Porn Hindi Kahani दिल दोस्ती और दारू
12-14-2018, 02:17 AM,
#9
RE: Porn Hindi Kahani दिल दोस्ती और दारू
मुझे अब भी याद है उस दिन मैं पूरे 40 मिनट. क्लास के बाहर खड़े रहा, और फिर जब दीपिका मॅम का पीरियड ख़तम हुआ और वो बाहर निकली...लेकिन मेरी तरफ गुस्से से अपनी नाक सिकोड कर वहाँ से आगे चली गयी, और जब मैं क्लास मे घुसा तो तब सभी की नज़रें मुझ पर ही टिकी हुई थी.....
"आओ बेटा अरमान, क्या पूरे हुए आपके दिल के अरमान..."
"चुप रह साले, वरना यही फोड़ दूँगा, मुंडा मत बांका..."
"ओ तेरी, सॉरी यार...यदि तुझे बुरा लगा हो तो..."अरुण बोला...
उस दिन उस क्लास मे दो लोग ऐसे थे, जिन्हे मैं चाहकर भी नही भुला सकता हूँ, एक तो मेरा खास दोस्त बना और एक लड़की ऐसी थी, जिसे देखकर ही मेरे मूह से गलियों की पवित्र धारा निकलने लगती थी....
"नवीन..."एक ने पहले अरुण की तरफ हाथ बढ़ाया और फिर मेरी तरफ....
नवीन माइनिंग ब्रांच का था, और वो भी थोड़ा सावला था, नवीन को देखकर एक बार फिर मैने खुद से चिल्लाकर कहा कि"मैं तो इससे ज़्यादा हॅंडसम हूँ...."
"भाई, अगली क्लास से थोड़ा संभाल कर..."मुझे नसीहत देने लगा वो.
दूसरी क्लास तो शुरू हो चुकी थी, लेकिन टीचर अभी तक नही आया था,लड़के हो या लड़कियाँ सभी सब्ज़ी-मॅंडी की तरह चीख रहे थे, और उसी दौरान एक लड़की सामने आई और हम सबको शांत रहने के लिए कहा....लेकिन हालत पहले जैसे ही रहे...जिससे वो लड़की सामने वाले बेंच पर बैठे लड़को से कुछ बोली, और सामने बेंच पर बैठे छूतियो मे सबको शांत रहने के लिए कहा, कुछ देर लगा सबको शांत करने मे....
"गुड मॉर्निंग फ्रेंड...माइ नेम ईज़ शेरीन...."
"तो क्या चुसेगी सब का..."अरुण ने एक पल बिना गवाए ये बोला, सुन तो सबने लिया था, लेकिन सब साले रियेक्शन ऐसे कर रहे थे, जैसे कानो मे रूई डाल के आए हो, सामने खड़ी उस लड़की ने भी सुन लिया था, लेकिन वो भी ऐसे रिएक्ट कर रही थी, जैसे उसने सुना ना हो.....
"ये तो चुदेगि, साली बीसी..."
"गान्ड मे लात मारकर बैठाओ इसको..."पहले अरुण और फिर उसके सुर मे सुर मिलाता हुआ नवीन बोला, मैं भी जोश मे आ गया और बोला
"इस इंट्रोडक्षन वाली लौंडिया को नंगी करके पूरे कॉलेज मे दौड़ाना चाहिए...."
"मैं बोलता हूँ कि मुट्ठी मार के साली के फेस पे डाल देना चाहिए, होशियारी छोड़ने आई है यहाँ...."
उधर शेरीन के बाद बाकी की लड़कियो ने भी अपना इंट्रोडक्षन दिया, ये सिलसिला और भी आयेज चलता यदि थर्रमोडीनॅमिक्स के सर वहाँ ना आए होते तो....बेसिकली हमारा सब्जेक्ट था,बेसिक मेकॅनिकल इंजिनियरिंग, (बीएमई) , लेकिन जो सर हमे पढ़ने आए थे, उनका खुद का बेस क्लियर नही था , पूरी क्लास के दौरान उसने क्या पढ़ाया कुछ समझ नही आया, साला बोला भी किस लॅंग्वेज मे था, ये भी समझ मे नही आया....पढ़ाई की तरफ मैं थोड़ा सेन्सिटिव था, और अपना पूरा सर बीएमई के पीरियड मे खपाने के बाद भी जब , कुछ समझ नही आया तो, एक डर दिल मे उठने लगा कि साला एग्ज़ॅम मे क्या होगा....
"क्या हुआ,..."
"यार कुछ समझ नही आ रहा..."
"तो टेन्षन किस बात की ये टॉपिक ही छोड़ दे...कौन सा तुझे टॉप मारना है"
"मुझे टॉप ही मारना है..."उस वक़्त तो अरुण से मैने ये कह दिया ,लेकिन ये जुनून मेरे सर से बहुत जल्द उतरने वाला था, ये मैं नही जानता था.........

"उसको देख, खुद को मिस वर्ल्ड समझ रही है..."अरुण ने उसी लड़की की तरफ इशारा किया, जो कुछ देर पहले सामने आकर इंट्रोडक्षन दे रही थी....

"मेरा बस चले तो इसका टी.सी. ही इसके हाथ मे दे दूं..."शेरीन की तरफ देखते हुए मैने कहा, कुछ देर पहले जब वो सामने आकर बोल रही थी तो उसकी आवाज़ नॅचुरल नही थी, वो अपनी अलग ही टोन मे बात कर रही थी, जो कि अक्सर लड़किया करती है.....नवीन उस वक़्त स्टडी मे लगा हुआ था, और मैं और अरुण उस लड़की को देखकर दिल ही दिल मे बुरा भला कह रहे थे,...तभी उसकी नज़र हम पर पड़ी , और मैने तुरंत अपनी नज़रें उसकी तरफ से हटा कर अपने कॉपी की तरफ कर ली.....

"ये कहीं ये ना सोच ले कि हम दोनो इसे लाइन दे रहे है..."मैने पेन पकड़ा और टीचर जो लिख रहा था उसे छापते हुए बोला....
"घंटा का लाइन, इतने बड़े कॉलेज मे ये अकेली ही है क्या, जो इसे लाइन देंगे...इसे देखकर तो दीपिका मॅम के क्लास मे खड़ा लंड भी सो गया...."
"तू मुझे बिगाड़ रहा है..."
"पका मत,..."
वो पीरियड तो ले देके निकल गया, लेकिन मैने जितना खाया पिया था, वो सब निकल लिया था, हमारे गुरु घंताल टीचर्स ने और रिसेस मे मैं और अरुण बाहर आए...
"बॅटरी लो है यार,चल कॅंटीन से आते है..."अपने पेट पर हाथ फिरा कर मैं बोला...
"चल आजा, माल ताडेन्गे उधर..."
वैसे तो सीनियर्स की क्लास लगी हुई थी उस वक़्त, लेकिन कुछ ऐसे भी होते है, जो क्लास बंक करके कॅंटीन पहुच जाते है, जब हम कॅंटीन के अंदर गये तो वहाँ आइटम्स तो थी, लेकिन साथ मे हमारे सीनियर्स भी थे और वो ऐसे बैठे हुए थे जैसे कॉलेज उनके बाप का हो....
"चुप चाप ,एक कुर्सी पकड़ ले, वरना लफडा हो जाएगा..."
मैं उस वक़्त कुछ नही बोला,और हम दोनो ने साइड की कुर्सी पकड़ ली....
"उसको देख..."अरुण का इशारा कॅंटीन मे एक तरफ बैठे हुए सीनियर की तरफ था, जो कि कुछ स्टूडेंट्स के साथ बैठा बाते कर रहा था....
"क्या हुआ..."मैने भी उसी तरफ देखा...
"उसका नाम वरुण है, साला 7 साल से इस कॉलेज मे पढ़ रहा है, लेकिन आज तक 4थ एअर मे ही लटका हुआ है..."
जब अरुण ने मुझसे कहा तब मैने उसकी तरफ गौर से देखा, वो अपने साथ बैठे स्टूडेंट्स मे से ज़्यादा एज का लग रहा था, और अपने पैर से टेबल के नीचे से दूसरी तरफ बैठी हुई लड़की के पैर को सहला रहा था....
"ये लड़किया भी ना जाने कैसों-कैसों से पट जाती है..."उस लड़की के लिए झूठा दुख व्यक्त करते हुए मैने अरुण से पुछा"ये 7 साल वाला है किस ब्रांच का..."
"अपने ही ब्रांच का है साला और कुछ लोग कहते है कि ये फाडू रॅगिंग लेता है..."
रॅगिंग सुनकर गला सुख गया, उस समय यही एक चीज़ थी जो मुझपर हावी थी, जब से मैं कॉलेज कॅंपस के अंदर घुसा था, यही चीज़ मुझे डरा रही थी....
"साला ,ये रॅगिंग बंद कर देना चाहिए..."पानी पीते हुए मैं बोला, पानी के पूरा एक ग्लास खाली करने के बाद थोड़ा सुकून आया,
"बंद है प्यारे, रागिंग तो सालो से बंद है लेकिन ये लोग ले ही लेते है..."
"ये साला कॅंटीन वाला कहाँ मर गया बीसी..."हाइपर होते हुए मैं बोला और मेरी आवाज़ पूरे कॅंटीन मे गूँज उठी , मेरा इतना कहना था कि सबकी नज़र एक बार फिर मेरी तरफ हुई, मुझे देखकर कुछ अपने काम मे लग गये, कुछ ऐसे भी थे, जो मेरी तरफ ही देख रहे थे, उनकी शकल से लग रहा था कि ,वो मुझे मन ही मन मे गलियाँ बक रहे है.....तभी वो 7 साल से कॉलेज मे पढ़ने वाला उठकर हमारी तरफ आया, उसके साथ कुछ लड़के भी थे और वो लड़की भी ,जो उसके सामने बैठी थी.....
"किस ब्रांच का है..."मेरे सामने वाली कुर्सी को खींचकर वरुण ने मुझसे पुछा...दिल किया कि उस कुर्सी को एक लात मारकर दूर कर दूं, लेकिन फिर उसके बाद होने वाले मेरे हाल का अंदाज़ा लगाकर मैं रुक गया....
"मेकॅनिकल, 1स्ट एअर..."वो रावण मेरे सामने वाली चेयर पर पूरा का पूरा समा गया था,
"मुझे जानता है..."
"ह..ह..हाँ.."गला एक बार फिर सूखने लगा और जैसे ही मैने पानी वाले ग्लास की तरफ हाथ बढ़ाया उस रावण ने मेरा हाथ पकड़ लिया और ज़ोर से दबाने लगा, दर्द तो कर रहा था, लेकिन मैने अपने मूह से एक आवाज़ तक नही निकाली और ना ही उससे बोला कि मेरा हाथ छोड़ दे,,..
"पानी बाद मे पीना, पहले मेरे सवालो का जवाब दे..."वो मेरे हाथो को अब भी पकड़े हुए था और अपना पूरा ज़ोर लगाकर दबाए पड़ा था...
"अबे बीसी,एमसी , छोड़ मेरे हाथ को वरना यही पटक पटक कर गान्ड मारूँगा...."उसकी आँखो मे आँख डालते हुए मैने सिर्फ़ आँखो से कह दिया....
"आँख नीचे करे बे..."वरुण के साथ जो लड़के आए थे, उनमे से एक ने मेरा सर पकड़ा और नीचे झुका दिया..गेम शुरू हो चुका था, और मुझे अंदाज़ा हो गया था कि अब कुछ ना कुछ बुरा ही होगा....
Reply


Messages In This Thread
RE: Porn Hindi Kahani दिल दोस्ती और दारू - by sexstories - 12-14-2018, 02:17 AM

Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,636,104 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 559,970 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,291,045 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 975,704 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,729,550 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,144,544 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 3,062,272 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana
Star Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम sexstories 932 14,438,616 10-14-2023, 04:20 PM
Last Post: Gandkadeewana
Lightbulb Vasna Sex Kahani घरेलू चुते और मोटे लंड desiaks 112 4,154,886 10-14-2023, 04:03 PM
Last Post: Gandkadeewana
  पड़ोस वाले अंकल ने मेरे सामने मेरी कुवारी desiaks 7 297,809 10-14-2023, 03:59 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 3 Guest(s)