RE: Antarvasna प्यार की खुजली
कमला उसके बर्ताव से खुश हो रही थी. उसने अपने मन को मजबूत किया और बोली
?ठीक कहता है तू बेटा. अभी बदल देती हूँ? ये कहते हुए उसने अपनी सारी
उतारी और नया पेटिकोट निकाल लिया. जीतू इंतजार मे ज़मीन पर ही बैठा रहा.
कमला ने नया पेटिकोट उपर से डाला और जब वो उसकी कमर तक आ गया तो उसने अपने पहने हुए पेटिकोट का नाडा खोल दिया और उसे गिरा दिया. कुच्छ पल के लिए जीतू को कमला की पॅंटी और उसमे से उसकी फूली हुई चूत के दर्शन हो गये. जैसे जैसे नया पेटिकोट नीचे आता गया उसकी आँखें भी नीच आती गयी और कमला की जांघों को निहारती रही. कमला सब समझ रही थी. उसने अपना नाडा बाँधा पर इस तरह की उसकी पॅंटी खुल कर दिखे. जीतू की आँखें वहाँ से हट नही रही थी?..चल अब सो जाते हैं? कहते हुए कमला बिस्तर पर लेट गई. आज उसने ब्लाउस पहने बिना ही सोने की सोच ली थी. दिखावे के लिए उसने अपना गाउन अपने वक्ष पर रख दिया और लेट गई. आज उसने सिर्फ़ इतनी जगह रखी कि जीतू आधा ही लेट पाए. जीतू भी तो यही चाहता था. वो चुपचाप उसके पास लेट गया और जगह कम होने की वजह से उसका लंड कमला की जाँघ को टच हो गया. कमला के शरीर मे आग लग गई गरम लॉडा टच होते ही. जीतू ने गिरने का बहाने करते हुए कमला के पेट पर हाथ रख दिया. जब जीतू को लगा कि उसकी मा उसके लंड से कंफर्टबल है तो उसने अपना हाथ उठा कर उसके कंधे पर रख दिया. इस तरह कमला का एक वक्ष उसके हाथ के नीचे दब गया. जीतू थोड़ा और चिपक गया उसके शरीर से.कमला अपनी हालत से परेशान थी. मन तो कर रहा था जीतू का लंड पकड़ ले पर
दिमाग़ ने रोक लिया. धीरे से उसने गाउन हटा कर अलग कर दिया? बड़ी गर्मी है?. अब बातें करते करते जीतू का हाथ कभी लेफ्ट तो कभी राइट बूब पर चला जाता. एक दो बार उसने धीरे से दबा भी दिया?..जब कमला उठी तो वो पेट के बल लेटी हुई थी और उसने अपनी ब्रा का हुक खुला
पाया. समझ गई उसकी नंगी पीठ सहलाई होगी जीतू ने और शायद उसकी गांद भी दबाई होगी?.. उसका मन खुशी से झूम रहा था. उसने हल्के से अपने सोए हुए बेटे का लंड सहलाया और उठ गई.
शाम को जीतू किचन मे आया. नीता के किचन से बाहर जाते ही पीछे से कमला को
पकड़ लिया. उसने बेफिकर हो कर अपना लंड उसकी गांद पर टीका दिया और उसके
बूबे पकड़ लिए. कमला की चूत से गरम लहर छूट गयी, लेकिन उसने अपने आप को
संभाला और जीतू को अलग किया. ?ये क्या कर रहा है?? वो गुस्सा दिखाते हुए
बोली. जीतू घबरा गया, हकलाते हुए बोला ?लेकिन आज दोपहर को तो आपने कुच्छ
नही कहा था?.?
?तो क्या दिन भर यही करेगा? और अपनी बहेन के सामने तो खबरदार !? उसने
आँखें फाड़ कर कहा तो जीतू समझ गया. ?ठीक है मम्मी? कहते हुए चला गया. मन
ही मन जीतू खुशी से पागल हो गया. उसे कमला की चूत का रास्ता दोपहर को सॉफ
दिखने लगा.
लेकिन इंतेजार किसे सहन होना था. रात को जीतू मा के कमरे मे पहुँच गया.
?मुझे नींद नही आ रही?. ?आजा इधर सो जा? कहते हुए कमला ने उसे जगह दी और
मूड कर लेट गई. जीतू ने अपना लंड उसकी गांद से टीकाया और हाथ डाल कर उसके
गाउन के उपर से ही मम्मे पकड़ लिए. धीरे धीरे आगे पिछचे करते हुए उसने
अपने लंड का पानी निकाला और कमला ने उसके टाइट लंड का लुत्फ़ उठाते हुए
अपनी चूत गीली की.
सुबह जल्दी उठ कर कमला ने जीतू को जगाया और उसके कमरे मे भेज दिया. जीतू
समझ गया और चुपचाप चला गया.
सुबह कमला ने ब्रा नही पहनी. सिर्फ़ ब्लाउस पहना और सारी टाइट बाँध ली.
इस तरह उसकी गांद उभार कर दिख रहा था. मौका मिलते ही सारी का पल्लू गिरा
कर अपने लटकते हुए आम दिखा दिखा कर जीतू के लंड को गरम सेक देती. जीतू का हाल बुरा था. पता नही कितनी बार उसने अपनी मा की उभरी हुई गांद देख कर अपना लंड दबा दबा कर मूठ मारी.
जैसे ही नीता अपने कमरे मे गई जीतू ने उसका दरवाजा बाहर से बंद कर दिया और कमला के कमरे मे घुस गया. कमला भी तय्यार बैठी थी. अपना पल्लू गिरा कर उसने अपने ब्लाउस के चार बटन खोल दिए थे. बेड पर बैठ कर अपनी सारी जाँघो तक उठा रखी थी और अपने घुटने सहलाने की आक्टिंग कर रही थी. अपनी मा की आधी से ज़्यादा नंगी चुचियाँ देख कर जीतू का लॉडा टाइट हो गया.उसके पास जा कर कमला के घुटनों पे हाथ फेरने लेगा.?दर्द हो रहा है?? कहतेहुए उसने कमला के ब्लाउस मे झाँका और धीरे से हाथ उसकी जाँघ पे ले गया.हां, ज़रा दबा दे? कहते हुए कमला बिस्तर पर लेट गई. उसकी नंगी थाइस देखकर जीतू के होश उड़ गये. फिर उसका ध्यान उसके ब्लाउस मे से बाहर निकालते हुए उसके मम्मो पर गया. उसके पतले से ब्लाउस से उसकी निपल साफ दिख रही थी. जीतू सोच मे पड़ गया किधर दबाए.?आ लेट जा और दबा? कमला ने उसके पैर खींचे.जीतू उसके बगल मे लेट गया और उसके घुटनों को सहलाने लगा. उसका मुँह कमला के पैरों की तरफ था. कमला ने अपना हाथ धीरे से उसकी जाँघ पर रख दिया.जैसे जैसे उसका हाथ उपर आता गया वो सारी उपर करता गया. खुद भी धीरे धीरेउपर खिसकता गया. अब कमला की चूत पनिया रही थी. वो धीरे से मूडी और अपना हाथ उसकी जांघों के बीच डाल दिया और सहलाने लगी. उसका हाथ बार बार जीतू
के लंड से टकरा जाता. पहले तो धीरे धीरे और फिर दबाव बढ़ने लगा.
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