RE: Sex Porn Kahani चूत देखी वहीं मार ली
विनय का लोहे की रोड की तरह तना हुआ किरण की चूत के छेद पर जा लगा…विनय के लंड की नसें फूल गई बदन का सारा खून लंड की नसों मे इकट्ठा होने लगा…. विनय को अपने लंड का किरण की चूत से स्पर्श अंदर तक हिला गया…. वो तो जैसे आसमान मे उड़ रहा हो…. विनय के लंड के गरम सुपाडे को चूत के छेद पर महसूस करके किरण मस्ती के सागर मे गोते खा रही थी… विनय से अब रुका नही जा रहा था…. चाहे विनय सेक्स के बारे मे बहुत कम जानता था…. पर उसकी कमर अपने आप ही अपने लंड को किरण की चूत मे घुसाने के लिए आगे की तरफ कमर को धक्का लगाया…. लंड का सुपाडा किरण की चूत के छेद को फेलाता हुआ अंदर जा घुसा…. “ सीईईईईईईईईईईईई” की आवाज़ के साथ किरण के चहरे पर ख़ुसी और कामुकता से भरी हुई मुस्कान फेल गई किरण के होंठ काँपने लगे……
और कमर हल्के झटके खाने लगी …अपनी चूत के मुहाने पर विनय के लंड के दहकते हुए सुपाडे को महसूस करके, किरण एक दम मदहोश हो गई…किरण का हाथ विनय की पीठ से सरकता हुआ विनय की गान्ड पर आ गया….. और उसकी गान्ड को आगे की तरफ दबाने लगा ….विनय भी अब होश मे कहाँ था…उसे ये भी पता नही चल रहा था कि, उसकी मामी उसकी गान्ड को दबा कर उसका लंड अपनी चूत मे लेने की कोशिस कर रही है…वो मदहोश होकर अपने लंड को किरण की चूत के अंदर घुसाने लगा…. लंड का सुपाडा किरण की चूत की दीवारों को फेलाता हुआ अंदर जाने लगा और कुछ ही पलो मे पूरा का पूरा लंड किरण की चूत मे समा चुका था… विनय को महसूस हो रहा था जैसे उसके लंड को अंदर से कोई मसल रहा है… किरण की चूत की दीवारें विनय के लंड पर कस गई… मस्ती मे आकर किरण की चूत विनय के लंड को कस्ति तो कभी ढीला छोड़ती…. किरण से अब रुका नही जा रहा था किरण ने अपने काँपते होंठो को अपनी दाँतों मे भींचा….और अपनी कमर को आगे की तरफ पुश करते हुए, विनय के लंड को जड तक अपनी चूत मे उतार लिया….किरण इस कदर मस्त हो चुकी थी….कि वो अपनी कमर को झटका खाने से रोक ना पाई….और जैसे ही उसकी कमर ने झटका खाया….तो विनय को महसूस हुआ कि, उसके लंड ने मैदान छोड़ दिया है…विनय का लंड किरण की चूत के अंदर झटके खाने लगा…और उसके लंड से वीर्य की बोछार निकल कर किरण की चूत की दीवारो पर गिरने लगी…..
किरण ने जब विनय को अपनी चूत मे झड़ता हुआ महसूस किया, तो उसके सर से वासना की खुमारी ऐसे उतरी….जैसे कोई काला साया उसके ऊपेर से हट गया हो….वो मछली की तरह तड़प कर रह गई…गुस्से से उसके नथुने फूल गए….विनय ने उसे बहुत ज़्यादा गरम कर बीच मज़धार मे ही छोड़ दिया था…और जैसे ही विनय के सर से वासना का भूत उतरा….तो उसकी गान्ड अब फटने को आ गई….वो एक दम सहम गया…उसने किरण के चेहरे की तरफ देखा….किरण अभी भी आँखे बंद किए हुए लेटी हुई थी…विनय धीरे-2 पीछे हुआ, तो उसका लंड जो अब सिकुड रहा था..किरण की चूत से बाहर आ गया….
विनय ने जल्दी से अपने लंड को शॉर्ट्स के अंदर डाला…और बेड से नीचे उतर कर बाहर चला गया….विनय के जाने के बाद किरण बेड पर उठ कर बैठ गई….”सत्यानाश हो इस कमीने विनय का….अगर लंड मे जान नही थी तो क्यों अपनी माँ चुदवाने चला आया….” किरण उस समय बहुत ज़्यादा फ्रस्टरेटेड हो चुकी थी….उसका बस नही चल रहा था…नही तो वो विनय को नज़ाने क्या-2 कह देती….वो एक दम से बोखलाई हुई सी उठी….और बाथरूम मे चली गई…और वैसे ही शवर ऑन करके नीचे खड़ी हो गई……विनय अपने रूम मे सहमा सा बैठा हुआ था….वो मामी के बाथरूम मे जाने की आवाज़ सुन चुका था….उसे डर था कि, जो सब उसने मामी के साथ किया है. उसका पता मामी को ना चल गया हो….फिर बाथरूम का डोर खुलने और किरण के रूम का डोर बंद होने की आवाज़ आई तो, विनय ने थोड़ी से राहत की साँस ली….
विनय हालात का जायज़ा लेने के लिए बाहर आया….और मामी के रूम के डोर के पास जाकर खड़ा हो गया….”आप तो खुद पानी निकाल कर चला गया….और यहाँ मेरी चूत मे आग लगा दी….साला हरामी….चोदने का दम नही था..तो क्यों लंड घुसाया…” अंदर से मामी के ये शब्द सुन कर विनय की हालत पतली हो गई….तो क्या मामी को सब कुछ पता है….और क्या मामी सब कुछ जानती है…और वो जान बुझ कर ये सब कर रही थी….ऐसे ही कई सावलो ने विनय के दिमाग़ मे कोहराम मचा दिया…वो दबे पाँव वापिस अपने रूम मे आ गया….विनय के तो ख़ुसी के मारे पैर ज़मीन पर नही लग रहे थी….चाहे मामी गुस्से मे थी…..पर विनय ये जान कर खुश था कि, मामी भी उससे चुदवाने के लिए बेकरार है….
पर वो नादान नही जानता था कि, चोट खाई हुई नागिन और काम से बहाल औरत कितनी ख़तरनाक हो जाया करती है….वो दिन किसी तरह गुज़रा…..अगले दिन वशाली रोज की तरह रिंकी के घर चली गई…..रिंकी ने उसकी सेट्टिंग अपनी भाई से करवा दी थी…भले ही वशाली अभी सेक्स नही करना चाहती थी….पर उसे भी अच्छा लगता था, जब रिंकी का भाई उसके योवन से भरपूर अंगो को सहलाता और चूमता था….इधर आज अंजू को भी किरण के घर मे होने के कारण कोई मोका नही मिल रहा था….वो भी अपना काम निपटा कर वापिस जा चुकी थी….अंजू के जाने के बाद किरण ने गेट बंद किया और शवर लेने के लिए बाथरूम मे चली गई….जब वो शवर लेकर अपने रूम मे पहुँची तो, उसने देखा कि विनय पहले से ही बेड पर लेटा हुआ था….
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