RE: Kamukta Story एक राजा और चार रानियाँ
सॅम;भी ज़ेबा को देखते हुए ज़ोर ज़ोर से शबनम को चोदने लगता है और फिर अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह की आवाज़ के साथ अपना पानी शबनम की चूत में उंड़ेल देता है
10 मिनट अपनी साँसों को संभालने के बाद सॅम उठ के अपने कपड़े पहन के वहाँ से चला जाता है
ज़ेबा;अपनी आँखे बंद कर चुकी थी
जब सॅम वहाँ से गया तो शबनम भी अपनी नाइटी पहन के लेटी ही थी के ज़ेबा ने उसके पेट पे हाथ रखा
शबनम;अंपनी अम्मी की तरफ देखती है
ज़ेबा;मज़ा आया बेटी
शबनम;चौंकते हुए अपनी अम्मी की तरफ देखती है
ज़ेबा; की आँखों में एक अजीब सी चमक थी और चेहरे पे हल्की सी मुस्कान
शबनम;अम्मी वो में वो अम्मी मुझे माफ़ कर दीजिए अम्मी वो बुरी तरह घबरा चुकी थी अच्छा भला दिमाग़ काम करना बंद करचूका था
उसे कुछ सूझ ही नही रहा था उसे पता चल चुका था कि ज़ेबा सब कुछ देख चुकी है और उसकी चोरी पकड़ी जाचूकी है
वो अपनी अम्मी को एक नज़र देखती है और फिर सिसक सिसक के रोने लगती है
ज़ेबा;बेड पे बैठ जाती है और अपनी बेटी का सर अपनी गोद में रख लेती है
अर्रे पगली रोती क्यूँ है में तो पहले दिन ही समझ गयी थी कि तेरे और सम की बीच कुछ चल रहा है
पैदा किया है मेने तुझे तुझ से ज़्यादा धूपकले देखी हूँ
पर में जानती हूँ मेरी बच्ची किस दौर से गुज़र रही है तूने बहुत कुछ सहा है बेटा में तेरी माँ हूँ और माँ अपने बच्चो को हमेशा खुश देखना चाहती है चल चुप होज़ा और मुझे एक बात बता
शबनम;अपना चेहरा उठा के ज़ेबा को देखती है उसके आँसू थम चुके थे और आँखों में सवालिया लहज़ा था
ज़ेबा;में ये जानना चाहती हूँ कि ये सब जो तू कर रही है ये फ्री में है या इसकी फीस भी तुझे मिलेगी
शबनम;क्या मतलब अम्मी
ज़ेबा;अर्रे बेवकूफ़ लड़की सॅम से तेरी शादी की बात कर रही हूँ
तू इन मर्दों की जात को नही जानती जगह जगह मुँह मारने की आदत होती है इन कमिनातो को तू मेरी भोली भाली बच्ची है वो कुछ दिन तेरी लेगा और फिर नई कोई मिल जाएगी तो वहाँ चरने चला जाएगा तू फिर क्या करेगी
शबनम;अम्मी सॅम ऐसा नही है
ज़ेबा;चुप कर अब जैसा में कहती हूँ वैसा करती जा तभी तुझे सॅम मिल पाएगा वरना ज़िंदगी भर हाथ मल्ति रह जाएगी
और कल सॅम को मेरे पास भेज देना मुझे उससे कुछ बात करनी है
शबनम;और ज़ेबा उस रात बहुत देर तक बातें करती रहीं
ज़ेबा;ने अपनी बेटी को वो घुट्टी पिलाई जो उसने अपनी माँ से सीखी थी
सुबह;8 एम;
सॅम;बाथरूम में से नहा के निकला ही था कि सामने खड़ी शबनम को देख ठिठक सा जाता है
अर्रे भाभी आप इस वक़्त
शबनम;परेशान से लहजे में वो सॅम रात को जो कुछ हुआ वो सब अम्मी ने देख लिया है और वो इस ताल्लुक से तुमसे बात करना चाहती है मुझे तो बहुत घबराहट सी होरही है पता नही वो क्या करेंगी
सम;डोंट वरी भाभी में देखता हूँ आप मेरे लिए एक अच्छी सी कॉफी बना के ले आओ
और सॅम शबनम के रूम की तरफ बढ़ जाता है जहाँ ज़ेबा बैठी उसी का इंतजार कर रही थी
सॅम;ज़ेबा के पास जाके बैठ जाता है वो सिर्फ़ टवल लपेटे हुए था
खाला मेने सुना है आपने मुझे याद किया क्या बात है खाला जान
ज़ेबा;ह्म्म्म् म जान तो रात को किसी और को कह रहे थे आप लाट साब
सॅम;उफफफफफफफ्फ़ हो खाला आप कैसी गोलमोल बातें कर रही है मुझे कुछ समझ नही आ रहा
ज़ेबा;उसे घूरते हुए सम ज़्यादा बनने की कोशिश मत करो मेने रात जो कुछ तुम्हारे और शबनम के बीच हुआ सब देखा तुम मेरी बेटी की ज़िंदगी बर्बाद क्यूँ कर रहे हो बोलो क्या मिलेगा तुम्हे ऐसा करके
सॅम;जो कुछ हुआ हम दोनो की रज़ा मंदी से हुआ है खाला चाहें तो आप भाभी से पूछ लो
ज़ेबा;मेने जो पूछना था पूछ चुकी अब तुम ये बताओ कि तुम क्या चाहते हो
सॅम;क्या मतलब
ज़ेबा;मतलब ये कि क्या तुम शबनम से शादी करना चाहते हो क्या ये सिर्फ़ टाइम पास है तुम्हारे लिए
अगर मेरी बेटी की ज़िंदगी के साथ खेलोगे सॅम तो अच्छा नही होगा
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