non veg story झूठी शादी और सच्ची हवस
02-06-2019, 05:03 PM,
#11
RE: non veg story झूठी शादी और सच्ची हवस
मुझे कभी लड़कियों में आकर्षण महसूस नहीं हुई, लेकिन लड़की दोस्तों से मैं अब नहीं कतराती थी क्योंकी इस तरीके से होने वाले ओर्गज्म का मज़ा काफी निराला होता था। मुझे ऐसा लगने लगा जैसे मेरे डिस्चार्ज का मज़ा मेरी दोस्तों को भी आता है। 

हम निशी के घर के इलावा एक-दो और जगहों पर भी जाने लगे, जहाँ लड़कों के होने के अहसास तो नज़र आते थे लेकिन हम लड़कियों के जाने पर वहाँ लड़कों का कोई वजूद नज़र ना आता। एक बंगलो ऐसा था जहाँ हम लड़कियाँ ऊपर वाले फ्लोर पर होती थीं रूम बंद करके, जबकि निशी और एक दूसरी फ्रेंड टेक्स्ट मेसेज आने के बाद नंगी ही नीचे चली जातीं और काफी देर के बाद वापिस आतीं। 

मैं ऊपर सोचती रहती कि क्या ये पॉर्न की तरह एक ही लड़के के साथ दोनों मिलकर सेक्स करती हैं या दोनों का अलग-अलग लड़का होता है। बाद में इस टोपिक पर सोचना छोड़ दिया मैंने। पॉर्न फिल्में वहाँ इस तरह चल रही होती थी जैसे बच्चों को बहलाने के लिये माँ बाप टीवी पर कार्टून लगा देते हैं। दिन में वहाँ पर लैमब टिक्का की बड़ी-बड़ी कड़ाही आती और साथ कोल्ड-ड्रिंक्स के कैन्स। 

मुझे ये अय्याशी बहुत अच्छी लगने लगी। हालांकी मेरी दोस्तों के अलग-अलग रिलेशन्स थे लेकिन वो कभी हमारी दोस्ती में दखलअंदाज नहीं हुए। मेरे लिये दोस्तों की ये गैदरिंग ही सबसे बड़ी अय्याशी थी जहाँ मेरी दोस्त मेरे जिश्म के साथ खेलना अपना फर्ज़ समझती थी, मेरी स्क्विर्टिंग पर खिलखिला के हँसती थीं। खैर… मुझे ये कभी महसूस ना हुआ कि मैं उनके लिये किसी किश्म की जिन्सी संतुष्टि का कोई ज़रिया हूँ। लड़कियाँ आपस में वैसे भी नहीं शरमातीं क्योंकी ये तो उनकी इन्सिटिक्ट में शामिल होता है, इसीलिये मुझे भी नंगा होने का मज़ा पड़ चुका था। 

मैं उम्र के जिस हिस्से में थी उसमें वैसे ही लज़्जत का चस्का बहुत जल्दी पड़ जाता है। मेरी सब दोस्त जान गई थीं कि फिलहाल सिर्फ़ एक फुल ओर्गज्म ही मेरे जिश्म की ज़रूरत है इसलिए वो वक्त-बेवक्त मेरे जिश्म के साथ छेड़-छाड़ करती रहतीं और जैसे ही उनको लगता कि मेरा अराउजल लेवेल हाई हो रहा है वो दो या तीन मिलकर मेरे ऊपर चढ़ जातीं। 

निशी मेरी टांगें खोलकर उनके बीच घुटनों के बल बैठ जाती और दूसरी या तो मेरी टांगें उठाकर पकड़ लेती या मेरे चुचियों को चूसती। मैं नहीं समझ पाई कि उनको इसमें क्या मज़ा आता होगा? लेकिन मुझे तो बहुत ज्यादा आता था। एक दफा तो मेरी चीखें निकल गई, जब निशी ने मेरी गान्ड में अपनी पूरी उंगली दे दी और दूसरे हाथ से मेरी चूत को रगड़ने लगी जबकि दूसरी फ्रेंड ने मेरी टांगें खोलकर और ऊपर करके पकड़कर रखी थीं। मैं शुरूर की कैफियत में तेज़ी से जा रही थी कि मेरी एक फ्रेंड मेरे फेस के ऊपर अपनी चूत लाकर बैठ गई। मुझे बहुत ज्यादा उलझन होने लगी। 

लेकिन वो अपनी चूत मेरी नाक पर रगड़ने लगी। मेरी नाक उसकी चूत में जाने की वजह से मुझे साँस लेने में उलझन होने लगी, तो मैंने मुँह से जोर-जोर से साँस लेना शुरू कर दिया। चूत की स्मेल कुछ देर मुझे अजीब सी लगी, लेकिन कुछ देर बाद मैं उससे ज्यादा परेशान ना हुई। वो चाहती थी कि मैं उसकी चूत मुँह में लूँ जबकि मुझे ऐसा कोई शौक नहीं हो रहा था। 

जब वो अपनी चूत मेरे होंठों पे लाती तो मेरी नाक उसकी गान्ड के सुराख में चली जाती और मेरी साँस बंद होने लगती। इस दौरान मेरी गान्ड में उंगली और चूत पर रगड़ाई से मेरी हालत अजीब सी हो जाती। जब मैंने फ्रेंड को गैर महसूस तरीके से फेस से हटाया, ताकी वो माइंड ना करे, तो इस दौरान मेरी हालत नीचे से गैर हो चुकी थी और मेरा इतना जोरदार ओर्गज्म हुआ कि स्क्विर्टिंग की वजह से निशी बहुत ज्यादा गीली हो गई। मेरी बॉडी ऐसी हो जाती जैसे बिजली के झटके लग रहे हों, और ओर्गज्म के बाद मैं काफी देर उल्टी पड़ी रहती। जिस तरह मेरी स्क्विर्टिंग निशी पर गिरती थी, इसी तरह अगर किसी और की मुझ पर गिरती तो मेरी हालत खराब हो जाती। 

मैं ऐसी सिचुयेशन से अजीब कशमकश में पड़ जाती कि आख़िरकार लड़की की बॉडी में ये क्या राज छुपा हुआ है, मेरी हालत अचानक ऐसी क्यों हो जाती है और ओर्गज्म का इतना ज्यादा मज़ा क्यों आता है? मेरे लिये उस वक़्त यही सबसे बड़ा नशा था और अपने तौर पर मैंने खुशी का राज पा लिया था। 17 साल की उमर में मेरे लिये अय्याशी के सिर्फ़ तीन ही मयार थे: 
1॰ बाजी का रूम 
2॰ मॉडर्न ड्रेसिंग 
3॰ दोस्तों की उंगलियों और होंठों के मज़े से होने वाला ओर्गज्म 
4॰ मैं नहीं जानती थी कि मेरी इन मस्तियों में कई हादसे भी मेरे हमसफर हैं और ठीक वक़्त का इंतजार कर रहे हैं। 

दोस्तों की उंगलियों से ठंडी होकर जब मैं घर जाती थी तो में अजीब हवाओं में होती और ऐसा लगता जैसे मेरे साथ चलने वाले हर इंसान को मुझे देखकर ये पता चल रहा है कि मैं भरपूर सेक्स का मज़ा लेकर आई हूँ, मैं अपने आप में ही उन सबसे शरमाती रहती। मेरी सेक्स लाइफ चूंकी लड़कियों के साथ थी, इसलिए मुझे अपने अंडरगारमेंट्स की बहुत फिकर लगी रहती। लेकिन मैं वो किसी से डिस्कस ना कर पाती। बाजी के थांग्ज और लिंगरी मैंने कई दफा छुप के ट्राई कीं, लेकिन हम बहनों के साइज़ में थोड़ा सा फ़र्क था। मैं कुछ इंच लंबी और बाजी फिटिंग में मुझसे दो पाइंट चौड़ी थीं। 
Reply


Messages In This Thread
RE: non veg story झूठी शादी और सच्ची हवस - by sexstories - 02-06-2019, 05:03 PM

Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,504,738 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 544,771 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,233,210 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 932,559 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,655,729 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,082,590 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 2,954,074 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana
Star Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम sexstories 932 14,065,941 10-14-2023, 04:20 PM
Last Post: Gandkadeewana
Lightbulb Vasna Sex Kahani घरेलू चुते और मोटे लंड desiaks 112 4,035,685 10-14-2023, 04:03 PM
Last Post: Gandkadeewana
  पड़ोस वाले अंकल ने मेरे सामने मेरी कुवारी desiaks 7 285,199 10-14-2023, 03:59 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 1 Guest(s)