RE: Desi Sex Kahani अनदेखे जीवन का सफ़र
बिस्वा की नज़र जैसे ही उस लड़की पर गयी तो बिस्वा वहीं खो गया..
तभी नहिना बिस्वा को हिलाती है..
नहिना..बिस्वा चलो .कहाँ खो गये..
बिस्वा. उस लड़की की तरफ देख जो बिस्वा को ही देख रही थी.
बिस्वा..हाई मैं बिस्वा
लड़की..हाई मैं परी
दोनो एक दूसरे की आँखो मे देख रहे थे..दोनो मे से कोई भी एक दूसरे का हाथ नही छोड़ रहे थे.
नहिना सब समझ जाती है..
नहिना...ओह लैला मजनू अब चले..
नहिना के बोलने से परी शर्मा जाती है.ऑर बिस्वा के फेस पर स्माइल आ जाती है...
फिर तीनो निकलते है घर की ओर..
इतना बड़ा बंगला देख परी हैरान होती है..
परी..नहिना ये बंगला किसका है..
नहिना..मेरे वीर भाई का...तुझे बताया था ना हमारा एक भाई बिछड़ गया था..ये वोही है अब बहुत बड़ा आदमी बन गया है..
सभी गाड़ी से उतर अंदर जाते है..
अंदर बहुत चहल पहल थी..
मासी.आ मेरी बच्ची कोई तकलीफ़ तो नही हुई तुझे..
पारी मासी को गले मिलती है .
पारी नही माई जी मैं ठीक हूँ कोई परेशानी नही हुई.
पर यहाँ इतने लोग
मासी..मेरे बेटे की एंगेज्मेंट है..
परी..यहाँ तक मैं जानती हूँ आपका कोई बेटा नही..
मासी..हाँ वो मेरी बेहन का बेटा है वीर..
चल तुझे उस से मिल्वाति हूँ..
मासी वीर
वीर..जी मासी आपने बुलाया..
मासी..बेटा एस से मिलो ये है परी...
वीर...हाई परी मैं वीर..
परी.हाई वीर मैं परी..बहुत खुशी हुई आपसे मिलकर ..
वीर. मुझे भी..चलिए आप थक गयी होंगी...नहिना इन्हे अपने रूम मे ले जाओ..
फिर वीर बिस्वा के पास जाता है.
वीर..हाँ भाई कैसी लगी..
बिस्वा वीर की बात पर शर्मा जाता है..
बिस्वा...भाई बहुत अच्छी है.पहली नज़र मे ही प्यार कर बैठा..
वीर..डोंट वरी मैं हूँ ना..टेन्स ना हो..
बिस्वा..भाई आप के होते कोई टेंसन नही..
फिर वीर वहाँ से वहाँ से अपने रूम मे आ जाता है यहाँ प्रीत संजू ओर वहाँ उनकी कुछ फ्रेंड्स बैठी थी..
वीर को देख लड़किया जाने लगी तो
वीर..अरे कहाँ चली बैठिए..मेरे से शरमाने की ज़रूरत नही समझे.आराम से बैठ जाइए...
वीर की बात सुन सभी लड़किया वहीं बैठ जाती है .
वीर..प्रीत मैं लगा सोने
संजू..क्या हुआ जान आपकी तबीयत तो ठीक है ना..
वीर..हाँ बस सर दर्द कर रहा है
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