Antarvasna kahani ज़िन्दगी एक सफ़र है बेगाना
12-19-2018, 01:52 AM,
#77
RE: Antarvasna kahani ज़िन्दगी एक सफ़र है बेगा...
मे- मेरा जीवन तो एक खुली किताब है, जो चाहे इसे खोल कर पढ़ सकता है, हाँ कुछ पन्ने ज़रूर विधाता ने लाल स्याही से लिख दिए हैं, जिनका तोड़ तो अब शायद उसके पास भी नही है.

फिर मैने टॉपिक चेंज करते हुए कहा – खैर छोड़ो इन बातों को, और बताओ अब आपका तबीयत पानी कैसा है..?

रति- मे एकदम फिट हूँ, नौकरानी काम निपटा लेती है, लड़कियाँ मिलजुल कर खाना बना लेती हैं और बोलते-बातें करते समय कैसे निकल जाता है पता ही नही चलता. हम चारो सहेलियों की तरह रहती हैं घर में, आती ही होंगी खुद पुच्छ लेना.

हम ये बातें कर ही र्हे थे कि वो आ गईं, मुझे वहाँ बैठे देख कर वो चहक्ती हुई सोफे पर बैठ गयी और बोली- ओह हो! आज तो अपने हीरो के दर्शन हो गये, भाभी-देवर की अकेले-2 क्या बातें हो रही थी ? हमें भी तो बताओ कुछ.

मे - कुछ खास नही बस हाल-चाल जानने आया था, भाभी बता रही थी, तुम लोग आजकल बहुत मस्तियाँ करने लगी हो, और इनकी एक नही सुनती.

वो तीनों रति के चेहरे की ओर देखने लगी, जिसमें उन्हें केवल शरारती मुस्कान ही दिखी.

धनंजय की गर्लफ्रेंड- हमम्म… तो ये बात है, भाभी की नही ये कहो कि तुम्हारी नही सुनती.. है ना..!

मे – मैने कब कुछ कहा तुम लोगों से..?

ऋषभ की गर्लफ्रेंड- सच बताना भाभी.. हम लोगों ने आज तक आपकी कोई बात टाली है..?

मे- हसते हुए.. अरे मे तो मज़ाक कर रहा था, तुम लोग दिल पर मत लेना प्लीज़..! उल्टा भाभी तो तुम लोगों की तारीफ़ ही कर रही थी.

ये सुन कर वो तीनों मेरे से चिपट गयी, और गुदगुदाते-2 मुझे सोफे से खड़ा कर दिया, और मुझे वहाँ से भागना पड़ा.

हॉस्टिल आ कर पढ़ने में जुट गया…….!

समय फिर से अपनी मंतर गति से आगे बढ़ने लगा था..! साल का अंतिम कोर्स चल रहा था, मात्र 3 महीने ही बचे थे एग्ज़ॅम को.

एक दिन धनंजय को टेलिग्रॅम मिला कि उसकी भाभी के लड़का पैदा हुआ है, और हम दोनो को उसके नामकरण पर आना है ज़रूर.

मैने धनंजय को बोला- यार मेरा कोर्स पिछड़ गया है घर जाने की वजह से, तो मे कैसे चल सकता हूँ..?

धनंजय- तो ठीक है मे भी नही जा रहा.. !

मे - अरे ! ये क्या बात हुई यार..? तुझे तो जाना ही चाहिए, तू चाचा है भाई..!

धनंजय - तो तू नही है..? देख ! अगर मे अकेला पहुचा ना ! तो तू जानता है क्या हाल होगा मेरा वहाँ, सब जान खा जाएँगे मेरी पुच्छ-2 के.

मे कुछ सोचते हुए बोला - तो फिर ठीक है हम चारो चलेंगे.. वो भी सिर्फ़ एक रात के लिए.. ओके.

धनंजय - डन ! लेकिन जाएँगे कैसे ट्रेन से एक दिन में तो पासिबल नही होगा.

ऋषभ&जगेश – लेकिन हम क्या करेंगे वहाँ जाकर…?

मे - क्यों ? तुम लोग हमारे भाई नही हो..? 

दोनो - ये भी कोई कहने की बात है यार..?

मे - तो फिर तुम भी तो चाचा हुए ना कमिनो…! और चलने का टेन्षन मत लो. आलोक भाई की गाड़ी ले लेंगे.. 3-4 घंटे में पहुँच जाएँगे.

सभी- तो फिर पक्का…..

और बच्चे के नामकरण से एक दिन पहले क्लास ख़तम होते ही गाड़ी लेके निकल लिए, दिन ढलते-2 धनंजय के घर पहुँच गये.

हम चारों को देख कर उसके घर वाले बेहद खुश हुए.

मे मौका देख कर भाभी के कमरे में चला गया, वो अपने बच्चे के साथ खेल रही थी..

क्यों भाभी जान क्या हाल है..? मुबारक हो अब आप माँ बन गयी.

वो- ये सब आप ही की मेहरबानी है देवर्जी..

मे- क्यों मज़ाक करती हो भाभी इसमें मैने क्या किया है..? 

वो- लो खुद ही देख लो..! इसकी शक्ल देख कर ही पता चल जाएगा आपको..!

मैने बच्चे को गोद में उठाया, सच मे वो मेरे जैसा ही था.. मन ही मन सोचने लगा… हे मालिक ! ये क्या कर रहा है तू मेरे साथ, 20 साल की उमर में दो-दो बच्चो का बाप बना दिया तूने..!

वो- क्या सोचने लगे…?

मे- हड़बड़ाते हुए…! कुछ नही बस यूही इसकी सुंदरता में खो गया था, बहुत प्यारा है ना ये…!! और मैने माँ-बेटे दोनो का माथा चूम लिया.

हमम्म.. वो बस इतना ही बोली.. उसकी आँखों में खुशी के आँसू छलक आए.

मे- क्या हुआ भाभी..? ये आँसू क्यो..?

वो- खुशी बर्दास्त नही हुई इनसे और निगोडे बाहर आ गये.

मैने अपने गले से चैन उतार कर अपने बच्चे के गले में डाल दी और माथे को चूम कर आशीर्वाद दिया उसको.

मे - वादा करो भाभी कि इसको मेरी तरह निडर बनाओगी, डर से इसका वास्ता नही होना चाहिए..!

वो - वादा… पक्का वाला वादा… चाहे मुझे इसके लिए किसी से लड़ना ही क्यों ना पड़े.

मे - अच्छा इसका नाम सोचा है कुछ..?

वो - वो तो बुआ ही रखेगी ना… ! वैसे आप क्या चाहते हैं इसका नाम रखना..?

मे - वो मे रेखा दीदी को ही बता दूँगा फिर..!

और इतना बोलके फिर एक बार दोनो को चूमा और बाहर निकल ही रहा था, कि धनंजय के साथ वो दोनो भी वहाँ आ गये, उन्होने बच्चे को प्यार किया और भाभी को विश करके हम सब बाहर चले गये. 
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RE: Antarvasna kahani ज़िन्दगी एक सफ़र है बेगा... - by sexstories - 12-19-2018, 01:52 AM

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