RE: Hindi Chudai Kahaniya पड़ोसी किरायेदार की ख्...
मेरा भी ऑफिस में मन नहीं लग रहा था। मैंने भी हां कर दी, उसके पास कार थी हम लोग उसकी कार में चल दिए। हम लोग शहर से दूर निकल आये। वहां एक छोटा सा रेस्टॉरेंट था, हम लोग उसी रेस्टोरेंट में रुके।
खाना खाने के साथ ही मैने उसे अपने और चारु के बारे में बता दिया। खाना खाने के बाद जब मैंने चलने को कहा तो वो बोली।
सीमा- अभी रुकिये...चलते हैं कुछ देर में।
हम वहीं बैठकर बातें करने लगे। तो उसने अपने बारे में बताया। वो एक गरीब से परिवार की लड़की थी। बाप ने उसकी मा को छोड़कर दूसरी शादी कर ली थी, क्योंकि उसकी माँ ने 3 बेटियों को जन्म दिया था।
उसकी 2 बहनें हैं जो दिल्ली में हैं उसकी माँ के पास, वो वहीं पढ़ाई करती हैं। ये यहां से पैसे भेजती रहती है।
मैं बोला- तुम यहां तक कैसे पहुंच गयीं। और तुम्हारे घर वालों को इस बारे में पता है।
वो बोली- मेरे बारे में तुमने भी ऑफिस में जो सुना है, सब झूठ है मेरा किसीसे कोई संबंध नहीं है। हाँ बस बॉस के साथ है जोकि मेरी मजबूरी थी। और अब मेरी जरूरत है, मैं किसी और से सम्बन्ध बनाना नहीं चाहती। लेकिन अब जिस्म की जरूरत को भी पूरा करना है।
मैं कुछ बोल न सका। वो बाहर की तरफ देख रही थी, उसके चेहरे पर उसका दर्द झलक रहा था। तभी बारिश शुरू हो गयी।
मुम्बई और पूना में ज्यादा अंतर नहीं है। इसी वजह से मुम्बई की तरह ही यहां भी कभी कभी बेमौसम बरसात हो ही जाती है।
वो बाहर बारिश में आकर भीगने लगी। ऐसा लग रहा था जैसे बहुत खुश हो। जब अपने मन की कोई बात किसी को बता दो तो ऐसा ही लगता है, क्योंकि मैं भी ये महसूस कर रहा था।
थोड़ी देर बाद हम चल दिए। बारिश अभी भी पड़ रही थी। बारिश में भीगने की वजह से उसे जुकाम हो गया था। गाड़ी में चला रहा था। हमें वहां रुकने की वजह से शाम हो गयी थी। और बारिश की वजह से शहर में घुसते घुसते और भी देर हो गयी। उसने बॉस को फोन कर दिया। अब हम घर की और चल दिए।
जाम बहुत ज्यादा लगा हुआ था। धीरे धीरे हम आगे बढ़ रहे थे, कि एक चौराहे पर पुलिस चेकपोस्ट लगा था। जिधर हम जा रहे थे वो उधर ही था। वो लोग सभी गाड़ियों को वापस लौटा रहे थे। किसी और रास्ते से जाने के लिए।
मैं वहां पहुँचा तो एक हवलदार ने बताया की आगे रोड पर तीन पेड़ टूटकर गिर गए हैं, और उनके साथ ही बिजली के तार भी टूट कर पड़े हैं। इसीलिए आप किसी और रोड से होकर चले जाइए।
मैंने गाड़ी अपने घर की और मौड़ दी। भीगने की वजह से सीमा की हालत खराब हो गयी थी। और इतनी देर से वो उन्ही भीगे कपड़ों में बैठी थी तो उसे ठंड भी लग रही थी। मैंने गाड़ी अपने घर लेजाकर रोक दी, और उसे अंदर चलने को कहा।
सीमा बोली- अरे नहीं मैं...चली जाऊँगी।
मैं बोला- ढंग से बोल भी तो नहीं पा रही हो। थोड़ी देर ही रुक लो। कपड़े बदलकर कॉफी पीकर चली जाना। वो मेरे साथ अंदर आ गयी। मैंने उसे अपनी एक शर्ट दे दी। वो अंदर बाथरूम में गयी। और शर्ट पहनकर बाहर आ गयी।
जब वो बाथरूम से बाहर आई, मैंने उसकी तरफ देखा वो बहुत हसीन लग रही थी।
फिगर तो उसका कातिल था ही वो अब और भी हसीन लग रही थी। वो आकर मेरे पास ही बैठ गयी। शर्ट उसके जांघो तक थी। बैठने की वजह से वो और ऊपर हो गयी। अंदर उसने कुछ नहीं पहना था।
मैंने उसे कोफ़ी दी। कोफ़ी लेकर वो पीने लगी, मेरा ध्यान बार बार उसकी चिकनी जांघो पर जा रहा था। जिसका शायद उसे भी अंदाजा हो गया। वो मुस्कुरा रही थी।
मैं झेंप गया। वो कुछ देर ऐसे ही बैठी रही। फिर मुझसे बोली। क्या सच में आपने मुझसे जो भी कहा वो सच था।
मैं बोला- किस बारे में।
वो बोली- चारु के बारे में।
मैं बोला- हां...ये बिल्कुल सच था।
फिर वो मेरे पास सरक आई, और बोली आज रात के लिए मैं ही आपकी चारु हूँ। इतना इशारा काफी था, मेरे लिए। मैंने उसे गोद मैं उठाया और बेडरूम में ले गया।
बिस्तर पर लिटाकर उसने उसे किस करना शुरू कर दिया।
वो दोनो एक दूसरे को किस करने में डूबे हुए थे। राहुल को तो सामने बस चारु ही नज़र आ रही थी। वो उसे किस करते करते नीचे पहुंचने लगा। उसने सीमा की शर्ट के बटन खोल दिए। उसके दोनों निप्पल बाहर आ गए।
वो उन्हें चूसने लगा। एक निप्पल को वो चूस रहा था और दूसरे को हाथों से मरोड़ रहा था। फिर दोनों का स्थान बदल दिया। अब दूसरे को वो चुसने लगा। सीमा एक दम मस्त हो गयी थी।
राहुल ने शर्ट को उतार दिया। अब वो अपने कपड़े उतारने लगा। तो सीमा ने उसकी शर्ट ही फाड़ डाली, उससे अब बर्दास्त नहीं हो रहा था। उसने उसका पैंट खोला और टूट पड़ी।
5 मिनट तक वो उसका लण्ड चूसती रही। उसके बाद राहुल ने उसे उठाकर 69 की पोजीशन में ले लिया। अब दोनों एक दूसरे को चूस रहे थे। 10 मिनट के बाद राहुल झड़ा और सीमा भी।
दोनों बेड पर लेट कर हांफने लगे। कुछ देर बाद फिर से राहुल ने सीमा को पकड़ा और उसकी टांगो के बीच पहुंच गया। फिर एक उंगली उसकी चूत में घुसा दी। थोड़ी देर तक वो उसकी मालिश करता रहा। उसने एक और उंगली अंदर डाल दी।
थोड़ी देर बाद उसने उंगली निकाल ली और उसे फिर से किस करने लगा।
अब उसका लण्ड उसकी चूत पर रगड़ रहा था। सीमा ने उसे अपने हाथ से पकड़ कर चूत पर सेट किया। राहुल ने देर ना करते हुए, उसे अंदर डालना चालू किया।
सीमा ने राहुल का एक हाथ अपने मुँह मे दबा लिया। धीरे धीरे लण्ड अंदर जाने लगा। कुछ देर तक राहुल हल्के धक्के लगाता रहा फिर सीमा भी कमर उठाकर रेसपोंस देने लगी। उसने अपने धक्को की स्पीड बढ़ा दी।
आह उह सीसी सी की आवाज़ें गूंज रहीं थी। फच फच की आवाज से जैसे कमरे में कोई गाना चला दिया हो। सीमा मस्ती में डूबी यस यस चिल्ला रही थी। दोनो युवा चुदाई की इस लीला में ऐसे डूबे थे, कि जहां की कोई खबर नहीं थी।
चर्मसीमा पर पहुंचने के बाद सीमा ने राहुल को कस कर जकड़ लिया। उसकी योनि में एक कसावट आ गयी। और एक झटके के साथ वो झड़ गयी। चूत की गर्मी बढ़ गयी, जिससे राहुल भी तुरंत झड़ गया।
दोनों बिस्तर पर एक दूसरे से लिपटे पड़े थे। तभी राहुल बोला।
राहुल- चारु...आज तो मज़ा आ गया।
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