RE: Desi Chudai Kahani Naina-नैना
raj sharma stories
नैना--पार्ट-35 last
गतान्क से आगे.......
दोस्तो मैं यानी आपका दोस्त राज शर्मा नैना की कहानी का आख़िरी पार्ट
लेकर हाजिर हूँ
भाइयो एक समय इंसान की जिंदगी मे ज़रूर आता है जब उसे अपने गुनाह याद आते है
शान ने भी फ़ौरन अपना ट्राउज़र उतार के फैंका और लंड हाथ मे पकड़ लिया.
दीदी: पहले गर्म तो कर मुझे.
शान दीदी की इस बात पे और शेर बन गया और दीदी से जा के लिपट गया. दीदी के
लिप्स मे अपने लिप्स को जमा दिया और ऐक हाथ से दीदी की चूत मे फिंगर डाल
के मूव करने लगा.
सोना से भी ना रहा गया और उस ने भी अपनी नाइटी उतार दी और दीदी को
किस्सिंग करने लगी. दीदी को अब ऐक वक़्त मे दोनो मज़े मिल रहे थे स्ट्रेट
भी और लेज़्बीयन भी. शान के लिप्स दीदी के लिप्स, नेक, चेस्ट, शोल्डर्स
और ब्रेस्ट्स पे अपनी गर्मी डाल रहे थे तो नीचे सोना के लिप्स दीदी की
थिएस, चूत और गांद मे आग लगा रहे थे. शान दीदी की लिप्स को सक करता तो
दीदी उसे ज़ोर से अपने साथ चिपका लैति जैसे पूरी रात यही करना चाहती हो,
फिर शान जब अपने लिप्स दीदी के भरे हुए मोटे मोटे बारे गोल ब्रेस्ट्स पे
रखता तो दीदी उस का सिर वहीं दबा लैति जैसे पूरी रात यही चाहती हो. दीदी
को हर स्टेप पे यही लगता कि बस यही होना चाहिये पूरी रात.
दीदी को प्यार करते करते करते सोना भी गर्म हो गयी थी और सोना की चूत भी
वेट हो गयी थी. सोना ने अब अपने लिप्स दीदी की चूत मे गढ़ा दिया और ऐक
हाथ से अपनी ही चूत रब करने लगी. दीदी अब मुकामल तौर पे गर्म हो चुकी थी.
शान ने अब आहिस्ता आहिस्ता दीदी की गांद मे उंगली करना शुरू कर दी थी. और
पूरे हिप्स के अंदर उंगली टॉप से एंड तक मूव करता और बीच मे थोड़ा प्रेस
करता जिस से उंगली गांद के अंदर भी चली जाती. दीदी के मूह से आहह निकल
जाती.
शान से अब सबर नही हो रहा था. और दीदी को डॉगी स्टाइल मे आने को कहा.
दीदी समझ गयी कि उसकी गांद मे लंड जाने वाला है. डॉगी स्टाइल पे आने से
पहले उस ने शान को पास पड़ी एक क्रीम दी. और उसे शान के लंड पे लगाने को
कहा और गांद के अंदर भी. शान ने वो क्रीम आज पहली दफ़ा दैखि थी, शान ने
फ़ौरन क्रीम ली और अपने लंड पे लगा दी और साथ ही दीदी की गांद मे भी लगा
दी.
सोना पास बैठी अपनी चूत रब कर रही थी और यह सब दैख रही थी. उस का बस यही
दिल कर रहा था कि शान उसकी चूत मे लंड डाल दे. लेकिन शान तो दीदी की गांद
का दीवाना हुआ पड़ा था. थोड़ी ही देर मे दीदी की गांद लूब्रिकेट हो गयी
और शान का लंड भी.
दीदी ने सोना को इशारा किया कि वो अपनी चूत उस के हवाले कर दे. दीदी अब
डॉगी स्टाइल मे आ गयी और सोना दीदी के सामने ऐसे आ के लेट गयी कि सोना की
चूत सीधा दीदी के लिप्स के सामने आ गयी. दीदी ने भी बिना इंतेज़ार किये
अपने लिप्स को सोना की चूत मे गढ़ा दिये.
सोना: अहह दीदी.
उधर शान ने भी पोज़िशन संभाल ली और सोना के मूह से निकलती आह ने उसे पागल
कर दिया और दीदी की गांद पे लंड रख के झटका दिया जिस से आधा लंड अंदर चला
गया. अभी लंड तो ऐक दम से अंदर चला गया और गांद भी बहोत सेक्सी लग रही
थी. यह क्यो? शान के दिमाग़ मे ऐक दम ख़याल आया. फिर खुद ही आन्सर मिल
गया. कि दीदी को शाम को गर्म नही किया था, दीदी की गांद की ल्यूब्रिकेशन
भी तो नही की थी. जेसे ही आधा लंड दीदी की गांद मे उतरा. दीदी के मूँह से
निकली. आहह यह आह बस निकली और दोबारा लिप्स सोना की चूत मे दब गयी.
उधर सोना के मूह से आहह, उफफफफफफफफफफफफफ्फ़ की आवाज़े निकल रही थी तो इधर
दीदी अपने लिप्स दबाए अपनी गांद मे लंड के मज़े को दबा रही थी.
ऊपेर शान पागल कुत्ते की तरहा दीदी की गांद मे लंड पेल रहा था. शान कभी
पूरा लंड बाहर निकाल लेता तो कभी ऐक ही झटके मे पूरा अंदर डाल दैता. जिस
से दीदी आहह किये बाघैर ना रह पाती. शान ऐक हाथ से दीदी की चूत को भी खूब
मसल रहा था कि दीदी को चूत का भी प्यार बराबर मिलता रहे.
इस प्यार के खैल मे दीदी अब तक दो दफ़ा फारिघ् हो चुकी थी और सोना कोई 3
बार. दीदी की चूत से निकलते पानी की वजा से बेड शीट भी भीग गयी थी इतना
ज़यादा पानी निकल रही थी आज दीदी की चूत. शान ने जब दीदी की इस गर्म वेट
चूत को दैखा तो गांद का मज़ा फीका लगने लगा और लंड निकाल के सीधा दीदी की
चूत मे पेल दिया.
उफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफफ्फ़ फ. लंड तो ऐसे
अंदर चला गया और ऐक ज़ोरे दार परछ्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह की आवाज़ आइ. दीदी
आआआहह लव यू शानुउउउउउउउ. आहह. शान अब दीदी की चूत मे लंड पेल रहा था तो
सामने गांद के अंदर उंगली भी कर रहा था. 5 मिनिट यौं ही चूत लंड का खैल
जारी रहा और दीदी तीसरी दफ़ा मंज़िल पे पहॉंच गयी. और शान का लंड गीली
चूत के गर्म पानी मे डूबने लगा.
अगले ही लम्हे शान की नज़र तड़पति हुई सोना पे पड़ी और दीदी की चूत भी
उसे फीकी लगने लगी. फ़ौरन ही दीदी की चूत से लंड को बाहर निकाला और सोना
की तरफ़ बढ़ गया. दीदी भी यही चाह रही थी कि सोना को उस का पूरा हिस्सा
मिलना चाहिये.
दीदी साइड पे लेट गयी और शान ने इसी तरह लेटी सोना की लेग्स ओपन की और
अपना पूरा लंड सोना की चूत मे पेल दिया. आहह. शान और सोना के मूह से
इकट्ठी आवाज़ निकली. शान को फील हुआ कि दीदी की चूत और सोना की चूत मे
बहोत फ़र्क़ है. दीदी की चूत थोड़ी खुली ज़रूर है लेकिन गर्म बहोत ज़यादा
है. सोना की चूत तंग है लैकेन उतनी गर्म नही जितनी दीदी की चूत है. लेकिन
सोना की तंग चूत ने शान के मज़े को डबल कर दिया. शान लंड के बेशुमार वॉर
कर रहा था सोना की चूत पे. दीदी ऐक मिनिट साइड पे लेट के फिर सोना के पास
आ गयी और सोना के ब्रेस्ट्स को सक करने लगी और फिर सोना के लिप्स को.
अब सोना को ऐक वक़्त मे दो दो प्यार मिल रहे थे ऐक दीदी का तो दूसरा शान
का. शान का लंड आग पे आग लगा रहा था तो दीदी के लिप्स ऊपेर के हिस्से को
जला रहे थे. शान के लंड की वजा से सोना 2 दफ़ा और मंज़िल को पहॉंच गयी और
शान भी मंज़िल के करीब पहॉंच गया. अचानक से उसे ख़याल आया के सोना की
गांद का ज़ायक़ा केसा है वो भी तो चेक किया जाए.
और फ़ौरन अपना लंड निकल लिया और सोना को डोगी स्टाइल मे कर दिया. सोना तो
यही समझी के पीछे से लंड चूत मे जाए गा. लेकिन दीदी समझ गयी थी कि लंड
चूत मे नही गांद मे जाए गा. इस लिये दीदी ने फ़ौरन शान को इशारा किया कि
पूरा लंड ना डाले अंदर बस थोड़ा सा. शान ने सोना की गांद का ऐक जायज़ा
लिया. सोना की गांद छोटी सी गोल सी थी. दीदी की गांद तो बहोत हेवी थी और
गांद बहोत सेक्सी भी. शान ने ऐक मर्तबा फिर वो क्रीम अपने लंड पे लगाई
मगर सोना की गांद पे नही.
शान ने अपना लंड सोना की चूत पे रखा जिस से सोना यही समझी कि चूत मे जाए
गा लैकेन अगले ही लम्हे शान ने लंड को गांद पे रखा और अंदर पेल दिया.
सोना: अहह कुत्तययययययययययययी.
शान: आहह मेरी कुतिया. और 3 इंच लंड अंदर घुसा दिया.
सोना का दिल, जिगर, गुर्दे सब कुछ उस के मूह को आ गये और आँखे बाहर को.
दीदी ने जब सोना की यह हालत दैखि तो शान को इशारा किया कि बस इतना काफ़ी
है. शान भी समझ गया.
दीदी ने प्यारी सोना को संभाला दिया और अपने लिप्स को सोना के लिप्स पे
रख दिया. जेसे कह रही हो कि कुछ नही हो गा. सोना ने भी दीदी के लिप्स को
सक करना शुरू कर दिया. और अपनी तकलीफ़ को डाइवर्ट करने लगी. शान ने थोड़ी
सी क्रीम सोना के गांद के छैद पे फैंक दी और लंड को आगे पीछे मूव किया तो
क्रीम गांद के अंदर भी चली गयी. सोना को अब तकलीफ़ कम महसूस होने लगी और
लंड की मूव्मेंट मज़ा देने लगी. अगले ही लम्हे शान के लंड ने भी मंज़िल
हासिल कर ली और ऐक तेज़ धार सोना की गांद को चीरती हुई अंदर चली गयी और
सोना को अपनी गांद के अंदर बॉली वॉटर का चलता हुआ समुंदर फील होने लगा.
और इस तेज़ धार के बाद शान अपने लंड को सोना की गांद से निकलते साथ ही
साइड पे गिर गया और सोना दीदी की छाती पर सिर रख के लेट गयी.
वापस आने के 2 वीक्स तक तो शान सोना के घर ना जेया सका कियू कि अभी उसको
अपने बिजनेस को समेटना था और बोहुत सारे काम थे, लेकिन फोन पेर डेली सोना
और दीदी बात होती रहती थी, आज भी वो सुबह से अपने ऑफीस के कामो मे ही लगा
हुवा था. लंच टाइम पर उसने सोचा कि आज का लंच सोना के साथ करना चाहिए और
यही सोच कर वो उठा और कार मे सोना के घर की तरफ रवाना हो गया, रास्ते मे
एक होटेल सी लंच पॅक करवा लिया.
चोवकिदार के गेट खोलने के बाद शान अपनी कार को लेकर अंदर चला आया लेकिन
वाहा पर एक और कार को देख कर कुच्छ अंदाज़ा ना कर सका के कोई मेहमान भी
आया हुवा है. ड्रॉयिंग रूम को खाली देख कर वो कुछ मायूस हो गया और समझा
के शायद सोना घर मे नही है, लेकिन अचानक उसको कुच्छ मधाम सी आवाज़ ने
अपनी तरफ खैंचा जो के ऊपेर के रूम से आ रही थी तो वो समझ गया के सोना
अपने कमरे मे ही है और वो उसकी तरफ जाने लगा.
जैसे ही वो सोना के रूम के दरवाज़े के पास पहुचा तो उसको सोना की आवाज़
आई जो कह रही थी "ओह जानू तुम तो मुझे मार ही डालो गे, और कितना तडपाओगे
अब सबर नही होता डाल दो अपना मोटा और लंबा लंड, बुझा दो मेरी चूत की आग"
और ये सुनते ही शान को एक झटका सा लगा और उस ने आहिस्ता से डोर को पुश
किया तो वो खुलता ही चला गया और फिर अंदर का मंज़र देख कर तो वो पागल ही
हो गया. उसने देखा के सोना के बेड पेर एक आदमी नंगा लेटा हुवा है और सोना
उसके लंड पर बैठ कर उछल कूद कर रही है और दीदी सोफे नंगी बैठी हुवी है और
अपनी चूत मे उंगली कर रही है. तीनो अपनी अपनी हवस मे इतने गुम थे के उनको
शान के दरवाज़े पर होने का पता भी ना चल सका.
उधर शान के तो बदन मे तो जैसे लहू भी नही था और ना जाने एक सेकेंड मे ही
उसके ज़हेन मे क्या क्या कुच्छ होने लगा और वो फॉरन पलटा और अपनी कार की
तरफ दौड़ने लगा और अपनी कार के देश बोर्ड से पिस्टल निकाला और ऊपेर जा कर
लात मार के एक धमाके से दरवाज़ा खोल दिया.
उधर सोना और दीदी तो अपनी ही मस्ती मे थी लेकिन जैसे ही शान ने दरवाज़े
को खोला तो दोनो ही हैरत से उसको देखने लगी सोना का मूँह खुला का खुला रह
गया और उसको ये भी एहसास ना हुवा के वो लंड पर बैठी हुवी है. और जैसे ही
होश आया तो फॉरन लंड से उतरी और अपने कपड़ो की तरफ बढ़ी लेकिन शान ने
उसको बालो से पकड़ कर एक झटका दिया और नीचे फैंक दिया और पागलो की तरह
उसको लातो से मारना शुरू कर दिया और साथ साथ चीखते हुवे ये भी कह रहा थे
के तुम रांड़ हो तुम गश्ती हो मैने तुम्हारे लिए क्या सोचा था और तुम
क्या निकली, तुम्हारे लिए मेने अपनी खूबसूरत और वफ़ादार बीवी को छोड़ा और
तुमने ……. और ये कहते ही सोना को गोली मार दी.
ये देखते ही वो मर्द जो के अभी तक गुम सूम नंगा ही बेड पर था फॉरन छलाँग
लगा कर बेड से उतरा और नंगा ही दौड़ कर रूम से भाग गया. अब तो शान
बिल्कुल पागल ही हो गया था उसने पिस्टल की सारी गोलिया सोना के जिस्म मे
उतार दी और सोना अपनी जिंदगी से विदा हो गई . दीदी ने ये देखा तो चीखने
लगी तो शान दीदी की तरफ पलटा और अपने दोनो हाथो से दीदी का गला पकड़ कर
दबाने लगा और दबाता ही चला गया. फिर जब दीदी के जिस्म मे भी जान ना रही
तो उसको छ्चोड़ड़ दिया. और वहीं घुटनो के बल बैठ गया……उसकी आँखो से आँसू
बह रहे थे लेकिन ये आँसू सोना या दीदी के लिए नही थे बल्कि अपनी बे-वफ़ाई
के थे जो उसने अपनी बीवी से की थी फिर बे-इकतियार वो रोता चला गया और
उसको ये भी पता ना चला के कब पोलीस आई और कब उसको पोलीस स्टेशन ले जाया
गया. पोलीस स्टेशन मे उस ने खुद ही सोना और दीदी के कत्ल का इक़रार कर
लिया सब कुच्छ बता दिया.
नैना को पोलीस स्टेशन से इंस्पेक्टर की कॉल आई तो वो फॉरन जिम्मी के साथ
पोलीस स्टेशन पहुची और अपने हज़्बेंड को इस हालत मे देख कर उसकी आँखे भर
आईं लेकिन शान उसके साथ आँखे ना मिला सका.
तक़रीबन 3 महीने शान का मुक़द्दीमा चला और अदालत ने शान को 2 बार उमर
क़ैद की सज़ा सुना दी. उस दिन भी नैना कोर्ट रूम मे मोजूद थी जैसे ही जज
साहिब ने सज़ा सुनाई तो नैना ने शान की तरफ देखा, शान का चेहरा बोहत
पर-सकून था. नैना की तरफ बढ़ा और सिर्फ़ इतना कहा के नैना प्ल्ज़ मुझे
माफ़ कर देना और इस से ज़ियादा ना कह सका कियू के उसकी आवाज़ उसके
अल्फ़ाज़ का साथ नही दे रहे थे.
शान ने अपने वकील के थ्रू नैना को तलाक़ नामा भिजवा दिया और अपनी तमाम
जायदाद और बिजनेस नैना के नाम कर दिया.
एक महीने तक तो नैना सदमे दो चार रही और इस अरसे मे वो ऑफीस भी ना गयी
लेकिन इस अरसे के दोरान आंटी और जिम्मी ने उसका भरपूर साथ दिया. आज भी
आंटी उसके साथ ही बैठी हुवी थी.
आंटी : नैना जो होना था वो हो गया अब तुम कियू अपनी ज़िंदगी को खराब करने
पर तुली हुवी हो और देखो तुम्हारी वजा से जिम्मी भी कितना परेशान रहने
लगा है. सम्भालो अपने आप को, ऐसा कितने दिन चले गा.
नैना : क्या करूँ आंटी, मुझे तो कुच्छ समझ ही नही आता, अगर आप और जिम्मी
ना होते तो पता नही मेरा क्या होता.
और ये सुनते ही आंटी ने फॉरन कहा
आंटी : ऐसी बाते नही किया करते, और जो कुछ भी मैने किया वो कोई तुम्हारे
लिए थोड़े ही किया था, वो तो मैने अपनी होने वाली बहू के लिए किया है.
(यह सुनते ही नैना चोंक गयी और आंटी को देखने लगी) आंटी कहने लगी, हां
नैना मैं बिल्कुल ठीक कह रही हू. मैं तुम्हे अपनी बहू बनाना चाहती हू
बोलो तुम्हे मंज़ूर है……
और ये सुनते ही नैना ने शरम से सर झुका लिया…..
दोस्तो ये कहानी आपको कैसी लगी ज़रूर बताना फिर मिलेंगे एक नई कहानी के
साथ आपका दोस्त राज शर्मा
समाप्त
दा एंड
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