RE: Incest Sex Kahani घर के रसीले आम
गतान्क से आगे..................
कमला- हरिया ला ज़रा टार्च जला कर दिखा बेटा अंधेरे मे रोटिया जल रही है
हरिया- अच्छा मम्मी अभी लाया और फिर हरिया ने अपनी मम्मी के सामने बैठ कर टार्च मारना शुरू की और कमला रोटिया सेकने लगी, तभी हरिया की टार्च की टार्च की रोशनी सीधी कमला की जाँघो की जड़ो तक चली गई और उपर से कमला ने जैसे ही माथे का पसीना पोछने के लिए पेटिकोट उपर उठाया, हरिया की आँखे फटी की फटी ही रह गई,
कमला का बिना बालो वाला उठा हुआ भोसड़ा पूरा उसके बेटे के सामने आ गया और हरिया आँखे फाडे-फाडे अपनी मम्मी की रसीली फूली हुई चूत को देखने लगा, जब कमला रोटिया सेंकती तब हरिया टार्च उपर कर देता और जब वह बेलने लगती तब हरिया टार्च की रोशना सीधे अपनी मम्मी की चूत पर मार देता लेकिन तभी कमला की नज़र हरिया के लूँगी के नीचे चली गई जहा से हरिया की लूँगी के थोड़ा साइड से हरिया का मोटा लंड पूरी तरह तना हुआ था और हरिया के उकड़ू बैठने की वजह से उसका लंड बहुत विकराल और मोटा नज़र आ रहा था,
कमला ने जब अपने बेटे का तना हुआ लंड देखा तो उसे समझते देर नही लगी की हरिया टार्च की रोशनी उसकी चूत पर मार रहा है, कमला की चूत मे भी अपने बेटे की हरकत से पानी आ गया और उसने अपनी जाँघो को थोड़ा और इस तरह खोल दिया कि हरिया आसानी से अपनी मम्मी की चूत को देख सके,
हरिया अपनी मम्मी की चूत को देखता हुआ बीच-बीच मे नज़रे बचा कर अपने लंड की खाल को बार-बार पीछे करने की कोशिश करता और वह जब ऐसा करता तो उसका बड़ा सा सूपड़ा पूरे ताव मे आ जाता जैसे अभी अपनी मम्मी की चिकनी चूत मे घुस जाना चाहता हो, करीब 20 मिनिट तक हरिया अपनी मम्मी की फूली हुई चूत को घूरता रहा, उसके बाद हरिया अपने बापू का खाना लेकर खेतो पर चला जाता है,
हरिया के जाने के बाद कमला बाहर बैठ कर सुस्ता रही थी तभी दूसरी और से चंदा आ जाती है,
चंदा-क्यो मालकिन काम ख़तम करके बैठी हो क्या
कमला- हा रे अभी सब निपटाया है, तू बता आज बड़ी खुस दिख रही है कुछ मिल गया है क्या
चंदा- कमला के पैरो के पास बैठ कर उसकी टाँगो की गोरी पिंडलियो मे हाथ फेरते हुए, मुस्कुरकर अब क्या बताऊ मालकिन आज जबसे वह काला नाग देखा है कही मन ही नही लग रहा है
कमला- हैरान होते हुए कौन सा कला नाग
चंदा- मुस्कुरकर, अरे मालकिन वही जो आपके बेटे के पास है
कमला- उसकी बात का मतलब समझते हुए, चुप कर बेशरम, तुझे शर्म नही आती तेरे बेटे की उमर का है वह
चंदा- अरे मालकिन मेरे लिए तो वह बेटे जैसे है पर आपका तो अपना बेटा है, पर जब आप उसका मोटा डंडा देख लोगि तो अपने बेटे का लंड चूसे बिना नही रह सकोगी, इतना मस्त लंड है उसका
कमला- बंद कर अपनी बकवास और कोई दूसरी बात कर
चंदा- अच्छा मालकिन हरिया भी जानता तो होगा कि उसकी मम्मी की गदराई जवानी सारे गाँव की मर्दो को पागल किए रहती है,
कमला- नही उसे कुछ पता नही है, मुझे तो कभी ऐसा नही लगा
चंदा- अच्छा मालकिन एक बात पूंच्छू सच-सच बताना आपको चंदा की कसम है
कमला- अरे मैने तुझसे कभी कुछ च्छुपाया है क्या, जब तू खुद मुझे रोज आकर बताती है कि तेरा पति तुझे किस-किस तरह चोदता है तो मे भी तो तुझे अपने साथ हुई हर बात बता देती हू,
चंदा- अच्छा तो सच बोलना, तुम तो हरिया के साथ घर मे रहती हो कभी उसका मोटा लंड देखा है कि नही
कमला- उसकी बात पर मुस्कुरकर, तू कोई और बात नही पूछ सकती थी क्या
चंदा- कमला की साडी के अंदर हाथ डाल कर उसकी फूली हुई चूत को सहलाती हुई, मालकिन सच बताओ ना
कमला- चंदा द्वारा अपनी चूत मे हाथ फेरने से गरम होने लगती है और उसकी आग भी भड़कने लगती है, आह चंदा आराम से मसल,
चंदा- बोलो ना मालकिन
कमला- हा रे मैने भी अपने बेटे का मोटा लंड देखा है,
चंदा- आश्चर्या से कब देखा है मालकिन
कमला- एक बार पहले देखा था और फिर आज तेरे जाने के बाद जब मे झोपड़ी मे गई तो हरिया सो रहा था और उसका मोटा लंड पूरी तरह तना हुआ था और उसकी लूँगी से बाहर निकला हुआ था तब मैने हरिया का मोटा लंड देख लिया
चंदा- कमला की चूत मे उंगली पेल कर उसकी चूत के दाने को सहलाते हुए, ओह मालकिन तो फिर बताओ कैसा लगा तुम्हे तुम्हारे बेटे का लंड,
कमला- तूने तो आज ही देखा है, मैने तो कई बार पहले भी उसका लंड देखा है
चंदा- वो कैसे
कमला- एक बार तो वह बाथरूम मे नहा रहा था और जब मे बाल्टी मे पानी लेकर आई तो वह पूरा नंगा होकर अपने मोटे लंड पर खूब साबुन लगा कर मसल रहा था और उसका लंड किसी डंडे की तरह खड़ा हुआ था और एक बार वह नहा कर आया और अपने कमरे का दरवाजा खोल कर अपने लंड पर खूब सरसो का तेल लगा-लगा कर मालिश कर रहा था,
चंदा- वाह मालकिन तुमने तो अपने बेटे के लंड का खूब आनंद लिया है,
कमला- पर चंदा एक बात कहु, उस दिन जब बाथरूम मे वह अपने लंड पर साबुन लगा कर मसल रहा था तो मुझे ऐसा लगा जैसे वह मुझे देख चुका है और जानबूझ कर मुझे अपना मोटा लंड दिखाने की कोशिश कर रहा है,
और तो और एक दिन जब वह अपने लंड पर खूब तेल लगा-लगा कर मालिश कर रहा था तब मे उसके कमरे मे जाते-जाते उसके लंड को देख कर एक दम से दरवाजे के पीछे हो गई और धीरे से उसके लंड की ओर झाँका,
तब भी मुझे ऐसा लगा था जैसे वह मुझे अपना मोटा लंड खूब मसल-मसल कर जान बुझ कर दिखा रहा है,
कमला की चूत मसल्ने से वह पूरी पानी-पानी हो चुकी थी और चंदा उसकी चूत मे लगातार अपनी दो उंगलिया चलाती हुई उससे बाते कर रही थी.
चंदा- एक बात कहु मालकिन, मुझे तो ऐसा लगता है जैसे हरिया तुम्हे पूरी नंगी करके चोदना चाहता है,
कमला- आह आह यह तू कैसे कह सकती है
चंदा- क्यो कि कल जब तुम नहा रही थी तब वह बाथरूम के उस छेद से तुम्हे पूरी नंगी नहाते हुए देख रहा था,
कमला- उसकी और अचरज से देखती हुई, तुझे कैसे पता
चंदा- क्यो कि मे कुछ काम से वापस आई थी और तुम्हारा दरवाजा भी खुला हुआ था, और तो और वह झोपड़ी के पीछे जब अपना लंड हिला रहा था तब भी तुम्हे ही अपने ख्यालो मे पूरी नंगी करके चोद रहा था, तभी तो उसके मुँह से आ मम्मी, आ मम्मी जैसी आवाज़े आ रही थी,
|