RE: Antarvasna मैं तेरा आशिक़
मैं तेरा आशिक़--11
गतान्क से आगे………………………..
डॉक्टर के जाने के बाद………..डॉली की मा ने डॉली की तरफ देखकर कहा बेटा डॉली सच्चाई क्या है ये मैं भी नही जानती बेटा जो भी बात हो मुझसे कहना ठीक है डॉली तो बस अपने ऊन्ही खौफनाक ख्यालो में खोई हुई थी जिसमे सिर्फ़ दर्द डर और दुख एक अलावा कुछ नही था जो सितम राज ने उसके साथ किए थे वो शायद पल पल करके घाव की तरह उसके जिस्म पर आ रहे थे उसकी इज़्ज़त रुतबा सब कुछ उसने चुरा लिया था
इनस्पेक्टर चुपके से डॉक्टर के पास गया और कहा डॉक्टर लिसन टू मी
डॉक्टर – जी कहिए…………….देखिए ये बात हम दोनो के बीच में रहनी चाहिए मैं आपसे एक फेवर चाहता हू……..वॉट कॅन आइ हेल्प यू सर कहिए?..........देखिए ये तो बात साफ है कि ये आक्सिडेंट कोई जल्दबाज़ी या ग़लती से नही हुआ ग़लती ट्रक ड्राइवर की थी और इस वक़्त डॉली उस सिचुयेशन में नही है कि वो कुछ बता सके सो मुझे उसके बॉडी के रिपोर्ट्स चाहिए जो सिर्फ़ आप कर सकते है……….व्हाट ? सर ये इल्लीगल है हम किसी से बिना पूछे उनके बॉडी टेस्ट रिपोर्ट्स बताना इट’स क्वाइट डेंजरस………..देखिए आप चिंता मत कीजिए सब मुझपे छोड़ दीजिए देखिए आप तो जानते है कि हम पोलिसेवाले जब तक तह तक ना पहुचे एक पत्ते पर भी नज़र रखते है और वैसे भी रिपोर्ट्स से यह सॉफ हो जाएगा कि डॉली सच में दोस्त के घर पर थी या उसके साथ इतने दिनो में कुछ हुआ था मैं आपको पूरा यकीन दिलाता हू बात हमारे बीच में ही रहेगी इट’स माइ प्रॉमिस………… डॉक्टर ने ए सी पी के चेहरे को देखकर कहा ओके सर मैं यह करूँगा बॅट प्लीज़ बी शुवर आप यह बिना पूछे उनके अगेन्स्ट सही ही कर रहे है…….. डॉक्टर आइ आम अपस्युटली शुवर आप बस टेस्ट रिपोर्ट्स बनवाइए आगे मैं संभाल लूँगा और यह रिपोर्ट्स सीधे मेरे पास आने चाहिए ना कि उनकी मोम के पास पहुचे…. डॉक्टर इसका पूरा ख्याल रखा जाएगा ओके सर………ऑलराइट आप जा सकते है
ए सी पी धरम के दिमाग़ में जो कुछ चल रहा था वो डॉली को गहराई तक जानना चाहता था उधर राज अपने नये मोहरे की तलाश में था
राज अभी जीप से घर आया और तकरीबन उसने अपने कॉलर को थोड़ा ढीला किया और दरवाजा खोलकर जाके सोफा पर बैठ गया राज ने अपनी ग्रीन कलर की वर्दी वाले शर्ट को उतार फैका अब उसकी बॉडी एकदम सॉफ दिखाई दे सकती थी जो किसी को भी पागल कर सकती थी
राज उठा और उसने इधर उधर देखा और अपनी पॅंट उतार दी एक सिसकारी लेके उसने अपने दांतो को दबाया और अपने जाँघ पर लगे उस ज़ख़्म की पट्टी खोल डाली जिससे अब खून आना बंद हो गया
राज – डॉली अच्छा ज़ख़्म दिया तुमने मेरे प्यार में मैं समझता रहा कि तुम मुझसे बहुत प्यार करती हो बट आइ वाज़ मिसटेकन अट दट मोमेंट उसी वक़्त तुम्हे अपने हाथो से मार देना चाहिए था तुम उसकी तरह नही हो सकती तुम्हे तो मैं अपना बनाके ही रहूँगा ये मेरा वादा है तुमसे राज का डॉली ये वादा रहा
राज की जाँघ पर खून के थोड़ी ज़ख़्म थे और चाकू उसकी गहराई तक नही पहुचा था इसलिए वो ज़्यादा घायल नही हुआ
उधर डॉली अब भी सोच में डूबी थी और उस खौफनाक पॅलो को याद कर रही थी जब राज ने उसके साथ कितना बुरा किया उसके जिस्म पर वो ज़ख़्म छोड़ दिए जो शायद डॉक्टर भी ना इलाज कर सके डॉली सुभास की मौत को याद करने लगी ऊन यादो को याद करने लगी जब वो चीख रहा था उसके बाद उसने अपना बदला डॉली के जिस्म से निकाला और उसके शरीर पर धार धार नोकिले टॅटू मशीन से जो निशान बनाए उसमे डॉली कितनी चीखी थी और कितनी बार तदपि थी
डॉली को वो सब बाते याद आती और वो चिल्लाने की कोशिश करती पर उसकी चीख मुँह में क़ैद दब जाती
डॉली फिर से रोने लगी पर इस बार शायद उसकी मा उसको सहारा देने के लिए वहाँ नही थी डॉली ने झट से एक डिसिशन लिया कि चाहे जो भी हो वो ए सी पी धरम को अपनी सारी दास्तान बता देगी चाहे वो राज उसकी जान भी क्यू ना लेले अब वो पीछे नही हटेगी
धरम अब भी पोलीस स्टेशन में बैठा था और कुछ गंभीर सोच में डूबा था इतने में न्यूज़ रिपोर्टर्स के चिल्लाने की आवाज़ सुनकर उसने फाइल टेबल पर रखी और बाहर निकला
एक आँखें को तिरछी करते हुए वो रिपोर्टर्स को देखने लगा…………
रिपोर्टर्स- क्या सर आप बताएँगे के ये सब क्या है एक वेल नोन रिपोर्टर की हत्या और ना ही उसको इंसाफ़ मिल रहा है और ना ही उसके मर्डर मिस्टरी के बारे में बताया जा रहा है आख़िर ये हो क्या रहा है……….
धरम – एक मिनिट एक मिनिट विल यू ऑल प्लीज़ काम डाउन फॉर जस्ट आ सेकेंड आइ विल टॉक टू यू देखिए सुभास शर्मा की मौत किसी आक्सिडेंट से नही हुई बल्कि उसका कतल हुया और हमारी काबिल पोलीस टीम ये पता लगाने में जुटी हुई है इसलिए आप प्लीज़ शांत हो जाइए पता लगने पर आपको सबकुछ बता दिया जाएगा इंसाफ़ ज़रूर होगा……
.सर सर ये तो आपलोगो का रोज़ का नाटक है केस को ढील देते है और बाद में उसे शूसाइड या आक्सिडेंट डिक्लेर कर देते है……………
.धरम की आँखें उसी शक्स को घूर रही थी और वो तेज़ कदमो से उसके पास जाता है और कहता है बस कह दिया जो कहना था आपको आपको तो बस चटपटी खबर चाहिए अपनी प्रमोशन्स के लिए वरना आपके हेड ऑफ न्यूज़ चॅनेल खुश कैसे होंगे आप लोग यहाँ इंसाफ़ के लिए नही बल्कि अपनी खबर निकलवाने आए है किसी पर किचॅड फैक्ने आए है पर आप जैसे मच्छरों से मैं बाद से करने से अच्छा अपने काम पर ध्यान देना ज़्यादा ज़रूरी समझता हू आप लोग आप लोग तो ऐसे है कि जब किसी साधारण आदमी का कतल होता है तो रिपोर्टर क्या वहाँ एक कॅमरा मेन भी नही होता हर साल देश में करीब लाखो लोग मरते है करोड़ो लोग मरते है पर कुछ लोग ऐसे है जिनकी मौत पर आप लोगो को बुलाया ही नही गया ये आप लोगो की सोच है एक रिपोर्टर का कतल हुया ये बात किसको हाज़ाम होगी इतनी जल्दी इसलिए तो आप मेरे पास आए है आप सब जैसे लोगो के चलते पोलीस पर गवर्नमेंट लोगो पर किचॅड उछाला जाता है आपके न्यूज़ चॅनेल पर ऑल टाइम 24घंटे स्पोर्ट्स और सेलेब्रिटी और मूवीस की ही खबर बताई जाती है क्यूंकी वो हस्तिया और आम लोग हस्ती नही बल्कि सड़को पर चलते फिरते कीड़े है …………
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