RE: xxx Kahani नौकरी हो तो ऐसी
नौकरी हो तो ऐसी--16
गतान्क से आगे…………………………………….
मुझे रसोई घर की बात याद आई.. कंटॅकटर बाबू की आमो वाली बात…. कॉंट्रॅक्टर बाबू अपनी बहेन को कहते कहते कह गये कि दो दिन पहले ही आम खाए थे… क्या इसका मतलब कॉंट्रॅक्टर बाबू जो ताइजी के सगे भाई थे वो ताइजी की बुर चोदते थे…. इन सबका मुझे पता लगाना था… उन्होने रसोईघर मे सबके सामने जब यह बात कही थी तब वकील बाबू और रावसाब भी मुस्कुरा रहे थे इसका मतलब क्या ये तीनो भाई….???????????????
तभी ताइजी के पति दीवान से उठे और जाने लगे………..
ताइजी – इतनी रात गये कहाँ जा रहे हो…………….
ताइजी के पति – मैं ज़रा नीचे जाके सोने की कोशिश करता हू…………
ताइजी – क्यू क्या हुआ यहाँ…………….
ताइजी के पति – नही यहाँ मुझे नींद नही आ रही………..
ताइजी – अरे अच्छे ख़ासे तो सोए थे यहाँ……………..
ताइजी के पति – नही आँख खुल गयी फिरसे…. बहुत देर बाद लगी थी… मैं नीचे ही सोता हू
ताइजी – ठीक है….
मेरे मन मे आनंद की धाराए बहने लगी थी… ताइजी और मैं अकेले कमरे मे, इससे मुझे बुर चुदाई की आशा बढ़ती लग रही थी…….
10-15 मिनट तक जब कुछ हलचल नही दिखी तो मेरे लंड जी शांत हो गये और मुझे नींद भी आने लगी थी और मैं सो गया….
अचानक आधी रात को मुझे कुछ गिरने की आवाज़ सुनाई दी… मैने चादर मुँहसे हल्केसे हटा के देखा तो कमरे की छोटी बल्ब जल रही थी … मैने देखा कोई शीशी का ढक्कन उठा रहा था…. शरीर से देखा जाए तो वो कॉंट्रॅक्टर बाबू ही लग रहे थे… और उनके हाथ एक शीशी थी…..
शीशी पे कुछ नाम नही था पर शीशी से निकल रही गंध से ये ज़रूर पता चल रहा था कि गाव की हाथ भट्टी पे बनी कोई मस्त और महँगी दारू है….
कॉंट्रॅक्टर बाबू ने शीशी का ढक्कन मेज पे रख दिया… एक ग्लास उठाई और उसमे आधे से ज़्यादा दारू डाल दी और थोड़ा सा पानी डाला
वो ग्लास लेके वो ताइजी के दीवान के पास आए और उन्हे जगाने लगे…ताइजी आँखो को मसलते हुए उठी और बैठ गयी
ताइजी – ये क्या है….
कॉंट्रॅक्टर बाबू – ये वोही है जो तुम्हे बहुत पसंद है
ताइजी – अरे वाह…असलीवाली ताजी ताजी दारू…. मज़ा आएगा …
कॉंट्रॅक्टर बाबू – हाँ मज़ा तो ज़रूर आएगा
ताइजी – हाँ पर मुझे एक ही ग्लास पीना है… मैं जब ज़्याता लेती हू तो मुझे तो सरदर्द होता है बहुत… मुझे दूसरे दिन पूरे अन्ग अन्ग मे दर्द होता है… चलने और उठने मे तकलीफ़ होती है…...तुम मुझे एक से ज़्यादा मत पीने देना
कॉंट्रॅक्टर बाबू – ठीक है.. ज़रूर ज़रूर
ताइजी – नही तो मेरे होश नही रहते और फिर तुम मेरे आम चुसते हो…
कॉंट्रॅक्टर बाबू – हम बस आम चुसते है ताइजी… और कुछ नही करते
ताइजी – याद ही नही रहता एक बार जो मैं पी लेती हू
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