RE: Porn Story चुदासी चूत की रंगीन मिजाजी
बालों से भरा चौड़ा सीना मेरे सामने था ! जफ़र अंकल ने पजामा भी उतार दिया ! अब सिर्फ अंडरवियर में मेरे सामने थे ! मेरी सूनी ऑंखें आंसुओं से भरी हुई थी ! और जफ़र अंकल मेरे चूत के ख्यालों में मुस्करा रहे थे ! उनके बिस्तर पर लेटने से पहले ही मैंने कहा, मुझे बाथरूम जाना है ! उन्होंने सहारा दिया, पर मैं सम्हल नहीं पायी और उनकी बाँहों में झूल गयी ! उन्होंने मेरी हालत समझी और मुझे गोद में उठा लिया, और बाथरूम की तरफ चल पड़े ! उनके बालों से भरे सीने में मेरे मुंह था, अजीब सी मरदाना खुश्बू मुझे पागल करने लगे ! जफ़र अंकल ने मुझे सीट पर बिठाया और खुद बाहर चले गए ! जाते जाते दरवाजे को ठीक से लगाते गए ! उन्होंने कहा, मैं बाहर हूँ, आवाज़ दे देना !
मैंने लगातार पता नहीं कितनी देर तक पेशाब किया, बाथरूम में आवाज़ गूँज रही थी ! फिर पता नहीं मुझमे कहाँ से इतनी हिम्मत आई, मैंने दरवाज़े तक पहुँच कर अंदर से बाथरूम बंद कर ली ! ! मैंने सोच लिया की कम से कम आज नहीं चुदूँगी !जफ़र अंकल बाहर से आवाज़ लगाते रहे, मुझे वादाखिलाफी करने के लिए कोसते रहे, पर मैंने कहा जफ़र अंकल, आज प्लीज मुझे माफ़ कर दो ! मैंने वादा नहीं तोड़ा है, पर आज में इस हालत में नहीं हूँ ! चिड़ियों के चहचहाने की आवाज़ आने लगी थी, यानि सुबह हो चुकी थी।
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