RE: Antarvasna sex stories मेरी बीबी की सहेली
मेरी बीबी की सहेली पार्ट--4
गतान्क से आगे......... " हेलो. डार्लिंग जीजू कैसे हू" जोती ने कहा. "
हाई डियर, ठीक हो!! तुम्हारे फोन का सुबह से बेसब्री से इंतेज़ार कर रहा
था" मैने रिप्लाइ किया. " रात को मज़ा आया. कितनी बार अपनी चूत को झाराया
तुमने" मैने पूछा ' हाई मेरे चोदु राजा रात की तो कुछ मत पूछो अभी सो कर
उठी हू" टट्टी जाने की तैय्यारि कर रही थी, सोचा पहले तुमको फोन कर लू"
ज्योति ने कहा. " मैने पूछा आज तुम्हारे घर कोई हलचल नही सुनाई पड़ रही"
" कोई नही है क्या".. " नही डार्लिंग कोई नही है.... सब बंदकपूर गये है
दर्शन करने" ज्योति बोली. " तुम क्यों नही गई" मैने पूछा " फिर चुदवाता
कौन तुम्हारे इस मदमस्त लंड से" मैने बहाना कर दिया कि मेरा पीरियड चालू
हो गया है" "तो फिर दरवाजा भी नही खोला है आज तो तुमने" तुम्हारा न्यूज़
पेपर भी बाहर ही पड़ा हुआ है" 'लगता है जीजू तुम मेरे दरवाजे खुलने के
इंतेज़ार मे मेरे घर के सामने ही खड़े हो" " हा यार यह तुम अपनी बगल वाली
खिड़की खोलोगि तो मैं तुमको देख सकूँगा" जैसे ही मैने कहा वो समझ गई मैं
कहा हू. बोली "गाड़ी लिए हू क्या.." मैने कहा " हा लाया था पर यहा डेरी
मे अंदर पार्क कर दी है" अब तुम जल्दी से दरवाजा खोलो. मैं बात करते करते
उसे दरवाजे के पास चला गया.उसने झट से डोर खोल दिया. मैं झट से अंदर
घुसकर दरवाजा बोल्ट कर दिया. फिर अपनी इकलौती साली पर नज़र डाली तो मैं
बेहोश होते होते बचा. आज तो वो पूरी "रति" लग रही थी पिंक ट्रॅन्स्परेंट
गाउन के अंदर बिल्कुल नंगी उसकी चूत पर हल्की सी झाँते सॉफ दीख रही थी और
उसके 36 डी साइज़ के बिल्कुल गोल मम्मे तने हुए. मुझ से कंट्रोल नही हुआ
और मैं झट से उसकी और लपक पड़ा और उसको अपने सीने मे भीच लिया. उसके गाउन
मे माम्मे छाती मे दब कर रह गये. मैं उसको यूँ ही चिपकाए हुए उसकी गर्दन
को और कान के पीछे लिक्क कर रहा था और अपनी टाँग से उसकी चूत रगड़ रहा था
अपने एक हार से उसके मम्मे मरोड़ने की कोशिश कर रहा था और दूसरे हाट से
उसकी पीठ से लेकर गांद तक सहला रहा था. ज्योति के मूह से आहह माअर
डालाअ... धीरे दर्द हो रहा हॅयियी सीईईईई ऊमम्म्मममममम जीईजुउउउउउउउउ मैं
दिनभर तुम्हारी हूऊऊ प्लज़्ज़्ज़्ज़ अभी रूको.... ऐसा वो कह रही थी मैने
उसके चेहरे को अपनी हथेलियों मे लेकर एक तक उसकी आँखों मे देखने लगा और
एक दम उसके मुलायम गुलाबी होंठो को अपने होंठो मे कस कर चूसने लगा. डीप
किस मे वो भी मेरा साथ देने लगी थी.. "ज्योति आइ लव यू.... लव यू वेरी मच
डियर डार्लिंग' मैं तुमको उस दिन जब पहली बार देखा था तभी से चोदना चाहता
था" हीईीई आज्ज मुझे अपने आप पर यकीन नही हो रहा है " ज्योति बोली राजा
तुम ही नही मैं भी तुमसे चुदवाना चाहती थी" मेरी चूत की आग तो तुम्हारी
बीबी यानी कि मेरी सहेली ने और भड़का दी जब उसने अपनी चुदाई की सारी
कहानी बयान की" जिस दिन वो मुझे अपनी चुदाई की बाते बताती मेरी चूत ना
जाने कितनी बार तुम्हारे लंड की फोटो इमॅजिन करके ही झार जाती थी. " अब
चिंता ना करो डार्लिंग तुमको मेरा लंड साक्षात चोदेगा' इसे तुम अपनी चूत
मे अपने सरीर के अंदर महसूस कर सकोगी" मैने उसका हाथ अपने लंड पर जमाते
हुए कहा " हाई राजा कितना मोटा और सख़्त गरम है" इससे तो चुदने मे बहुत
मज़ा आएगा शाइयियी ओमम्म्ममम मेरी तो चूत झरने लगिइिईईईईईईई.... मैं उसकी
चूत को उसके गाउन के ऊपेर से मसल्ने लगा था जिससे वो बुरी तराके से गीली
हो गई थी. "राजा तुम टीवी देखो तब तक मैं फ्रेश हो कर आती हू" ऐसा कहते
हुए उसने टीवी ऑन कर दिया. मैने उसको अपने हाथो मे लेकर गोदी मैं उठा
लिया और उसके एक मम्मे को मूह मे भर लिया और जोरो से चूसने लगा गाउन के
ऊपेर से ही...... "अरे रूको ना जानू मुझे टट्टी लग रही है जोरो की फिर
आती हू ना तुम्हारे पास' कहने लगी.. " मैने कहा एक शर्त है तुमको टट्टी
करने की " मैने कहा " कौन सी शर्त कैसी शर्त" ज्योति बोली " तुमको मेरे
सामने ही टट्टी करनी होगी" नही तो मैं तुमको नही छोड़ने वाला " मैने कहा.
और उसके मम्मे को और निपल को जोरो से चूसा बल्कि काटने सा लगा.. " शीयी
आईईईईई ममियीयियी मॅर गैइइ छोड़ो मुझे बहुत जोरो से आ रही है शी सीईईईई
अचाअ बाबा मैं तय्यार हू" कहने लगी मैने उसको नीचे उतारा और फटा फट अपने
कपड़े उतार कर नंगा हो गया . इडार ज्योति को टट्टी तो बहुत जोरो के लगी
थी पर मेरे लंड देख कर वो अपने को रोक नही पाई और एक बार तो उसने मेरे
सूपदे को चूस और चूम ही लिया. ज्योति भी नंगी हो गई थी उसने भी अपना गाउन
उतार दिया था. ज्योति का रंग थोड़ा सामला था पर उसका फेस कट बहुत ही
सुंदर और सेक्शी था उसकी गर्दन बहुत अछी सुराही दार थी उसकी नाक भी एक दम
सीधी नुकेली थी बहुत मोटे फूले हुए होंठ थे और चुचियो के बारे मे तो कहना
ही क्या. मस्त तने हुए गुलाबी गोल गोल मम्मे और उनपर काला गुलाबी रंग का
एरोला और अंगूर जैसा तना हुआ निपल. पतली कमर और अछी गहरी नवल. ज्योति के
खजाने की यानी कि मुनिया की तो कुछ मत पूछो. मेरी रागड़ाई से और मम्मे
चूसने से उसकी चूत झार गई थी और वो जूस के कारण चमक रही थी बहुत मस्त और
बिल्कुल कोरी चूत थी. चूत के ऊपर बहुत अछी तरीके से करीने से संभली हुई
झांते थी . मैं तुरंत घुटनो के बल बैठ गया और उसकी चूत के अलग बगल जीव
फिराकर ज्योति की चूत के लिए सलामी पेश करी और उसकी चूत के होंठ खोलकर
चूत मे चुम्मा लिया और उसका क्लिट जो कि कड़ा होने लगा था अपने होंठो मे
भरकर चूस लिया. उसकी चूत से उसकी पेशाब और उसकी जूसज़ की मिलीजुली टेस्ट
मिल रही थी. ' शीयी रजाअ मत तर्पऊऊओ सीईईई उईईईई उम्म्म्मममम आआआआआअ अहह
अभीइ तो पूरा दिन पड़ा हाई"........हीईीईईई जल्दी करूऊ नाअ
प्लज़्ज़्ज़्ज़्ज़ मुझे बहुत जोरो की आ रही हॅयियी निकलने वाली हाई......
मैने उसको गोदी मे उठाया और उसके बाथरूम मे घुस गया वाहा उसको कमोड शीट
पर बैठा दिया वो जैसे ही बैठी तो उसकी चूत की फांके खुल गई और उसमे से
अविरल निस्चल मूत की धारा बह निकली ठीक उसी समय मैने अपनी बीच वाली उंगली
उसकी योनि मे घुसा दी तो वो चिहुक पड़ी शीयी सीयी चूत बहुत गरम थी और
लिसलीसी साथ ही उसकी चूत से मूत का फव्वारा निकल रहा था. उंगली घुसते ही
फव्वारा रुक गया फिर कुछ सेकेंड्स बाद फिर से चालू हो गया . इसके बाद
असली नज़ारा हुआ कि उसकी गांद का छेद खुला और मेरी कलाई जैसा मोटा फार्ट
उसकी गांद मैं निकल कर फदड, फाड़ की आवाज़ के साथ गिरने लगे. मैं बीच
वाली उंगली उसकी चूत के छेद मे घुसाया हुआ था बड़ी टाइट थी वो और थंब से
उसके क्लाइटॉरिस को मसाज करने लगा था. जब कुछ फेर्ट्स निकल लिए ज्योति ने
तो वो कुछ रेलेक्ष हो गई थी. उसकी चूत बहुत ही खूबसूरत दिख रही थी मैं
उसके एक निपल को अपने मूह मे लेकर चूसने लगा था. ज्योति कुछ गरमाने लगी
थी इसका अंदाज़ा इससे हो रहा था कि वो मेरा सिर अपने बूब्स पर दबा ना
शुरू कर दिया था और मेरा हाथ तो उसकी चूत को सहला रहा था उसपर भी हाथ
दबाने लगी थी. क्रमशः..........
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