RE: Incest Sex Kahani प्यार का रिश्ता
कुछ देर लेटने के बाद जब लंड मुरझगया तो मैने सूची की बुर मे पेशाब किया जिससे वो बिल्कुल अनभीग्या थी..... यह क्या मनुव्व यह क्या कर रहे हूऊओ बहुत गरम हाई मेरा पेट फूल रहा हाई आआ और जब मैं पेशाब कर चुका उसकी चूत के अंदर तो मैं सूची के बगल मे लूड़क गया सूची बुर से मैने अपनी पेशाब किसी फव्वारे की तरह निकलते देखी....... . सूची तब भी आआआ ऑश यह क्या निकल रहा है.....
तब मैने सूची को बताया...... ... सूची की बुर को देखा तो उसका मूह फैल गया था....... उस दिन सूची मेरे से 2 बार और चुदवाइ और यह सिलसिला शिवानी के आने तक चलता रहा.......
अब जब शिवानी यूनिवर्सिटी जाती तो मैं और सूची मिलकर चुदाई कर लेते थे......... . एक दिन शिवानी जल्दी घर वापिस आ गयी उसने मेरे को अपने घर से आते हुए रास्ते मे देखलिया उसने मेरे से कहा अपनी गाड़ी यही छोड़ दो और मेरे साथ बैठो....
मैं उसके साथ उसकी गाड़ी मे बैठ गया... शिवानी और मैं लोंग ड्राइव पर निकल गये.. मैने अपने एक फ्रेंड को फोन कर के मेरी गाड़ी उठा कर शिवानी के बंग्लॉ पर रखने के लिए कहकर निसचिंत हो गया ..
"आजकल आप अपनी साली जी पर कुछ ज़्यादा ही मेहरबान हो रहे है....." शिवानी मेरे से कुछ शक करते हुए कह रही थी...
" मेहरबान नही मैं और सूची कई बार मिल चुके है" ' मेरा मतलब है की हम दोनो के अंग से अंग" यानी की मैं उसको कई बार कर चुका हू....
" मनु तुमको शर्म नही आती!!! मेरे से स्ट्रेट फ़ॉर्वाड़ कह दिया" शिवानी थोड़ा तुनक कर बोली....
अब तक हम एक वीरान रास्ते पर आ गये और मैने गाड़ी को नदी के किनारे झाड़ियों के बीच मैं पार्क करवाया जहा से हमारी गाड़ी को सिर्फ़ एरोप्लेन से या बिल्कुल पास आकर ही देखा जा सकता था......मैने अपने सीट को फोल्ड कर लिया तो वो सिंगल बेड हो गयी....
शिवानी ने गुस्से से कहा मनु यह ठीक बात नही है मैं तुमसे कुछ पूछ रही हू और तुम तनिक भी सीरीयस नही हो.....
मैने कहा जैसे मैं लेट गया हू वैसे तुम भी लेट जाओ फिर बाते करैन्गे और तुम्हारे हर सवाल का ज्वाब भी देंगे.......
शिवानी ने वैसा ही किया......
अब मैं और शिवानी उसकी कार के आगे की सीट्स को फोल्ड करके बेड की तरह इस्तेमाल कर रहे थे और हम दोनो एक दूसरे के अगाल-बगल मे लेटे हुए थे.
मैं शिवानी को बहुत गौर से देख रहा था...... हम दोनो चुप थे. मैं जानता था की शिवानी के अंदर कई शक और सवालों के तूफान अंगड़ाई ले रहे है. बहुत देर तक ऐसे ही लेटने के बाद पहले मैने हरकत करी और मैं शिवानी के ऊपेर चढ़ गया और उसको किस करने लगा और पहली बार शिवानी के मदमाती गोलाईयो का स्पर्श अपनी हथेली से किया.....
" आररी.....अर्रे. .... यह क्या?!?!?! मनु..... प्लज़्ज़्ज़्ज़ ऐसा मत करो.... रूको तो सही ........" शिवानी मिस्रित भाव से झुंझलाती हुई और मुझे अपने ऊपेर से हटाने की कोशिश करती हुई बोली लेकिन मैने अपने हाथों का प्रेशर उसकी जवानी की गोलाईयो पर बढ़ा दिया.... शिवानी पतले कपड़े का सूट और वैसे ही ब्रा पहने हुए थी जिसके कारण मैं उसके निपल्स का ऐएहसास अपने हथेली के नीचे कर रहा था...... अब शिवानी ज़्यादा विरोध नही कर रही थी..... मैने शिवानी के पैर फैलाए और उसकी सलवार के बीच मे अपना राइट घुटना रगड़ना चालू कर दिया... शिवानी शायद एमसी से थी सो वो चिल्ला पड़ी..." मनु यह क्या हो गया है आज तुम्हे...... तुम से मुझे ऐसे उम्मीद नही थी......"
मैं उसको मुस्कुराते हुए देखता रहा और मैं उसके ऊपेर से हट कर अपनी सीट को वापस उठा कर बैठ गया ......
वो काफ़ी देर तक मुझे बड़बड़ाते रही और गालियाँ देती रही....... शिवानी को सच मे बहुत गुस्सा आ गया था वो भी सीट उठाकर बैठ गई.....
मैने कहा 'शिवि चल जल्दी से गाड़ी स्टार्ट कर ... और वापिस चल"
हमारी गाड़ी चल पड़ी.... वापिस आते आते तक हम दोनो मे से किसी ने बात नही की सिर्फ़ मैं ही किसी रोमॅंटिक गाने को सिटी बजाते हुए गुनगुनता बैठा रहा.... जैसे ही गाड़ी सहर मे दाखिल हुई.... शिवानी ने मेरी तरफ देखा और उसके आँसू निकल पड़े.... बोली " मनु. मुझे बहुत दुख है की तुमने अपना वादा और मेरा विश्वास दोनो तोड़ दिए...." तुम भी दूसरे मर्दों जैसे बेवफा निकले.... अब हम कभी नही मिलेंगे..... .
मैने कहा "शिवि जी गाड़ी रोकिए प्ल्ज़....."
उसने गाड़ी रोक दी....मैं उतरा और गेट लगाते हुए कहा " बाइ माइ डार्लिंग..... .."
इसके पहले की वो कोई जवाब देती मैने एक ऑटो पकड़ा और उसमे सवार होकर अपनी मंज़िल को और निकल गया ............
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