RE: Desi Sex Kahani अनदेखे जीवन का सफ़र
वीर आगे . नहिना के उपर आ जाता है और उसके गोरे गोरे . को चूसने लगता है ...वो नहिना के लेफ्ट बूब्स को मसल्ने लगता है और राइट वाले बूब्स के निपल को अपने मूह मे भर कर चूसने लगता है.. वीर हल्के से निपल को काटने भी लगता है.. ...जिस से नहिना की सिसकियाँ निकलने लगती है.... उसके अंदर एक अजीब सा तूफान आगया था ..
नहिना ( मदहोशी से ) भाई जबसे तुम्हे देखा है पागल हो गयी हूँ..आज तक किसी लड़के से इतना आकर्षित नही हुई जितना तुमने कर दिया ..क्या है तुम मे ऐसा जो मैं पागल हो जाती हूँ .. दीवानी सी हो गई हूँ ...
आज मुझे अपने आप मे समा लो... ढेर सारा प्यार करो मुझे भाई ....
वीर भी बूब्स चुसता चुसता नीचे की तरफ बढ़ ने लगता है..
वीर एक बार नहिना की तरफ देखता है....नहिना वीर का इशारा समझ जाती है और वो अपना जींस अंडरवेर समेत निकाल देती है .
वीर के सामने अब नहिना की गोरी गुलाबी चूत आजाती है ...वहाँ एक भी बाल नही था और चूत के दोनो लिप्स आपस मे जुड़े हुए थे...
वीर - बिना देरी किए हुए डायरेक्ट चूत पर टूट पड़ता है और चूसने लगता है
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दोनो को फुल टू मज़ा आ रहा था..
नहिना का ये सब पहला अनुभव था वो भी अपने भाई के साथ जिससे वो कुछ दिन पहले ही मिली थी.. वो तो एक अलग ही दुनिया में खो गई थी और इस पल को फील कर रही थी ...
वीर उसकी चूत को चूस्ते चूस्ते उसके बूब्स भी मसल्ने लगता है जिससे नहिना बर्दाश्त नही कर पाती और भाइईईई बोल के झड़ने लगती है ...
नहिना वहीं बर्फ पर लेटे अपने झड़ने का मज़ा लेने लगती है... क्या मज़ा था.. एक तो प्यार की वजह से उसके अंदर आग भड़क रही थी और नीचे बरफ... दोनो ही नहिना को मदहोश किए जा रहे थे ...
वीर अपने आपको मॅजिक से ठीक करलेता है और नहिना को भी जल्दी से अपनेआप को सवारने को बोलता है ..उसको आए हुए काफ़ी टाइम बीत चुका था और कोई भी आ सकता था ...
वीर अपनी आँख बंद करके वो कवच भी गायब कर देता है..
नहिना वीर के लिप्स पे एक किस करती है और फिर दोनो कुछ पिक्स अलग अलग पॉज़ मे क्लिक करते हैं ...और वापस सबके पास चलने लगते हैं..
नहिना..थॅंक्स भाई..मुझे जिंदगी का पहला मज़ा देने के लिए ...
वीर बस उसको एक प्यारी सी स्माइल देता है
दोनो वहाँ से सबके पास आ जाते है..
बिस्वा - भाई शाम होने वाली है.हमे हेल्ली पॅड के पास चलना चाहिए..
वीर..ह्म बस गाड़ी आती ही होगी.
तभी वहाँ एक गाड़ी आती है..जिस मे से एक फ़ौजी उतरता है..
फ़ौजी...सर चलिए आपका हेल्लीकॉपटर आ गया है..
वीर...अरे सर आपको आने की क्या ज़रूरत थी..किसी ऑर को भेज दिया होता..
फ़ौजी..सर आपके लिए उपर से फ़ोन आया है कि आपकी ख़ास खातिर दारी की जाए ..
चलिए...
फिर सभी निकलते है..
हेल्लीपॅड को देख सब खुश हो जाते है..बहुत शानदार हेल्ली पॅड था....
सब हेलिकॉप्टर मे बैठ जाते है लद्दाख के लिए ...
हेल्लिकॉप्टेर आसमान मे उड़ चुका था ऑर अपनी मंज़िल के लिए निकल पड़ता है..
सभी लड़किया खिड़की के ज़रिए बाहर देख खुश हुए जा रही थी.....
वही दूसरी और जो पीसाच वीर को मारने आए थे वो वीर को देख लेते हैं और हेलिकॉप्टर के साथ साथ अपनेआप को गायब कर के साथ उड़ने लगते हैं .. उन्होने अपना सारा प्लॅनिंग कर लिया था हमला करने का..
इधर..अभी सभी अपनी मंज़िल के करीब पहुँचे ही वाले थे कि हेलिकॉप्टर मे वॉर्निंग का हूटरर्स बजने लगता है और उसका बॅलेन्स बिगड़ने लगता है ..
हेलिकॉप्टर तेज़ी से हिलने लगता है और नीचे की तरफ गिरने लगता है ..किसी को कुछ समझ नही आता कि अचानक से क्या गड़बड़ी हो गई है ...पाइलट बहुत कोशिस कर रहे थे पर वो संभाल नही पा रहे थे...
वीर जब ये देखता है कि हेलिकॉप्टर क्रॅश होने वाला है तो वो तुरंत अपनी आँखे बंद कर लेता है ..और जब उसकी आइज़ ओपन होती है तो उसकी आइज़ ब्लू हो जाती है..
वो एक प्रोटेक्टिव शील्ड बना लेता है जिसके अंदर सारी गर्ल्स और पाइलट वग़ैरह को कवर लेता है ...
थोड़ी देर मे ही हेलिकॉप्टर तेज़ी से ज़मीन से टकराता है और ब्लास्ट हो जाता है ..उसमे तेज़ी से आग लग जाती है ...
चारो तरफ बस आग और हेलिकॉप्टर का मलबा पड़ा हुआ था
बट वीर के शील्ड की वजह से सब ज़मीन पे टकराने से पहले ही सब ज़मीन से कुछ उपर थे और फिर सब ज़मीन पे आजाते है...किसी को मेजर चोट तो नही लगती पर सब बुरी तरह डर चुके थे .. हल्की फुल्की चोट ज़रूर आ गई थी ..
वीर. सभी से आप सब ठीक तो है ना..
प्रीत..हाँ हम ठीक है ..
संजू - भाई मैं भी ठीक हूँ ..
फिर सभी लड़किया और पाइलट जो कि शॉक्ड थे कि कैसे वो और बाकी सब बच गए .. उनके लिए ये सब चमत्कार ही था..
वीर..बिस्वा चलो मेरे साथ..देखते है अगर कोई मदद मिल जाए....
वीर वहाँ से बिस्वा के साथ निकल जाता है....
पीछे बाकी सब अभी भी शील्ड मे ही थे और आशीष भी था सो वीर मदद लेने के लिए आस पास निकल जाता है..
वीर और बिस्वा बाकी सब से काफ़ी दूर आ गये
तभी वहाँ कुछ आदमी आते है..ऑर आ कर ही दोनो पर हमला कर देते है..
वीर अपने बचाव के लिए भी उनपर हमला कर देता है
.वीर उन्हे बहुत मारता है.पर उन पर इस से कोई फ़र्क नही पड़ रहा था...वीर को समझ आजाता है कि ये कोई आम इंसान नही है ..
तभी वीर...अपने हाथ मे तलवार लाता है..ऑर शुरू होती है फाइट..
वीर जैसे ही उनपर वॉर करने ही वाला था कि तभी एक साथ 4 पिशाच वीर पर हमला कर्देते है...जिस से वीर दूर जा गिरता है..ऑर उसके ब्लड भी निकलने लगता है..
उधर प्रीत ऑर संजू नहिना प्रिया का दिल बड़ा बेचैन हो रहा था..
इधर..बिस्वा भी अपने असली रूप मे आ कर उनपर हमला शुरू कर देता है..
वीर ..तुम लोगो ने मुझे गुस्सा दिला कर अच्छा नही किया..पहले तो मैं तुम लोगो के साथ सिरफ़ खेल रहा था...लेकिन अब नही..
वीर भी खड़ा होता है.ऑर बिजली की तेज़ी से पिशाच के पास पहुँच उन्हे पंच मारता है..
पंच बहुत जबरदस्त था जिस से पिशाच के सर के छितरे उड़ जाते है...
जो भी वीर के नज़दीक आता तो वीर सबका सर धड़ से अलग कर देता ...
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