एक दम से नीचे ज़मीन पर बैठ कर लेट जाती है और अपनी जाँघो को खूब फैला कर अपने पेर हवा
मे उपर उठा लेती है, अपनी मम्मी का बड़ा सा फूला हुआ भोसड़ा देख कर मैं और रामू और हरिया अपनी सुध
बुध खो चुके थे, और रति संगमरमर जैसे नंगे और भारी बदन को बेझिझक हमे दिखाती हुई अपनी मोटी
जाँघो को फैला कर अपने हाथो से अपनी चूत और दूध सहलाते हुए मेरे लंड को देखने लगती है,
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