RE: XXX Stories बीवी ने मेरा काम बनवा ही दिया
बीवी ने मेरा काम बनवा ही दिया --4
गतान्क से आगे............
काजल की दर्द के मारे जान निकलने लगी और मूह से जोरदार चीख निकल गई.?अहहाआहह?वीए..वी?मैं मरगई भैय्ाआ?आआअहह भैयाः मैं मर गेयीईयी….प्ल्स छ्चोड़ दो मुझेई. उसकी आँखों से आँसू आने लगे उसे बहुत दर्द हो रहा था. और मेरे लिप्स उसके लिप्स पर होने की वजह से अब उसके चीख नही निकली .वाह क्या अजीब मज़ा आने लगा काजल की फुददी लेस्दार पानी(कम)से भरी होई उफ़फ्फ़… मैं चूचियो को चूस्ते हुए लंड पर ज़ोर बढ़ाआनए लगा ओर लंड 6 इंच अंदर हो गया ओर काजल की हल्की सी चीख निकली हुई थी हाईईईईई भाई ये क्या कर रहे हो, सारा ना डालो, प्ल्ज़ मैं मर जाऊं गी मे ने कहा काजल थोड़ा सा अंदर करने दो काजल अपनी टाँगो को भिचने लगी मैं ने
मना किया और आगे पिच्छे होने लगा लगता था अब काजल को मज़ा आ रहा हैं काजल ने टाँगे थोड़ी सी खोल दी ओर उसकी फुददी से चिप चिप की आवाज़ आ रही थी ..अब काजल भर पूर मज़ा ले रही थी.
उसकी पायल की छम छम और चूड़ियो की खन्न् खन्न् मेरे कानो के पास मधुर संगीत पैदा कर रही थी क्योंकि उसकी बाहें मेरे गले मे और टाँगे कंधो पे थी. अब काजल ने टाँगो को और खोल दिया ओर मेरा लंड थोड़ा अंदर चला गया था अफ और फुददी मे काजल के कम की चिप चिप ओर कीच कीच की आवाज़ आ रही थी..अब मेरा जोश ज़ियादा बढ़ने लगा ओर मे ने भरपूर ज़ोर दार तरीक़ा से ऐक चूची को पकड़ लिया ओर दोसरि के ऊपेर अपना होन्ट खोल कर रख दिया काजल ने और टाँगो को खोल दिया ओर मैने सारा लंड अपनी सग़ी बहन की फुददी मे उतार दिया .
मेरे अंडकोष उसके चूतदों से जा लगे.काजल दर्द से कराहने लगी ऊहह ही ओह मर गाइए मर दिया भाई तू ने सग़ी बहन से सुहागरात मना ली और मैं तेज़ी से आगे पिच्छे तेज़ी से लंड अंदर बाहर करने लगा काजल मज़ा वाली आवाज़ से “आआहह आअहह भैया हाअ उईईइ आहह ऊहह ऊहह ऊहह “करने लगी ओर मुझे अपनी बाज़ू मे ज़ोर से क़स लिया और नीचे से खुद धक्के मारने लगी अब हम दोनो जी भर ऐक दोसरे को चोद रहे थे उफ़फ्फ़ ओर 20 मिनट बाद मेरे लंड से लेस्दार पानी कम)सग़ी बहन की फुददी मे निकलने वाला था के काजल फिर झाड़ गयी उफ़फ्फ़ अब ओर ज़ियादा किच किच पिच पिच चिप चिप की आवाज़ आने लगी ओर मैं फिर थोड़ी देर बाद काजल की चूत मे ही झाड़ गया और उसकी चूचियो पर अपना मुँह रख कर लेटा रहा .
काजल की चूत मेरे वीर्य से लेबा लब भर गयी थी.वो मेरी कमर पर हाथ फेरने लगी ओर कभी मेरे सर(हेड)मे उंगली फेरने लगी ओर 5 मिंट बाद बोली आख़िर भाई तुम ने मेरे दिल की ख्वाइश पूरी कर ही दी ..कुच्छ देर सुस्ताने के बाद काजल फिर मेरे लंड को चूसने लगी और बोली के भैया अभी टाइम है, जी भर कर कर लो.आपके लंड ने तो मेरा दिल जीत लिया है.मैने उठ कर मेरे साले के कमरे मे ख़ुफ़िया तोर पे झाँका तो देखा कि वो मेरी बीवी की यानी अपनी बेहन की तबाद तोड़ चुदाई कर रहा था और कमरा फ़च फ़च की आवाज़ों से गूँज रहा था.मैं फॉरन काजल के पास आया और उनका हाल बताया तो वो बोली “भैया आप भी मुझे और चोदो, मैं भाभी से पूरा बदला लूँगी”.मुझे ताज़ा माल मिल रहा था, मैं फिर काजल पर चढ़ गया.मेने 12 बजे तक काजल की जमकर चुदाई की.
तरुण के लिए मेरी पत्नी ने मेरे बगल वाले कमरे को सज़ा रखा था.12 बजे के बाद जैसे ही बीवी आई तो बेड पर खून देख कर समझ गयी के काजल की सील टूट चुकी है.मेरी बीवी भी टाँगे कुच्छ चौड़ी करके चल रही थी.साले साहेब ने उसकी चूत की चूलें हिला दी थी.लेकिन जैसे मे खुश था वैसे ही मेरी बीवी भी भाई की चुदाई से काफ़ी संतुष्ट नज़र अराही थी.मेरी बीवी अपनी ननद रानी को दुबारा दुल्हन के लिबास मे अपने भाई के कमरे तक छ्चोड़ने गयी और गुड नाइट कह कर वापिस आगाई.मेरी बीवी ही मुझे काजल नज़र आने लगी और मैं अपनी पत्नी पर टूट पड़ा और उसके कपड़े उत्तारने लगा.” क्या ह”हो गया है सुधीर प्यारे? शादी तेरी बेहन की हुई है और उतावला तू हो रहा है. साले बेह्न्चोद, तेरी बेहन की सील मेरा भाई तोड़ने वाला था लेकिन तुमने पहले ही ये काम निपटा दिया और अब तू फिर मस्त हो रहा है. याद रखना हमारी शादी को 3 साल हो चुके हैं लेकिन तुम अभी मुझे नयी नवेली दुल्हन समझ रहे हो.” मैं बहुत उतेज़ित था. शायद ये सोच कर के साथ वाले कमरे में तरुण मदेर्चोद मेरी बेहन को नंगा कर रहा था. मेरा लंड लोहे की तरह सखत हो चुका था. मैने अपने लंड अपनी पत्नी के मूह में थेल दिया.
उसने अपना मूह बंद कर लिया लेकिन मैने अपना लोड्ा उसके होंठों पर ऐसे रगड़ा जैसे लिपस्टिक लगा रहा हूँ. मैने सुषमा की 36 ड्ड चुचि को अपने हाथों में मसल दिया और उसके निपल्स को अपनी उंगलिओ में ले लिया,” सुषमा साली, तू क्या काजल से कम है क्या? आज तुम मेरी काजल बन जाओ मेरे लिए. चूस लो मेरे लंड के सूपदे को साली. आज की रात को अपनी सुहागरात ही समझ. आज तेरी वो चुदाई करूँ गा की याद रखो गी. जितना तेरा भाई मेरी बेहन को चोदे गा उस से अधिक मैं उसकी बेहन को चोदु गा. मेरी रानी मेरा लंड ले लो अपने मूह में, मेरी सुषमा.”
सुषमा ने मूह खोला मगर पूरा नखरा करने के बाद. उसने मूह खोला और मैने डाल दिया अपना लोड्ा अंदर और चुसवाने लगा. मैने उसके बालों से उसका सिर अपने लंड की तरफ खींच लिया था और मैं अपना पूरा लंड थेल रहा था अपनी पत्नी के मूह में. मेरा लंड अब उसके गले के कंठ से टकराने लगा. मैं खड़ा था और सुषमा मेरे सामने झुकी हुई मेरे लंड को चूस रही थी. मेरे सामने एक मिरर था जिसमे मेरी बीवी की गांद उप्पेर नीचे होती दिख रही थी. सुषमा के चूतड़ काफ़ी भारी है और चूतड़ की दरार से उसकी गांद का ब्राउन छेद दिख रहा था. “चूस लंड साली. दूसरे कमरे में तेरा भाई मेरी बेहन को चुस्वा रहा हो गा. देखना चाहती हो क्या हो रहा है उस कमरे के अंदर? चल कोई छेद ढूंड कर झाँकते हैं उनके कमरे में,” मैने कहा लेकिन मेरी पत्नी मेरा लंड चूसने में इतनी मगन थी कि उसने मेरी बात का जवाब नहीं दिया.
” अहह, धीरे तरुण, प्लीज़, मैने ये कभी नहीं किया. तरुण आप का बहुत मोटा है. मुझे छ्चोड़ दो राजा. फिर कभी कर लेना. आज बहुत हो गया. उफफफफफफफफ्फ़, अहह छ्चोड़ दो राजा, मेरे मालिक, प्लीज़,” काजल की आवाज़ थी. उनके कमरे से पच पच की आवाज़ आ रही थी. तभी मैने अपनी पत्नी को बेड पर लिटा दिया और लंड फिर से उसके मूह में डाल कर मैने अपनी जीभ उसकी चूत में डाल कर चूसना शुरू कर दिया. सुषमा की चूत पनिया चुकी थी और मैं चूत रस लॅप लापाने लगा. मेरा लंड सुषमा के मूह को चूत की तरह चोद रहा था और उसके हाथ मेरे अंडकोष सहलाने लगे.
मैने अपने हाथ सुषमा की मस्त गांद पर रख दिए और एक उंगली उसकी गांद में पेल दी. उसका जिस्म अकड़ गया और मेरा लंड मूह से निकालते हुए बोली,” साले सुधीर, तेरा लंड चूस तो रही हूँ, गांद क्यो चोद्ते हो, साले चूत मेरे भाई के लिए छ्चोड़नी है क्या? उधर काजल की चुदाई भी शुरू हो चुकी लगती है, चलो हम भी शुरू करते है अपना खेल. कैसे चोदो गे आज अपनी पत्नी को? या फिर मैं ही चोद डालूं तुझे? अच्छा तुम लेट जाओ और मुझे अपने लंड की सवारी करने दो आज. आज तू वैसे भी नीचे लगा हुआ है मदेर्चोद. मेरा भाई तेरी बेहन को चोद रहा है. उधर तरुण काजल को चोदे गा, इधर सुषमा तुझे चोदे गी सुधीर,”
मेरे मन की आँख अपनी बेहन की चुदाई की कल्पना कर रही थी. मेरा लंड फटने को था. मैने अपनी पत्नी को अपने उप्पेर खींचा और अपना लंड उसकी चूत के नीचे रख दिया. सुषमा की चुचि मेरे मूह के सामने झूल रही थी जब उसने अपनी चूत को नीचे किया और एक ही झटके में मेरा लंड उसकी भूखी चूत में समा गया. सुषमा के चूतड़ आगे पीच्छे होने लगे,” चोदो मुझे मेरी रानी. सुषमा मदेर्चोद चोद मुझे जैसे तेरा भाई मेरी बेहन को चोद रहा है, साली मेरा लंड खा गयी है तेरी चूत. मेरा लंड निचोड़ रही है तेरी चूत की दीवारें. बहुत टाइट है तेरी बुर मेरी रानी. तेज़ी से गांद हिला रानी. चोद मुझको मेरी छिनाल पत्नी बन के,” मैने अपने चूतड़ उठा उठा कर चुदाई करते हुए कहा. सुषमा ने भी धक्के तेज़ कर दिए और मुझे चोदने लगी,” उहह, अहह, सुधीर, साले तेरा लंड मेरी बच्चेदानी से टकरा रहा है, मदेर्चोद, अभी अपनी बेहन की कुवारि चूत का फाड़ कर हटे हो और मुझे भी काजल समझ कर चोद रहे हो क्या. चोद मुझे तरुण, चोद अपनी बेहन को साले, चोद मुझे बेहन्चोद,”
“ओह, काजल चोद मुझे, चोद अपने भाई को साली. मेरा लंड तेरी चूत में झाड़ रहा है, मैं झाड़ रहा हूँ मेरी बहना. मेरा लंड तेरी चूत में अपना रस छ्चोड़ने वाला है, मेरी बहना,” मैं ना जाने क्या अलाप शलाप बोल रहा था. तभी मेरे लंड ने पिचकारी सुषमा की चूत के अंदर छ्चोड़ डी. मेरा लंड फॉवरा छ्चोड़ रहा था और मेरी पत्नी पागलों की तरह धक्के मारते हुए मुझे चोद रही थी. कुच्छ देर में हम शांत हो चुके थे और शायद तरुण भी मेरी बेहन को चोद चुका था.
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