RE: Bhabhi ki Chudai भाभी का बदला
मैने वैसा ही किया, और लंड को पूरी लंबाई तक अंदर बाहर कर के झटके मारने लगा, लंड का बेस थोड़ा सा टिप छोड़ के उसे पूरा बाहर निकालता और फिर ज़ोर से पूरा अंदर पेल देता, मेरे झटके से उसका पूरा शरीर हिल जाता. चुदाई की फॅक फॅक की आवाज़ अब ज़ोर से होने लगी थी, ये अच्छा था कि घर में हम दोनो अकेले थे.
"किस मी राज," तान्या ने विनती करते हुए कहा.
मैने तान्या के पैरों को घुटने से पकड़ कर अपने कंधे पर से उतारा, और फिर आगे धक्का मार के उनको घुटनों पर से मोड़ दिया, वहाँ तक, कि अब उसके घुटने उसके कानों लो छूने लगे. जब मैं उसको किस लेने के लिए आगे झुका तो हम दोनो मस्ती में कराह उठे, किस करते हुए हम दोनो की जीभ कभी एक मूँह में तो कभी दूसरे के मूँह में एक साथ डॅन्स कर रही थी. मैं तान्या के अंदर इस पोज़ीशन में जल्दी जल्दी झटके मारने लगा. तान्या ने अपनी बाहें मेरी गले में डाल दी, और वो ज़ोर ज़ोर से मस्ती में गजब की आवाज़ें निकालने लगी.
शायद 4-5 मिनिट के बाद तान्या ने मेरे सिर को पकड़ा और कुछ इंच दूर कर दिया. "तुम सही जगह हिट कर रहे हो, राज. ऐसे ही करते रहो, मैं फिर से होने ही वाली हूँ ! इस बार मेरे साथ तुम भी हो जाओ, मैं तुम्हारे लंड से निकली हुई पानी की धार को छूटते हुए, अपने अंदर फील करना चाहती हूँ ! आज मेरी ये इच्छा भी पूरी कर दो, और ज़ोर से चोदो राज!"
"अच्छा आइडिया है,"मैने कहा और अपने प्रयासों में और तेज़ी ले आया. तान्या की साँसें अब उखड़ने लगी थी, वो कुछ देर रुकती और फिर ज़ोर से गहरी साँस लेती. मेरी गोलियाँ अब टट्टों में चढ़ने लगी थी, और मैं आनंद की पराकाष्ठा पर पहुँचने लगा था. मुझे लगा कि बस अब झड़ने ही वाला हूँ तो मैने गुर्राते हुए कहा, "ओह शिट तान्या, मैं बस होने ही वाला हूँ!"
"हो जाओ, राज!"
"बेहनचोद; मैं तुम्हारी चूत में छूटने वाला हूँ!"
"ओह राज ... मैं फिर से हो रही हूँ! चोद दो मुझे! भर दो मेरी चूत को अपने पानी से! ओह माइ गॉड ... ओहफुक्क!" तान्या की साँसें मानो रुक गयी और उसकी चूत लहरों की तरह मचल के मेरे फन्फनाते लंड को जकड़ने लगी. मेरे लंड ने जैसे ही गरम गरम वीर्य की पिचकारी छोड़ी, वो ज़ोर से चिल्ला पड़ी, "चोद दो मुझे!" उसके हाथों ने मेरे हिप्स को ज़ोर से पकड़ लिया, और मुझे अपनी तरफ ज़ोर ज़ोर से खींचने लगी.
हम एक दूसरे में डूब कर अपने अपने पानी को तबीयत से छोड़ते हुए परम सुख का आनंद लेते रहे, ये एक अविश्वसनीय परम सुख था. हर कुछ सेकेंड के बाद मेरे हिप्स हिलते हुए पीछे होते और फिर तान्या की गीली चिकनी चूत पर धक्का मारते हुए, मेरे लंड को जड़ तक अंदर घुसा देते, मेरे ऐसे हर धक्के के साथ लंड से वीर्य की पिचकारी निकल रही थी, हर पिचकारी में वीर्या की मात्रा पिछली पिचकारी से कम होती, तान्या का हर धक्के के साथ ढेर सारा पानी निकल रहा था. और फिर हम दोनो पूरी तरह तृप्त हो चुके थे. मैं जहाँ तक संभव हो वहाँ तक अपने लंड को तान्या की चूत में घुसाते हुए शांत हो गया. तान्या ने मेरी गान्ड को अभी भी टाइट पकड़ रखा था, ये सुनिश्चित करते हुए कि मैं वहाँ वैसे ही, उसी पोज़िशन में बना रहूं.......
जैसे ही तान्या और मैं, अपने होश में आकर नॉर्मल हुए, मैने अपने शरीर का सारा बोझ तान्या के उपर डाल दिया, मानो उसको कुचलने का इरादा हो. कुछ सेकेंड्स के बाद जैसे ही मैं उसके उपर से उठने लगा, तान्या ने मेरी गान्ड को और ज़ोर से पकड़ के, साँस लेते हुए कहा,"नही राज, अभी मत जाओ, ऐसे ही लेटे रहो, मैं तुमको अपने उपर लेकर तुम्हारे लंड को अपनी चूत में और देर तक डालकर रखना चाहती हूँ. कितना मज़ा आ रहा है, आज से पहले मैने कभी अपनी चूत में घुसे हुए लंड का अनुभव नही किया है!"
"सच में?" मैने उसके बालों में छुपे हुए, अपने चेहरे में से तान्या के उपर लेटे लेटे ही कहा.
तान्या ने बस हां में सिर हिलाआ.
राज : "वाउ, मुझे खुशी है, आक्च्युयली तुम्हारे साथ आज पहली बार करके बहुत अच्छा लगा!"
तान्या: "हां, मुझे भी. शुरू में तो बहुत गुस्सा आ रहा था, जब तुम मुझे चोदने के लिए ज़बरदस्ती कर रहे थे, लेकिन अब खुशी है कि हमने ऐसा किया. मैं सोच भी नही सकती कि पहली बार में ही इतना ज़्यादा मज़ा आया!"
राज: "मतलब ..."
तान्या: "सच में राज, आज पहली बार कोई असली लंड मेरी चूत में गया है!"
तान्या ने अपना चेहरा घुमाया और मैने अपना, और हम एक दूसरे से करीब 6 इंच दूर से आँखों में आँखें डाल के देखने लगे. "जैसा कि तुम को मालूम ही है कि तुमने आज मुझे बहुत अच्छा चोदा है! मुझे तुम्हारा लंड बहुत अच्छा लगा, मैने कभी सोचा भी नही था कि मैं तुमसे इस तरह ऐसे गंदी गंदी बातें करूँगी !"
"वाउ तान्या, मुझे खुशी है कि तुम मेरे साथ इस तरह खुल के बातें कर रही हो, ये हम दोनो के लिए अच्छा है. अगर मैने अपना लंड पहले तुमसे चुस्वाया नही होता तो मैं 2 मिनिट में ही झड जाता !"
तान्या: क्या कहते वो तुम लड़के लोग, कलपद.... हाँ वो ही हो जाती
मैं हंसा और बनावटी गुस्से में तान्या की तरफ देखते हुए बोला, "हां, सही कह रही हो! अच्छा हुआ तुमने चूस चूस के मेरा सारा माल निकाल के पहले ही पी लिया ..."
तान्या: "उसका टेस्ट बहुत यम्मी था!"
राज: "थॅंक्स. लेकिन उसी के कारण मैं इतनी देर तक रुक पाया! तुम्हारी चूत को फील करते हुए बहुत अच्छा और टाइट लगता है!" तभी तान्या ने अपनी चूत को मेरे लंड के उपर कस लिया.
तान्या: "चूत को डिल्डो के उपर कसने की प्रॅक्टीस का बहुत फ़ायदा हो रहा है! मैं कई बार डिल्डो को इतना ज़ोर से कस लेती थी कि उसके बाद उसको अंदर बाहर करना भी मुश्किल हो जाता था."
राज: "ओके, उस रब्बर के लंड से कंपॅरिज़न की बातें बहुत हो गयीं, चलो अब नहा लेते हैं. आज मेरे साथ नहाओगी, तान्या?"
हम दोनो अलग होते हुए जब बेड से उतर रहे थे तब तान्या बोली, "आज का दिन मेरा बहुत अच्छा है, दूसरी बार कोई अच्छा ऑफर मिला है!"
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