RE: Desi Sex Kahani मेरी चूत पसंद है
मेरी चूत पसंद है पार्ट--3
गतान्क से आगे.......
खाना खाते वक़्त करिश्मा देख रही थी कि रमेश खाना
खाते वक़्त सुमन को घूर घूर
कर देख रहा है और सुमन भी धीरे धीरे मुस्कुरा रही है.
करिश्मा को दाल मे कुछ काला नज़र आया. लेकिन वो कुछ नही
बोली.अगले दिन सुबह गौतम नहा धो कर और नाश्ता करने के बाद
अपने ऑफीस के लिए रवाना हो गया . घर पर करिश्मा, रमेश और
सुमन पर बैठ कर नाश्ता करने के बाद गॅप लड़ा रहे थे.
करिश्मा नेआज सुबह भी ध्यान दिया कि रमेश अभी भी सुमन को
घूर रहा है और सुमन धीरे धीरे मुस्कुरा रही है. थोरी देर के
बाद करिश्मा नहाने के लिए अपने कपड़े ले कर बाथरूम मे
गयी. करीब आधे घंटे के बाद जब करिश्मा बाथरूम से नहा
धो कर सिर्फ़ एक तौलिया लप्पेट कर बाथरूम से निकली तो उसने देखा की
सुमन सिर्फ़ ब्लाउस और पेटिकोट पहने टाँगे फैला कर कुर्सी
पर फैली आधी लेटी और आधी बैठी हुई है और उसके ब्लाउस के
बटन सब के सब खुले हुए है रमेश झुक कर सुमन की एक
चूंची अपने हाथों से पकड़ चूस रहा है और दूसरे हाथ से
सुमन की दूसरी चूंची को दबा रहा है. करिश्मा एह देख कर
सन्न रह गयी और अपनी जगह पर खड़ी की खड़ी रहा गयी. तभी
सुमन की नज़र करिश्मा पर पर गयी तो उसने अपनी हाथ हिला कर
करिश्मा को अपने पास बुला लिया और अपनी एक चूंची रमेश से
छुड़ा कर करिश्मा की तरफ बढ़ा कर बोली, "लो करिश्मा तुम भी मेरी
चूंची चूसो." रमेश चुप चाप सुमन की चूंची चूस्ता
रहा और उसने करिश्मा की तरफ देखा तक नही. सुमन ने फिर से
करिश्मा से बोली, "लो करिश्मा तुम भी मेरी चूंची चूसो, मुझे
चूंची चुसवाने मे बहुत मज़ा मिलता है तभी मैं रमेश
से अपनी चूंची चुस्वा रही हूँ." करिश्मा अब कुछ नही
बोली और सुमन की दूसरी चूंची अपने मुँह मे भर कर चूसने
लगी.थोरी देर के बाद करिश्मा ने देखा कि सुमन अपना हाथ आगे कर
के रमेश का लंड उसके पायजामे के ऊपेर से पकड़ कर अपनी मुट्ही
मे लेकर मरोड़ रही है और रमेश सुमन की एक चूंची अपने
मुँह मे भर कर चूस रहा है. अब तक करिश्मा भी गरम हो
गयी थी. तभी सुमन ने रमेश का पायजामे का नारा खींच
कर खोल दिया और रमेश का पायजामा सरक कर नीचे गिर गया .
पायजामा को नीचे गिरते ही रमेश नंगा हो गया क्योंकी वो
पायजामे के नीचे कुछ नही पहन रखा था. जैसे ही रमेश
रमेश नंगा हो गया वैसे ही सुमन ने आगे बढ़ कर रमेश का
खड़ा लंड पकड़ लिया और उसका सुपरा को खोलने और बंद करने
लगी और अपने होठों पर जीव फेरने लगी. ये देख कर करिश्मा
ने अपने हाथों से पकड़ कर रमेश का लंड सुमन के मुँह से
लगा दिया और सुमन से बोली, "लो सुमन, मेरे पति का लंड चूसो.
लंड चूसने से तुम्हे बहुत मज़ा मिलेगा. मैं भी अपनी चूत
मरवाने के पहले रमेश का लंड चुस्ती हूँ. फिर रमेश भी
मेरी चूत को अपने जीव से चाटता है." जैसे ही करिश्मा ने रमेश
का लंड सुमन के मुँह से लगाया वैसे ही सुमन ने अपनी मुँह
खोल कर के रमेश का लंड अपने मुँह मे भर लिया और उसको चूसने
लगी. अब रमेश अपनी कमर हिला हिला कर अपना लंड सुमन के
मुँह के अंदर बाहर करने लगा और अपने हाथों से सुमन की दोनो
चूंची पकड़ कर मसल्ने लगा. तब करिश्मा ने आगे बढ़ कर
सुमन के पेटिकोट का नारा खोल दिया. पेटिकोट का नारा खुलते ही
सुमन ने अपने चूतर कुर्सी पर से थोड़े से उठा दिए और करिश्मा ने
अपने हाथों से सुमन के पेटिकोट को खींच कर नीचे गिरा दिया.
सुमन ने पेटिकोट के नीचे पॅंटी नही पहनी थी और इसलिए
पेटिकोट खुलते ही सुमन भी रमेश की तरह बिल्कुल नंगी हो
गयी.करिश्मा ने सबसे पहले नंगी सुमन की जांघों को खोल
दिया और उसकी चूत को देखने लगी. सुमन की चूत पर झांते कोबहुत
ही करीने से हटाया गया था और इस समय सुमन की चूत बिल्कुल
चमक रही थी. सुमन की चूत से चुदाई के पहले निकलने वाला
रस रिस रिस कर निकल रहा था. करिश्मा झुक कर सुमन के सामने
बैठ गयी और सुमन की चूत से अपना मुँह लगा दिया. करिश्मा का
मुँह जैसे ही सुमन की चूत पर लगा तो सुमन ने अपनी टाँगे और
फैला दी और अपने हाथों से अपनी चूत को खोल दिया. अब करिश्मा
ने आगे बढ़ कर सुमन की चूत को चाटना शुरू कर दिया. करिश्मा
अपनी जीव को सुमन की चूत के नीचे से लेकर चूत के ऊपेर तक ला
रही थी और सुमन मारे गर्मी के करिश्मा का सर अपने हाथों
से पकड़ कर अपनी चूत पर दबा रही थी. उधर रमेश ने जैसे
ही देखा कि करिश्मा अपनी जीव से सुमन की चूत को चाट रही है तो
उसने अपना लंड सुमन के मुँह से लगा कर एक हल्का सा धक्का दिया
और सुमन ने अपना मुँह खोल कर रमेश का लंड अपने मुँह मे भर
लिया. नीचे करिश्मा अपनी जीव से सुमन की चूत को चाट रही थी
और कभी कभी सुमन की क्लिट को अपने दाँतों से पकड़ कर हल्के
हल्के से दबा रही थी.थोरी देर तक सुमन की चूत को चाटने और
चूसने का बाद करिश्मा उठ खरी हो गयी और रमेश का लंड
पकड़ सुमन के मुँह से निकाल दिया और सुमन से बोली, "सुमन अब
बहुत हो गया लंड चूसना और चूत चटवाना. चलो अब अपने पैर
कुर्सी के हत्थे के ऊपर रखो और रमेश का लंड अपनी चूत मे
पिलवओ. मुझे मालूम है कि अब तुम्हे रमेश का लंड अपने मुँह
मे नही अपनी चूत के अंदर चाहिए." और करिश्मा ने अपने
हाथों से अपने पति का खड़ा हुआ लंड सुमन की गीली चूत के ऊपर
रख दिया. चूत पर लंड के रखते ही सुमन ने अपने हाथों से
उसको अपनी चूत के छेद से भिड़ा दिया और रमेश की तरफ देख कर
मुस्कुरा कर बोली, "लो अब तुम्हारी बीबी ही तुम्हारे लंड को मेरी चूत
से भिड़ा रही है. अब देर किस बात की है. चलो चुदाई शुरू कर दो." इतना
सुनते ही रमेश ने अपनी कमर हिला कर अपना तना हुआ लंड सुमन
की चूत के अंदर उतार दिया. चूत के अंदर लंड घुसते ही सुमन ने
अपने पैर को कुर्सी के हथेलिओं पर रख कर और फैला दिए और
अपने हाथों से रमेश की कमर पकड़ कर उसको अपनी तरफ खींच
लिया. अब रमेश अपने दोनो हाथों से सुमन की दोनो चुचियों को
पकड़ कर अपनी कमर हिला हिला कर सुमन को चोदना शुरू कर दिया.
सुमन अपनी चूत मे रमेश का लंड पिलवा कर बहुत खुश थी और
वो मूड कर करिश्मा से बोली, "करिश्मा तेरे पति का लंड बहुत ही
शानदार है, बहुत लंबा और मोटा है. रमेश का लंड मेरे
बच्चेदानी पर ठोकर मार रहा है. तेरी ज़िंदगी तो रमेश से
चुदवा कर बहुत आराम से कट रही होगी?" करिश्मा तब रमेश
का एक हाथ सुमन की चूंची पर से हटा कर सुमन की चूंची
को मसल्ते हुए बोली, "हाँ, मेरे पति का लंड बहुत ही शानदार है और
मुझे रमेश से चुदवाने मे बहुत मज़ा मिलता है. मैं तो हर
रोज़ तीन - चार बार रमेश का लंड अपनी चूत मे पिलवाती हूँ. क्यों,
गौतम तेरी चूत नही चोद्ता? कैसा है गौतम का लंड ?"
|