RE: Indian Sex Story कमसिन शालिनी की सील
एक दिन मैं ऑफिस में अपने काम में व्यस्त था कि दोपहर बाद कोई साढ़े पांच बजे मेरा फोन बजा. देखा तो किसी अनजान नम्बर से कॉल आ रही थी.
मैंने कॉल एक्सेप्ट की और हेलो बोला.
‘अंकल जी, नमस्ते!’ दूसरी तरफ से आवाज आई. वो आवाज सुनकर मेरा दिल जोर से धड़का. आवाज मैंने साफ़ पहचानी, शालिनी बोल रही थी.
‘नमस्ते. आप कौन बोल रही हैं?’ मैंने जानबूझ कर न पहचानने का दिखावा किया.
‘अंकल जी. मैं हूँ शालिनी! उस दिन शादी की पार्टी में आप से बात हुई थी न?’
‘ओह, हाँ याद आया. कैसी हो शालिनी… आज कैसे याद किया?’
‘ठीक हूँ अंकल जी. बस ऐसे ही फोन किया था. आप कहाँ हो इस टाइम?’ उसने पूछा.
‘इस समय तो मैं ऑफिस में हूँ. कोई काम हो तो बोलो?’ मैंने कहा.
‘कोई नी अंकल जी. बस वो मैं इस तरफ किसी काम से आई थी, आपके ऑफिस के बाहर ही हूँ. आप फ्री हो गये क्या?’ वो बोली.
‘हाँ हाँ, अभी अभी फ्री हुआ हूँ. तुम रुको मैं बाहर ही आ रहा हूँ दो मिनट में!’ मैंने कहा और फोन काट दिया.
शालिनी का फोन सुनने के बाद मैं जैसे हवा में उड़ रहा था, मेरे चारों ओर जैसे फूल ही फूल खिल उठे थे. मैं झट से ऑफिस के टॉयलेट में गया और थोड़ा बन संवर के बाहर निकला.
शालिनी मेरे ऑफिस के बाहर एक स्टेशनरी की दूकान पर अपनी साइकिल लिए खड़ी थी.
मुझे देखते ही उसने नमस्ते की, मैंने भी जवाब दिया.
उस दिन उसने सफ़ेद सलवार और हल्के पीले रंग का कुर्ता पहना हुआ था जिनमें से उसकी सुडौल जांघों और ठोस मम्मों के प्यारे प्यारे उभार मुझे आकर्षित और विचलित कर रहे थे.
‘कैसी हो शालिनी, आज इस तरफ कैसे?’ मैंने पूछा.
‘बस ऐसे ही… मार्किट में कुछ पर्चेजिंग करनी थी. इस तरफ से निकली तो आपका ऑफिस देख के मन हुआ कि आप से कुछ बातें ही हो जायें, बहुत दिन हो गये आप से बात किये हुए!’
‘जरूर, चलो वहाँ बैठ कर कोल्ड ड्रिंक पीते पीते बातें करेंगे!’ मैंने उससे कहा और हम लोग पास की ही दूकान से कोल्ड ड्रिंक्स लेकर पीने लगे.
‘हाँ, गुड़िया, अब बोलो क्या बात है?’ मैंने अपनी ड्रिंक सिप करते हुए पूछा.
‘कुछ ख़ास नहीं अंकल जी. बस वो वो…’ इतना बोल के वो रुक गई.
‘वो वो क्या शालिनी… साफ़ साफ़ कहो न क्या बात है?’
‘अंकल जी, वो मेरे मुहाँसे तो ठीक ही नहीं हो रहे!’ वो उदास स्वर में बोली.
‘शालिनी उस दिन मैंने तुम्हें सब कुछ तो अच्छी तरह से समझा दिया था. मुहाँसे होने का कारण और उपचार सब बता दिया था. और मैंने तुझे एक वीडियो भी शेयर किया था. देखा था न वो?’
‘जी, अंकल जी, देखा था.’ वो धीमे से बोली.
‘कैसा लगा?’ मैंने पूछा.
मेरी बात सुनकर वो चुप रही, कोई जवाब नहीं दिया.
‘बताओ न कैसा लगा?’ मैंने अपनी बात दोहराई.
‘अंकल जी, मैं कैसे कुछ बता सकती हूँ वैसे वाले वीडियो के बारे में… लेकिन मेरे मुहाँसे तो ज्यों के त्यों हैं.’ वो उलझन भरे स्वर में बोली.
शालिनी की बात का मतलब मैं समझ गया था. शायद वो कहना चाह रही थी कि वो वीडियो देखने के बाद वो अपनी चूत से खेली थी, झड़ी भी थी लेकिन मुहाँसे नहीं जा रहे थे. यह बात विस्तार से जानने के लिए मैंने उसे और कुरेदा- शालिनी, मैं समझा नहीं. देखो पहेलियाँ मत बुझाओ जो कहना चाहती हो साफ़ साफ़ कहो?
मैंने कहा.
‘अंकल जी, मैं ज्यादा नहीं बता सकती बस, आप तो मेरे मुहाँसे मिटाने के लिए कुछ और बताओ प्लीज. कॉलेज में सब लोग मुझे चिढ़ाते हैं!’
‘अच्छा ठीक है, नहीं बताना चाहती तो मत बताओ. मैं समझ गया पूरी बात. अब मैं बताऊंगा कि तुम्हारे साथ क्या हुआ है. सही गलत पर तुम हाँ या ना में जवाब तो दे सकोगी ना?’ मैंने कहा.
‘ठीक है अंकल जी!’ वो बोली.
‘देखो शालिनी, उस वीडियो को तुमने कई कई बार देखा होगा और देखते देखते हर बार तुम्हारी जाँघों के बीच में तुम्हारी सू सू करने वाली जगह गीली हो गई होगी और उसमें सनसनाहट भरी खुजली सी मची होगी, है ना?’ मैंने उसकी जांघों के बीच उसकी चूत की तरफ इशारा करके कहा.
जवाब में शालिनी का मुंह लाज से लाल हो गया और उसने सर झुका के सहमति में अपना सर हिला दिया.
‘फिर तुमने अपने सारे कपड़े उतार के अपनी उंगली से इस अंग को छेड़ा होगा, रगड़ा होगा, मुट्ठी में भर कर दबाया होगा, इसके बाल भी खींचे होंगे और इस पर चिकोटी भी काटी होगी, साथ में अपने ये भी मसले और दबाये होंगे. जवाब दो हाँ या ना?’ मैंने उसके मम्मों की तरफ इशारा करके कहा.
जवाब में वो कुछ नहीं बोली सिर्फ हाँ में गर्दन हिला कर सर झुका लिया.
‘अच्छा तो फिर यह बताओ कि वो सब करते हुए तुम्हें कैसा लगा?’
मेरी बात सुनके वो चुप रह गई, अब भी कुछ न बोली.
आखिर लड़की थी बोलती भी क्या. इतना तो मैं समझ गया था कि अब ये बहुत जल्दी चुद जायेगी मुझसे लेकिन मुझे हर कदम फूंक फूंक कर रखना था. वो अभी कमसिन कच्ची कली थी. ऊपर से अपने ही मोहल्ले की थी. अपनी इज्जत के साथ साथ मुझे उसकी इज्जत, मान सम्मान का भी पूरा पूरा ध्यान रखना था.
‘ठीक है. वो नहीं बताना चाहो तो मत बताओ लेकिन इतना तो बता दो कि अपने इस अंग से खेलते खेलते तुम्हें लास्ट में कैसा फील हुआ था? जैसे उस वीडियो में उस लड़की की योनि से रस की फुहारें छूटती हैं वैसी ही पिचकारियाँ तुम्हारी चूत से भी …सॉरी चूत नहीं तुम्हारी योनी से भी निकली थीं?’
मैंने चूत शब्द जानबूझ कर कहा था.
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