RE: Sex Kahani आंटी और माँ के साथ मस्ती
मुझे मम्मी का सलीम से चुदना अच्छा नही लग रहा था,इसलिए मे निराश होकर कमरे मे चला गया,फिर वहाँ मम्मी आई
मम्मी:अरे बेटा,क्यो निराश हो रहे हो,मे सलीम के साथ नही सोना चाहती ,लेकिन मे चाची के सामने मना नही कर पाई,क्योकि मे भी पहले से ही सलीम से चुदना चाहती थी लेकिन अब तुम आ गये हो मुझे किसी सलीम की ज़रूरत नही
मे:तो फिर मना कर देती,अब तो चाची नही मानने वाली
फिर शाम के वक्त चाची घर पे आई
चाची:तैयार हो
मम्मी:मे सलीम के साथ नही करना चाहती
चाची:क्यो
मम्मी:मुझे अपने बेटे के साथ ही अच्छा लगता है,मे अब दूसरो से नही करना चाहती
चाची:जब लंड की ज़रूरत थी चुदने को तैयार थी,अब लंड मिल गया तो पलट गयी,मेने तेरे बेटे को चोदना सिखाया नही तो वो अब भी अपने कमरे पे लंड पकड़ कर हिला रहा होता,ऑर तुम कहती हो कि मुझे किसी ऑर के साथ नही सोना ,तुमने धोका किया है,तुम जैसी मतलबी औरत मेने कभी नही देखी
मम्मी:अरे नही मे ये नही कहना चाहती थी
चाची:तो क्या कहना चाहती थी
मम्मी: (मम्मी ने कभी अपने काम के लिए दूसरो का फ़ायदा नही उठाया ऑर चाची के तानो से मम्मी ने मजबूरी मे कह दिया)चलो छोड़ो सब बातो को मे तैयार हूँ
फिर हम लोग उनकी कार मे निकल पड़े फार्म हाउस की ओर
सलीम ने आज बहुत तेज गाड़ी चलाई ,हम बहुत जल्द फार्महाउस पे पहुच गये,
|