RE: antervasna फैमिली में मोहब्बत और सेक्स
[b][b]कुशल बाहर जाना चाहता तो नही है लेकिन अपने डॅडी के सामने उसे बाहर आना पड़ जाता है. कुशल के बाहर आते ही प्रीति अपना गेट बंद कर लेती है.
पंकज स्टेर्स की तरफ बढ़ता है, उसका चेहरा आराधना के रूम के की ओर है. आराधना भी फाइनल सोने की तैयारी कर रही थी, इसलिए नाइट गाउन पहन चुकी थी. हालाँकि नाइट गाउन पूरी बॉडी का था लेकिन मेटीरियल बहुत ही थिन था, पंकज स्टेर्स की तरफ बढ़ रहा है और आराधना अपने रूम के गेट पर खड़ी है उसे बंद करने के लिए लेकिन अपने डॅडी को जाते हुए देख कर रुक जाती है. दोनो की नज़रे मिली हुई है, पंकज की निगाहे उपर से नीचे तक जाती है, आराधना अपनी जगह से हील नही रही है और कंटिन्यू स्माइल किए जा रही है. धीरे धीरे पंकज स्टेर्स पर पहुँच जाता है और नीचे चला जाता है. आराधना भी अपना गेट बंद कर लेती है. वो बिस्तर पर लेट जाती है लेकिन उसे नींद नही आ रही है. वो अपना टीवी ऑन करती है, काफ़ी चॅनेल चेंज करती है लेकिन फिर एक जगह रोक देती है क्यूंकी मूवी अमिताभ बच्चन की है जो कि उसका फेवोवरिट आक्टर है. लेकिन मिड नाइट मूवी "निशब्द " आ रही थी.
वो मूवी मे खोई हुई है तभी उसके मोबाइल की बेल बजती है. वो एक दम चोंक जाती है, जैसे किसी सपने से जागी हो. मन मे सोचती है कि इतनी रात को किसका फोन हो सकता है. मोबाइल उठाती है और देखती है कि फोन सिमरन का है. वो फोन पिक करती है.
आराधना-" हाई सिमरन, इतनी रात को क्यू परेशान कर रही है"
सिमरन -" मेरी जान मुझे यकीन था कि तू जाग रही होगी. और क्या कर रही है?"
आराधना -" कुच्छ नही यार मूवी देख रही हू"
सिमरन -" कौन सी मूवी चल रही है इतनी रात मे. पॉर्न है क्या"
आराधना -" अपने जैसा समझ रखा है क्या, मे अमिताभ जी की मूवी निशब्द देख रही हू".
सिमरन -" ओई मेरी जान क्या मूवी है, इतनी रात को ये मूवी कैसे पसंद आ गयी तुझे. अमित जी के चुम्मे वाली"
आराधना -" मुझे नही पता इसमे क्या है क्यूंकी मेने तो अभी शुरू की है. तू बता कि क्या बात है, फोन क्यू किया है".
सिमरन -" मेरी जान तो कल का प्रोग्राम पक्का है ना तुम्हारी शॉपिंग का. मे अपने बॉय फ्रेंड से प्रॉमिस कर चुकी हू".
आराधना -" क्यूँ इतना उतावली हो रही बॉय फ्रेंड से मिलने के लिए. वैसे हम सब कल जा रहे है और तू आ सकती है"
सिमरन -" लव्ली, थॅंक यू सो मच आरू. यू आर माइ बेस्ट फ्रेंड. चल कीप डूयिंग मास्टरबेशन, हे हे हे हे. बाइ"
आराधना -" क्या कहा तूने अभी"
सिमरन -" मेने कहा बाइ"
आराधना -" नही उससे पहले"
सिमरन -" उससे पहले मेने क्या कहा"
आराधना -" तूने कुछ मास्टरबेशन के लिए कहा ना"
सिमरन -" ओह्ह्ह मास्टरबेशन, कर ले अगर दिल है तो. वैसे भी अमित जी की सेक्सी मूवी चल रही है".
आराधना -"मे ऐसी लड़की नही हू, समझी".
सिमरन -" कैसी लड़की नही है? यार कभी तो ट्रॅक पर रहा कर. मे करती हू मास्टरबेशन और डेली करती हू. तो क्या इससे मे खराब लड़की हो गयी. सब करते है, तू नही करती इसीलिए गुस्से मे रहती है. अपनी इस बॉडी पे रहम कर, मास्टरबेशन एक नॅचुरल चीज़ है जो तेरी मा और मेरी मा ने भी किया होगा" सिमरन ने आज थोड़ा स्ट्रिक्ट होते हुए कहा
आराधना -" देख तू मा बाप तक ना पहुँचा कर".
सिमरन -" मे तो बस मा तक पहुँची थी, बाप के मास्टरबेशन के बारे मे क्या पता". सिमरन ने हंसते हुए कहा
आराधना -" सिमरन, ऐसी बाते करते हुए तुझे शरम नही आती. "
सिमरन -" यार क्यू अपना ब्लड प्रेशर बढ़ा रही है, मस्त रहा कर. और फिर कह रही यही कि अपनी बॉडी पे रहम कर, इसे और कुच्छ तो नसीब नही होने देगी तू कम से कम एक बात मास्टरबेट कर लिया कर. चल अब रखती हू, बाइ"
आराधना -" बाइ" और फोन कट जाता है.
आराधना के कानो मे सिमरन का एक एक शब्द गूँज रहा था. वो आज तक अंजान थी कि ये मास्टरबेशन फील क्या चीज़ होती है. ये बात उसके दिमाग़ पे हावी होती जा रही थी, इतने मे अमिताभ का किस्सिंग सीन आ जाता है. एक जवान लड़की अपने फादर के उमर के आदमी को यूँ लीप किस करते हुए देख कर आराधना का अंग अंग भड़क जाता है.
उसका चेहरा लाल पड़ जाता है और बॉडी मे जैसे ब्लड बहुत तेज स्पीड से दौड़ने लगता है. वो नही समझ पा रही थी कि आख़िर ये क्या हो रहा है.
उसका आँखे बंद हो जाती है और हाथ धीरे धीरे नीचे की तरफ जाने लगता है. उसने अपनी चूत को कभी किसी और तरीके से टच नही किया था. बहुत धीरे धीरे वो अपने नाइट गाउन को उपर करती है. उसके दिमाग़ मे लाखो सवाल चल रहे थे कि क्या ये सही है. लेकिन फिर उसके माइंड मे सिमरन के शब्द भी गूंजते है कि हर कोई करता है और हर लड़की करती है. वो दुविधा मे थी लेकिन अब रोका नही जा सकता था क्यूंकी उसकी बॉडी उसके कंट्रोल से बाहर हो रही थी.
नाइट गाउन को उपर करके वो अपने दोनो हाथ अपनी पैंटी पे ले जाती है. और दोनो हाथो से नीचे करने लगती है, उसे ऐसा फील हो रहा है जैसे कोई लड़का नीचे कर रहा हो उसकी पैंटी. वो एग्ज़ाइटेड भी है और उसे शरम भी आ रही है. धीरे धीरे अपने सीधे हाथ को वो अपनी पुसी पे ले जाती है और पहले टच मे ही. "आहह...... उसकी आँखे बंद हो चुकी थी और वो अब जैसे धरती पे नही थी. अपनी गोरी गोरी एक फिंगर को अपनी पुसी मे थोड़ा सा अंदर घुसाती है. "ओह......." वो ऐसे इमॅजिन कर रही है जैसे ये फिंगर उसकी नही बल्कि किसी मर्द की हो. उसकी फिंगर जैसे ही अपनी पुसी मे जाती है, पुसी लिक्विड से भीग जाती है. आज आराधना के अंदर का बीस्ट जाग रहा था, वो अपनी फिंगर को अपनी पुसी से हटाती है और अपने मूँह के पास ले जाकर उस फिंगर को चूसने लगती है. वो एक इमॅजिनरी वर्ल्ड मे थी जहाँ वो फील कर रही थी कि उसकी चूत मे कोई फिंगर डाल कर उसे खुद चूस रहा हो. उसकी बॉडी की ऐसी हालत हो रही थी जैसे जल बिन मछ्ली. चूत से पानी बहने लगा था. उसको जैसे बहुत गर्मी लगने लगी थी और बदन पसीने मे भीगने लगा था. वो फिर से अपना हाथ नीचे ले जाती है, और फिंगर से एक फिंगर अंदर आंड ज़्यादा अंदर " फक......... मी.......," आराधना के होंठो से खुद ब खुद निकल गया, वो आज जैसा फील कर रही थी वैसे कभी नही किया. उसको खुद यकीन नही हो रहा था कि उसके मूँह से आज ऐसे एरॉटिक शब्द निकल रहे है. उसने अपनी फिंगर की स्पीड बढ़ा दी थी, उसका मूँह आसमान की तरफ खुल चुका था और बाल बिस्तर मे फेल गये थे. आराधना की धीमी धीमी सिसकारियो से रूम गूँज रहा था " ओह, आआअहह, नो........." फिंगर अंदर बाहर और अंदर बाहर. अब आराधना का उल्टा हाथ ऑटोमॅटिकली अपने बूब्स पे पहुँच जाता है. दूसरी तरफ फिंगर अपनी फुल स्पीड पे थी, आराधना अपने बूब्स को पागलो की तरह प्रेस करने लगती है. उसके इमॅजिनरी वर्ल्ड मे कोई मर्द है जो उसके साथ खेल रहा है. " ऐसे ही...., प्यार करो मुझे...... आराधना के मूँह से खुद ही शब्द निकल रहे थे. उसकी बंद आँखो की इमॅजिनेशन से वो और ज़्यादा एग्ज़ाइटेड होती जा रही थी. फिंगर अंदर और ज़्यादा अंदर होती जा रही थी, तभी वो अपनी दूसरी फिंगर भी ट्राइ करती है. " औचह.........." उसे पेन हुआ और वो जैसे मन ही मन कहती है कि प्लीज़ आराम से, एक प्योर् सील पॅक चूत की मालकिन थी वो. अब वो एक ही फिंगर से लगी हुई थी, उसकी उत्तेजना फुल पीक पे थी. वो मर्द उसकी बॉडी को बुरी तरह रोंदे जा रहा था, उसकी इमॅजिनरी दुनिया उसको और एग्ज़ाइटेड कर रही थी. उसको खुद भी पता था कि उसके साथ कौन है उसकी ख्यालो की दुनिया मे. " आहह........ ओह.......... और उसकी बॉडी बुरी तरह अकड़ जाती है , पहली बार आराधना को अपने एंडिंग पॉइंट का अहसास हुआ था. जैसे ही उसका एंडिंग पॉइंट हुआ , उसको वो चेहरा दिखाई दे गया जो सपनो की दुनिया मे उसकी चुदाई कर रहा था और जो उसे इतना एग्ज़ाइटेड कर रहा था. वो चेहरा देखते ही उसकी आँखे एक दम खुल जाती है और हड़बड़ा कर वो अपनी नाइटी नीचे करती है और स्लोली स्लोली अपनी पैंटी उपर करती है.... आख़िर ये किसका चेहरा था....
दोस्तो आप लोग ही सोचो आराधना किसके ख्यालो मे मस्त हो रही थी[/b][/b]
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